Get 50% OFF on Kukufm's 1st Month subscription!! Only at Rs 49 instead of Rs 99 (Use code LT50 ) Click the link in the description👇🏻 kukufm.sng.link/Apksi/k6ae/cbah
सराहनीय खोज, एतिहासिक जानकारी से पता चलता है कि मानव हमेशा आपसी व बाहरी लडाई और संग्रहस सैजूझते रहते रहे और वही दशा आज भी है लल्लन टोप बड़ी महनत से जानकारी निकाल कर प्रस्तुत करता है उस के लिए धन्यवाद कहना तो बनता है, धन्यवाद 🎉😊
@@ashutoshgupta3351आज से जो।हजारे से भी ज्यादा वर्ष पहले भारत में आकर रच वस गए थे उन्हें आज हम विदेशी तो नही बोल सकते भाई क्योंकि वैसे तो पीछे जाने पर सभी बाहर से आकर ही बसे है
@@Bhatti_Saab_7773 Usse pehle dasraj ke yuddh me jo raja haare the unko aur unki bchi hui sena ko Bharat se west aur north ki taraf desh nikala diya gya tha. Yhi bahar bhagaya gae log aaghe chl ke hunn kehlaae.
@@neerajsinghbhar966 utli ganga na bhaha chote bhai ... Sabko pta hai Kon kisme se nikla hai .. kiska beej kisme hai 😂😂 Social media ki bakchodiyon se bahr nikalkr Apne baao daa se puchna .
निखिल सर अपने बिल्कुल सही कहा बेहद शानदार और लाजवाब एपिसोड तारीख की सीरीज की बात ही अलग है दिल खुश हो जाता और दिन बन जाता है धन्यवाद लल्लनटॉप टीम और निखिल सर ❤️
4:43 हूणों के पहले आक्रमण का जिक्र स्कंद गुप्त के समय के शिलालेख पर है, तो पिछले 50 सालों के अन्दर ही आक्रमण हुआ होगा... यानि रामायण और महाभारत 4th century AD के समय या उसके बाद की कहानियाँ हैं 😂😂😂
अगर रामायण महाभारत में हूंणों का जिक्र मिलता है तो इसका मतलब रामायण महाभारत उतने पुराने ग्रंथ नही है जितना कि हमे बताया जाता है हूंण भारत में चौथी सदी में आए
@@tseringchosphel262 mahatma budhh k paida hone k bahut hazaaro saal pehle se sanatan h sristi k aadi se sristi k anth tak rahega.. Tum pehle sidharth jo ki baad m mahatma budhh hue unki biography padho, leftisto k history le kr ghumoge to jahi-tahi burbak banoge.. Mahatma budhh ki mata ka naam mahamaya tha jo pure sanatani shiv bhakt thi.. Padhai kiya kr
कमाल है महाभारत में शक, कुषाण, यमन और हूणो का कई बार जिक्र है जबकि इन सबका शासन काल 2 से 1.5 हजार साल पहले ही रहा है और महाभारत को 5000 साल पुराना माना जाता है 🤔
@@surajdhaka5393हमारी Rabari Raika Dewasi caste बहुत ही प्राचीन योद्धा जाति है जो आज के राजस्थान (मारवाड़ इलाके में), और गुजरात में बड़ी संख्या में निवास करते हैं और पंजाब हरियाणा up और mp मे भी रहते हैं और पाकिस्तान के सिंध में भी रहते हैं 👍
जब हुंण भारत आये उस समय उत्तर भारत पर महान वर्धन वंश का शासन था उनके राजा हर्ष वर्धन अपनी पुस्तक हर्ष चरित में लिखता है कि उत्तर में हूंण और पश्चिम में गुर्जर मेरे पिताजी के होते कभी भी चैन की नींद नहीं सो सके बाद में जब वर्धन वंश का पतन हुआ तब उत्तर भारत में गुर्जर शासन आया तब यही हूंण गुर्जरो में शामिल हो गए और 350 साल तक देश की रक्षा की इनमे एक शाशक तौरमण था जिससे आगे चलकर तोमर तंवर गोत्र निकला और ये बहुत बड़े शिव भगत थे और बौद्ध विरोधी
Tomar ko khud mein mat Mila bhai tum tomar mein mile to anadpal tomar baut pahele se India ka dna h tomar vansh rajput jaat gurjar Mali aur chamaro mein bhi h hum bhi tawaro mein mile h aur ha tanwar aur tomar dono ek h but tomar kabhi gurjar gotra nahi h
Koi ek jamana ka toh nahin tha bahut sare jamane ki kahaniyan ek ek karke uthaye gaye hain uthane wale bhi koi ek nahin tha. isse bana Mahabharat granth. Iska koi bhi pakta saboot nahin hai kaun sa charcter kisne likha hai au kab.
इसका मतलब यह नहीं की है उस समय के राजाओं का जिक्र किया गया है यह बात सत्य है मतलब हैki यह 12vi से 13 वीं सदी के बाद लिखा गया l महाभारत, रामायण में मुगलों का जिक्र भी है सोचो और समझो ग्रंथ कितने बाद के लिखे गए l कह सकते हैं सब ग्रंथ काल्पनिक हैं l राम काल्पनिक ,कृष्णा काल्पनिक इनके विष्णु और ब्रह्मा काल्पनिक हैl इन्होंने हमारा इतिहास छुपाया है l नालंदा तक्षशिला इनके बारे में ब्राह्मणों ने वेदों में क्यों नहीं लिखा l वह तो शुक्र हो अलबरूनी ,व्हेन सॉन्ग ,itsing आदि दार्शनिक लोगों का जो भारत me पढ़ कर गए थे ..नालंदा यूनिवर्सिटी से l तब जाकर ब्राह्मणों की पोल खुली l इसीलिए हर मंदिर में यह लोग मूर्ति को कपड़े से और आभूषणों से छुपा कर रखते हैं l मोबाइल या कैमरा ले जाना इसलिए मना है क्योंकि यह सब मूर्तियां बुद्ध की है l जगन्नाथ , बद्रीनाथ केदारनाथ , रामेश्वरम , बुद्ध के तीर्थ स्थल हैं l ज्यादा जानकारी के लिए जर्नी साइंस चैनल देखो
हूनो के प्रथम राजा का नाम ही केदार था जो भगवान शिव का ही एक ज्योतिर्लिंग भी है तथा नाम भी । वो शैव परंपरा के हिंदू ही थे । प्राचीन काल में भारत कहां तक फैला था इसकी खोज कीजिए
@@ravishchandel5215 यही तो चुतियापा है एनसीआरटी की पुस्तको का एनसीआरटी की पुस्तक एक प्रमाण ही दे दे शिलालेख अभिलेख की वो राजपुत थे राजपुत जाति ही ११वी सदी के बाद बनी है
@@ravishchandel5215 oh bai timing ko samaj 2100 year pehle sabse pehla attack scythian ka hua 1800 year pehle hi sabse pehla attack huns ka hua gupta dynasty period me jo maurya dynasty 400 year baad bani thi aryan ko 3800 year pehle ka aaya bataya hai lekin vedo me Saraswati river ke bare likha hua jo 5000 year pehle tak hi India me exist karti thi to bai 3800 year pehle aryan theory wrong hai or NAHI ko 3800 year pehle country exist karti thi kewal civilization hi thi example ke liye Mesopotamia ' egyipt civilization ' sindu civilization or kai rajput ke ancestor purane kshatriya nahi hai wo scythiyan or huns se bhi converted yani jaat or gujjar Uttar Pradesh ke thakur jaat 'rajput ' Brahman' gujjar community se converted hai jo jameendar hota tha wo thakur kehlata tha thakur koi caste nahi hai bihar or Bengal ke Brahman jameendar ko thakur ' bhumihar bhi kehte hai wo meat bhi khalete hai ravindra nath tagor ke father ko thakur bola jata tha wo Brahman hi the kyoki wo jameendar the isliye unko thakur kehte the sisodiya rajput me log jyadatar scythian se converted hai jo scythian converte nahi hue wo jaat keh laye
Are Murkh mand manushya, hun Bharat me 4th century me aaye, usase pehle o afganistan ke upar Wale bhag me rehte the jise aaj Uzbekistan, Kyrgyzstan aur middle asia ke nam se Jana jata he
गुजरात के सौराष्ट्र में आके बस गये थे, जिनको रबारी समाज से जाने जाता है, जिनमे सबसे बड़ा गोत्र हूण है, हमारे महान पूर्वज है, कृषिक पशुपालन जीवन शैली में जी रहे है, जय दादा हूण
@@annakhatana8071 रैबारी नाम भेड बकरियाँ ऊंट गाय आदि जानवरों के रेबड साथ लेकर जंगल जंगल भ्रमण करने के कारण पडा है**@@ जबकि रैबारी, देवासी, मालधारी, धनगर, भरवाड, आदि समुदाय मूलतः प्राचीन वीर गुर्जर कबीले ही है** जो लम्बा वक्त बीत जाने और अंग्रेजो के द्वारा जाति गत जनगणना में गुर्जरों को सैकडो टुकडों में बाटने के षडयंत्र की वजह से अलग अलग हो गये है**@@ अन्यथा इन सभी समुदाय के गोत्र और संस्कृति वीर क्षत्रिय गुर्जर वंशो के समान है**😎
@@AbhishekSingh-x8h5s अभिषेक भाई पृथ्वीराज रासो में अग्निकुंड से चार राजपूत कुलों- परमार, प्रतिहार, चौहान और चालुक्य की उत्पत्ति की कहानी मिलती है. इतिहासकार भंडारकर इन चारों राजपूत वंशों को गुर्जर कुल से उत्पन्न मानते हैं. और एक बार कर्नल टॉड ने जो राजपूतों के बारे में बताया वो भी पढ़ लेना अधूरा ज्ञान हमेशा नुकसान देता है।
@@A2Zunlimitedhistory bahut complicated hoti h ,pratihar vash ka sida samband gurjaro se h ,huno ka clear nhi h ki unka kisi prakar ka sambandh gurjar community se h ye bs ek anuman h
hoon bahut phele se bharat ke nivasi hai battle of ten kings ke baad kai jatiya bahar rehen gyi jisme yeh bhi the kalantar ke sath kuch inme se vapis aagye
भाई ये इतिहास है, आरएसएस ने झूठ का प्रोपेगंडा फैला रखा है। इतिहास की किताब पढ़ो, ये तनातनियो से इतिहास जानोगे तो यही होगा। नया पंडित जोर जोर से मंतर फूंकता है। मिहिरकुल ने बौद्धों का दामन किया क्योंकि उसे ब्राह्मणों से प्रोत्साहन और ईश्वरीय आदेश के साथ समाज में स्थापत्व चाहिए था। ब्राह्मणों ने हूणों से बौद्धों को मरवाया और बदले में ब्राह्मणों ने हूणों का संस्कृतकरण किया और क्षत्रिय बना कर राजा बना दिया। राजपूतों के साथ भी यही बात हुई है। वरना मध्यकाल से पहले कोई राजपूत अस्तित्व में नही थे।
सत्य यहीं है उत्तर भारत में रहने वाली लड़ाकू जातीय शक यवन हूण कुषाण आदि ही है जो आज पठान गुर्जर जाट तोमर यादव और बहुत सारी ब्राह्मण कास्ट जो ज़मीदार भी रहे जैसे हंदेत पुरोहित चौबे आदि ही है। ये मेरी निजी राय है।
kuch tumhare purwajo jaise garddaro ke wajh se jo apna dharam aur imaan badal dete the tax na dene ke liye....... tum logo ke khoon me hi gaddari hai...
@@Myloveindia-kt3hr Hum hi log ne ye desh bacha ke rakha hai warna tum log to ek chawal ke bag ke badale me bik jaate ho😂😂😂 Tumhare khoon me hi neechta aur gaddari hai 😂😂
@@sagar6991 हिंदू राष्ट्र बनने वाला है, वही स्वर्णिम काल आने वाला है जहा 1 सबका इलाज आयुर्वेद से होगा, आपका सिर अगर किसी accident मे कट गया है तो हाथी का सिर जोड़ दिया जाएगा। 2 हर जगह पुष्पक विमान उड़ रहे होंगे। 3 factories industries officies बंद कर दिए जाएंगे उनकी जगह मंदिर खोले जाएंगे क्योंकि उस से ही तो अर्थ व्यवस्था मजबूत होगी। 3 स्कूलों में सिर्फ वेदों का पाठ करवाया जाएगा क्योंकि सारा विज्ञान, जीवन जीने की सीख सब कुछ तो है उसमे। और बाकी सबको अपने बच्चो को पढ़ाने की टेंशन भी खतम हो जाएगी क्योंकि सिर्फ ब्राह्मण के बच्चो को ही वेद पढ़ने की अनुमति है। 4 नौकरी की भी टेंशन नहीं होगी, जाति व्यवस्था के आधार पर सबको काम दे दिया जाएगा। और कोई काम छोटा बड़ा नही होता। नाली साफ करके भी तो आप लोग समाज में अपना योगदान ही तो दे रहे होंगे। तो भाइयों और बहनों , बताओ तुम राम भक्त हो की नही? हिंदू राष्ट्र बनना चाहिए की नही? तो आओ फिर पुराने स्वर्णिम युग मे लौट चले। राम मंदिर बनते ही पहला कदम उस दिशा में लिया जा चुका है। दूसरा कदम मोदी जी को 2024 के चुनावों में जीता कर लेना है। बस फिर सब चंगा होगा सी! आपका साथी अंधभक्त ( MA in सारा political science)
(1) साधुवाद श्री जी, इतिहास की घटनाक्रमों के स्मरण हेतु, धन्यवाद इतिहास वाचक जी । ●●●निवेदन, विषय वार्ता निरंतर रखॆं, जागृत..... (2 / ?) भारतीय इतिहास वाचक/लेखक निज निस्वार्थ/स्वार्थ भाव से ग्रस्त थे/हैं/रहेंगे, शेष मुल्यांकन कर्ता पर निर्भर है, (ॐ) परन्तु सत्य आत्मनिर्भर है/ शाश्वत है/ ॐ सत्यम्, ॐ शिवम् ॐ सुंदरम् |||
Hamesha ki tarah ek aur lajawab episode, jise apna itihaas nahin pata wo asal main ek jaanwar hi hai. Janta ko insaan banane ke liye shukriya, Nikhil is an amazing orator
गुज्जर हि हुण या मेढ थे, शक जिन्हें आज जाट, मराठा कहा जाता है वो थे, शकों व हूणों मेसे हि राजपुत बने हैं जो हूणों व शकों के सरदार थे उन्होंने पहले राजा, राजपुत्र व बाद में राजपुत कहलवाने लगे, लेकिन 717 ईस्वी मे यग करके राजपुत जाति का नाम दे दिया गया, जिसमे 2 च व 2 प ( चौहान, चालुक्य/सोलंकी, परमार/पंवार, प्रतिहार) गोत्र दिया गया। जो गुज्जर व जाट राजपुत जाति शामिल नहीं हुए उन्हें उस सूची मे सिधा गुज्जर व जाट लिख दिया गया, जो सूची आज भी जोधपुर राजघराने के पास है, जो उत्तराखंड व शिमला मे राजपुत्र है वो अपने वंशावली मे आज भी राजपुत्र- जाट या राजपुत्र- गुज्जर लिखते हैं। जो गोत्र में नेगी, बिष्ट, ठाकुर लगाते हैं, उनको चीढाने के लिए दुसरी जातियां खासिया बोलती हैं, जो शक को खस व खस से खासिया बोलने लगे व नेपाल में भी वही जातियां है।
हिमालय क्षेत्र में khasas(खस) जाति का अस्तित्व हजारों साल पहले से से जब हुन और अन्य जाति का भी यहां नहीं आई थी और khashiya यहां चीड़ाने के लिए नहीं बोला जाता हम शान से अपने को खस या कशिया बोलते हैं। खस मतलब ठक्कुर् और ठक्कुर् शब्द का सबसे पहला यूज खस कत्यूरी राजवंश के inscription में देखने को मिलता है। जम्मू हिमाचल उत्तराखंड नेपाल के 90 precent क्षत्रिय ब्राह्मण खस clan me हैं और कश्मीर के 70 to 90 percent मुसलमान खस clan ke हैं। जो कश्मीरी पंडित वहा से भगाए गए थे वह भी खस clan ke the
Nikhil, as always great research and presentation. LT is the best. I would like to suggest following for your channel. Have a question and answer session through comment section. I have several questions about this episode 1) if Mahabharata talks about Hoons, how then Mahabharata is 10 to 12 thousand years old as claimed by some scholars? 2) why Hoons adopted Hindu/ Indian sounding names? 3) if they were coming from Central Asia, how the story of elephants falling near Peer Panjal makes sense. I know this will be additional effort for your channel but definitely will be worth. Please share your thoughts. Cheers.
1) Original mahabharat was narrated by Ved Vyas and written by Ganesh ji. And that record is nowhere. So all many times Ramayan & Mahabharat went certain changes when translated or re-written. 2) Huns, Sakas, Yeuchis or Bactrians all were tribals from Central Asian region so they converted to Hinduism to assimilate themselves into India. Even Islamic invaders like Turks and Mongols(Genghis khan, Timur and Babur) were from these regions. 3) India being very rich in past was the dream country for many people all over world so they tried to migrate and assimilate into India either by simple migration or by hard way.
@@IndianFirst0001gurjar are different and they arent mongoloid race and rajput arent hun too.but some hun join rajput tribe.rajput tibw has 14-15% mongoloid haploroup.
हूणों का जीकर उत्तराखण्ड में भी होता जो तिब्बत की तरफ़ से भोटदेश से आते थे मेरे गाँव में एक आज भी टूटा हुवा मंदिर है और कहते ही की उसे हूणों ने थोड़ा था। उत्तराखण्ड के कल्चलर में कुछ गीत भी ही बचपन से में हम ये कुमाऊनी गीत गाते थे। “हुनियै की छोटी छोकरी हिटन मै थिरका मचाछ” शायद हूण हमारे साथ घुल मिल गये और उस समय हिमालय के पार से आने वाले को आक्रमणक्रीयों को ‘हूण’ कहा जाता हो
Calcutta= sr.citizen= It is learnt from book of one India famous writer( bengali) that Mongolian people, some 1000 yrs. Ago , came to India & settled in Rajasthan area.They are the Rajputs converted in Hinduism.Would you please look into this & pl. Make your comments thanks.
रिपोर्टर साहब।।सभी अखंड भारत कहते थकते नहीं।।परंतु।।अखंड भारत क्या था कितना क्षेत्रफल था कोन कोन से देश इसका हिस्सा थे।।पहले ये समझना जरूरी है। मिहिर नाम शुद्ध भारतीय नाम है। तो ये विदेशी कैसे हुए।। मिहिर जा अर्थ शायद आपको पता होगा।।सूर्य ।। कुषाण शक और हम महान गुर्जर जाति के लोग थे। आज भी हम गुर्जरों में कुषाण कसाना के नाम से तथा हूण नाम की गोत्र मिलती है।।
हुण गुर्जर गौत्र है जो विदेशी नहीं। उनकी उत्पत्ति कैलाश पर्वत पर हुई । और वो उत्तर दिशा में चलें गये। और हुण केवल भगवान शिव को पूजते थे। इसलिए वो हिन्दू विरोधी भी नहीं थे। और उनकी उत्पत्ति भारतवर्ष नाम से पहले ही हों गयी थी। हुण और कुषाण नागर ये गौत्र जिनका पृथ्वी के मध्य भाग पर राज था लेकिन वर्तमान के भारत से बाहर थे।
अरे भाई हूणों ने भारतीय संस्कृति को नहीं अपनाया वे थे ही सनातनी ऐसे ही नहीं उनका प्रमाण महाभारत और रामायण में नहीं मिलता। नहीं तो मेरे भाई भारत में ईसाई आए उन्होंने ने ईसाइयत को फैलाने का प्रयास किया मुस्लिम आए उन्होंने यहीं किया चाहे जो भी आया उन्होंने अपनी संस्कृति को भारत पर थोपने का प्रयास किया। फिर इनके कहे अनुसार हूण इतने क्रूर होने के बाद भी इतने उदार कैसे हो सकते थे कि वे यहां की संस्कृति को अपना लेते। भाई ये भारत का दुर्भाग्य रहा कि भारत के इतिहास को जिसने चाहा उसने अपने अनुसार तोड़ मरोड़ दिया जिसका कारण है प्रमाणों के खोजने की कमी क्योंकि ऐसा नहीं है कि भारत में भारत के प्राचीन इतिहास के प्रमाणों की कमी है बल्कि प्रमाणों को खोजने की कमी रही है। वो तो अंग्रेजो ने थोड़ा प्रयास कर लिया जिस से हड़प्पा और सिंधु सभ्यता की भी खोज हो गई नहीं तो पता नहीं आज तक हो भी पाती या नहीं। हूण भारत में मध्य एशिया से आए उन्होंने भारत पर आक्रमण किया ये सत्य तो है पर अर्धसत्य है क्योंकि ये लोग केवल यही बताते है कि हूण या आर्य मध्य एशिया से आए परन्तु यह नहीं बताते कि ये पहले ही भारत से मध्य एशिया , यूरोप तक गए। जिसका प्रमाण है “विजययात्रा”। आर्य राजा या उनके सम्बन्धी अपने राज्य को बढ़ाने के लिए विजययात्रा किया करते थे तो उसी विजययात्रा में दूर दूर तक जाया करते थे जिनमे से कुछ वही बस जाते तो कुछ वापिस आ जाते। परंतु जब तक भारत में इतिहास सुना या सुनाया तो जाता था परन्तु इतना लिखा नहीं जाता था। उस समय के इतिहास के तौर पर रामायण और महाभारत ही प्रमुखग्रंथ है। भारत में तो इतिहास लिखना ही शुरू बौद्ध और जैन काल के दौरान अधिक हुआ है। इसलिए भी प्राचीन इतिहास के प्रमाणों की कमी है। मध्य एशिया या यूरोप में रुके ये आर्य जब वापिस भारत लौटे तो यहां बौद्ध या जैन अनुयायी राजा अधिक थे इसलिए भी उन्होंने इन्हे क्रूर और बाहरी लिखा। जबकि सत्य यह है हर योद्धा अपने दुश्मन के लिए क्रूर ही होता है और आर्य या हूण या शक या कुषाण आदि पूर्णतः भारतीय थे और है तथा पूर्णतः सनातनी थे और है। आज भी ये गोत्र क्षत्रियों में मिलते है। तुच्छ सोच और तुच्छ राजनीति के चलते इतिहास को सही पता होने के बाद भी कुछ लोग ना सही इतिहास लिखते ना सही इतिहास बताते तथा कुछ सही इतिहास बताकर किसी विवाद में नहीं पड़ना चाहते। अब क्या करे इतिहास के मामले में भारत का दुर्भाग्य है यह।
@@navyanshsinghbundela hindu sindu word se nikal word hai 😂 Aur Sanskrit kon se Bhraman foreigner videshi hai Sanskrit Persian language ka vergin hai 😂
Huns hungry k log hain jin ki baat ap krte ho Vo Indo Aryans hain ganga jamna k log Aryans b central Asia and Iran k route Se ay thay ye Swedish nasl k sansikrat bolne wale log the jo greeks Se b pehle ay the Ashoka b patliputra ka Indo Aryan tha
@@vinaymalik3945 सही कहा वो जाट राजा थे क्युकि उन्होंने अपनी किताब हर्ष चरित्र में लिखा है कि उत्तर में हुण और पश्चिम में गुर्जर मेरे पिताजी के होते कभी चैन की नींद नहीं सो सके यानी के इनकी गुर्जर से दुश्मनी थी और 12th ईस्वी में जाट गुर्जर यादव मीना से मिल के राजपूत बने
@@HarshvardhanGaur-ty2qu aulikar dynasty थी aulakh jat, एमपी का मालवा malhi jat clan के नाम पर pda, ये rastya kuta की जीत ke baad वापिस पंजाब , rajasthan lote.
And they do destroy agriculture as Huns did! No police can touch them! Sure they were descendants of Huns or Aryans destroying peaceful harrapa agriculture society! India never excelled in agriculture since then!
हूण गोत्र गुर्जरों का एक गोत्र है जो की सिर्फ गुर्जरों में पाया जाता ज्यादा जानकारी के लिए उत्तराखंड के हरिद्वार जिले में दो गांव है उन दोनो गांव में आज भी हूण गुर्जर मिल जायेगे और हूण गोत्र मुस्लिम गुर्जर में भी है दोनो गांव हरिद्वार जिले में है झबरेरा विधानसभा का लाठरदेवा हूण गांव और लक्सर विधानसभा का गांव कुंआखेडा
Get 50% OFF on Kukufm's 1st Month subscription!!
Only at Rs 49 instead of Rs 99 (Use code LT50 )
Click the link in the description👇🏻
kukufm.sng.link/Apksi/k6ae/cbah
Siberia se gandhar kis raste aaye 4:21
हुन मतलब आजके राजपूत, वैदिकोने बौद्ध धर्म खतम करने के लिये वैदिक ब्राम्हणो ने इन्हे हिंदू धर्म में शामिल करा लिया.
3:27 3:30 3:39
L
🎉qca look
सराहनीय खोज, एतिहासिक जानकारी से पता चलता है कि मानव हमेशा आपसी व बाहरी लडाई और संग्रहस सैजूझते रहते रहे और वही दशा आज भी है लल्लन टोप बड़ी महनत से जानकारी निकाल कर प्रस्तुत करता है उस के लिए धन्यवाद कहना तो बनता है, धन्यवाद 🎉😊
मुझे हूनौ के बारे मैं थोडा पता था,,, पर आपने पुरा बता दिया,,, अब मुझे शको के बारे में जानकारी प्राप्त करें 🙏
❤
भाई आजकल जो खुद वीर बोलते है गुजर जाट राजपूत ये सब लोग विदेशी है शक हुड और कुषाण के वंश के😊
Tarikh is among the best show on Lallantop...the depth of research and information provided is simplyamazing....keep it up Nikhil bhai
Nikhil sir lajawab Ho aap apki muh se tarikh ke episodes sunkar insaan history me hi kho jata h jabardast
Very interesting and detailed story... Ancient history is not that much discussed. Thanks for bringing this ..good job like always
हूण लोग आज के समय गुज्जर समुदाय में पाये जाते हैं। हूण गौत्र या कूल आज भी गुज्जर समुदाय में पाया जाता है।और गुज्जरों में हूण सरनेम भी है।
@harkeshgurjar3804यानी गुज्जर लोग विदेशी है
@@ashutoshgupta3351आज से जो।हजारे से भी ज्यादा वर्ष पहले भारत में आकर रच वस गए थे उन्हें आज हम विदेशी तो नही बोल सकते भाई क्योंकि वैसे तो पीछे जाने पर सभी बाहर से आकर ही बसे है
@@Bhagwansa-Patawat इस बात से सहमत है भाई आपके
हुण एक विदेशी समुह था जो भारत में आने पर कुछ समय बाद सत्ता विहिन हो गया और शायद अनेकों जाती समुहो में मिल गया इसलिए हर जाति में उनका अंश मौजूद है
@@Bhatti_Saab_7773
Usse pehle dasraj ke yuddh me jo raja haare the unko aur unki bchi hui sena ko Bharat se west aur north ki taraf desh nikala diya gya tha. Yhi bahar bhagaya gae log aaghe chl ke hunn kehlaae.
History narration by NIKHIL and AADESH SINGH from StudtyIQ IAS 👍🏼👍🏼👍🏼👍🏼👍🏼👍🏼👍🏼👍🏼 PERFECT
भाई निखिल तारीख एपीसोड आपके मुंह से ही अच्छा लगता है।
यही जो हूं है वही गुर्जर है और यह जो राजपूत है ये हुन गुज्जर और शक जाटों से परविर्तित हुए है,,, ये ही भारत देश का इतिहास है।
Mera Bhai 😂😂 tum log humara use sa peda huva ho rajputput ho tum tumahara maa aati thi humara yaha bhulo mat aabhi bhi aati ha vo 😂😂
Nahi sir
Rajputs are not descendants of Huns 😂
I am Gurjar, my gotra is Hoon. Many historians belevied than hunas are divided then in Gurjars and jats.
You are right gujjar and jat community belongs hoon but mostly jaat belongs scythiyam community blood
Sahi baat hai Bhai ji,hun jayadatar gujjar ke purvaj hai tode jat hue ,wahi scythians are Jats ,or hum se hi rajput bane hue hain
@@ambujupadhyay1865jaat alg h bhai jaat or jat difference h
@@neerajsinghbhar966 utli ganga na bhaha chote bhai ... Sabko pta hai Kon kisme se nikla hai .. kiska beej kisme hai 😂😂 Social media ki bakchodiyon se bahr nikalkr Apne baao daa se puchna .
😂😂😂
Moh band karo apna lindostanio 🇮🇳🏳️🌈 tom sab Dravidians ho 😂😂😂.
निखिल सर अपने बिल्कुल सही कहा बेहद शानदार और लाजवाब एपिसोड तारीख की सीरीज की बात ही अलग है दिल खुश हो जाता और दिन बन जाता है धन्यवाद लल्लनटॉप टीम और निखिल सर ❤️
3:43 और 4:00 respectively महाभारत और रामायण, हूणों के भारत आने के बाद की कहानियां है... thankyou Lallantop❤🎉
4:43 हूणों के पहले आक्रमण का जिक्र स्कंद गुप्त के समय के शिलालेख पर है, तो पिछले 50 सालों के अन्दर ही आक्रमण हुआ होगा...
यानि रामायण और महाभारत 4th century AD के समय या उसके बाद की कहानियाँ हैं 😂😂😂
10:58 खिंगाला का बेटा "युधिष्ठिर"... umm interesting🤔
Tu nasha krta h kya
@@Namexzyy video dekhte time tu nashe me tha kya?
@@prynsh_ me na pr Tu jarur h
Tarikh and Nikhil are complementary to each other.❤
दश राजन युद्ध के बारे में डिटेल्स बताइए
You mean battle of ten kings
हुन मतलब आजके राजपूत, वैदिकोने बौद्ध धर्म खतम करने के लिये वैदिक ब्राम्हणो ने इन्हे हिंदू धर्म में शामिल करा लिया.
@@beshramgamers3932yup!
Bohot sundar tarika itihas se rubaru karaane ka thanks the lallan top team for your best effort this is very useful for students. 😊❤
आर्य भी रूस से ईरान मे आए फिर अफगानिस्तान से भारत में आए इसके लिए भारत के सम्बंध रूस से बहुत अच्छे हैं
😂😂😂😂😂 तो बता आर्य कोन है
गुगल कर मालुम हों जाएगा ।
आर्य गधे की कान में से आए थे
huns were the ancestors of rajput and gurjar
the gurjar pratihar ancestors were huns
their name also similers to huns
mihirkul - mihir bhoj
chau(han)
Gujarat pratihar Kuchipudi nhi Rajput hi the pratihar parihar hote Hai Gujrat Taraf ke the isliye gurjar kaha jata tha
haan murga yani hen bhi hun ka vanshaj hai, chutiyapa kb rukega ye, mihirbhoj pratihar was rajput.
@@Annonymous34ff😂😂😂
okay
Chup, fake news peddler 😡
Absolutely brilliant research and authentic information! Thank you very much!
Incomplete research. Mostly copy pasted from one source.
Tarikh please next story about Odisha,Kalinga kingdom story GONGO and GAJAPATI EMPIRE. STORY about konark temple the Dharmapada story.
अगर रामायण महाभारत में हूंणों का जिक्र मिलता है तो इसका मतलब रामायण महाभारत उतने पुराने ग्रंथ नही है जितना कि हमे बताया जाता है
हूंण भारत में चौथी सदी में आए
hunn ka history bhi hazaaro saal purana h, mahbharat ka bhi 5000 saal bataya jaata h.
हो सकता है हुण एक पुराना कबीला हो और महाभारत के समय भी उनकी मौजूदगी हो और भारतीयों से उनके संबंध हो !
@@tseringchosphel262 Hinduism is oldest religion from which Buddhism is derived... Buddha himself was Hindu Kshatriya of Suryavansh lineage.
Mahabharat 5000 sal purani haii.. Us samay huno ka akraman hota tha..
@@tseringchosphel262 mahatma budhh k paida hone k bahut hazaaro saal pehle se sanatan h sristi k aadi se sristi k anth tak rahega.. Tum pehle sidharth jo ki baad m mahatma budhh hue unki biography padho, leftisto k history le kr ghumoge to jahi-tahi burbak banoge.. Mahatma budhh ki mata ka naam mahamaya tha jo pure sanatani shiv bhakt thi.. Padhai kiya kr
Saundhani is still a place just near to Mandsaur, Madhya Pradesh. Here we find a pillor made by Yashodarman after the famous victory on Hunas.
कमाल है महाभारत में शक, कुषाण, यमन और हूणो का कई बार जिक्र है जबकि इन सबका शासन काल 2 से 1.5 हजार साल पहले ही रहा है और महाभारत को 5000 साल पुराना माना जाता है 🤔
और 5000 साल पहले सिंधु घाटी सभ्यता थी जिसके बारे हम कुछ भी नहीं जानते पर महाभारत के बारे में सब कुछ जानते है
महाभारत पुराण में जिक्र जरूर है लेकिन उनका महाभारत युद्ध से कोई संबंध नहीं है,
Tab yeh hun shak kushan central asia mai the
@@suhga3300"Agar Mahabharat ke Yuddh se lena Dena nahi hai toh Yudhistar ke Samaya mein inka Jikra kahan se Aa gaya"
अरे वो हवा मैं ही प्रकट नही हुए उनके पूर्वज और वंशज अभी भी तो है, अब बस tribe clan बना के नही रहते।
😊 कुछ हिस्टोरियन का कहना है कि कुषाण और हुण डायनेस्टी से ही आगे चलकर प्रतिहार परमार चौहान चालुक्य चंदेल आदि राजवंश निकले
Sach me bahot bahot mehnat Kiya hoga itna information k liye,kyuki ye information bahot rare kisine likha h ya kisi Purani library me rakhi hogi
Kashmir mein sabko pata hai ye
Jat king Maharaja Yaso dharman defeated mihirkul😎😎😎😎😎 Read mandsaur inscription 🥵🥵🥵
Jat Rajadhiraj naradhipati samrat Yashodharman Aulakh son of prakashdharman Aulikara/Aulakh 🗿
@@surajdhaka5393हमारी Rabari Raika Dewasi caste बहुत ही प्राचीन योद्धा जाति है जो आज के राजस्थान (मारवाड़ इलाके में), और गुजरात में बड़ी संख्या में निवास करते हैं और पंजाब हरियाणा up और mp मे भी रहते हैं और पाकिस्तान के सिंध में भी रहते हैं 👍
@@humanoid25 gotra or tribe alag hoti hai
@@surajdhaka5393 hun गोत्र आज भी मेरी caste Rabari Raika Dewasi samaj me आज भी मौजूद है और दूसरी caste gujjar में भी मौजूद है आज भी 👍🚩
Nicely explained by Nikhil 😊 !
जब हुंण भारत आये उस समय उत्तर भारत पर महान वर्धन वंश का शासन था
उनके राजा हर्ष वर्धन अपनी पुस्तक हर्ष चरित में लिखता है कि उत्तर में हूंण और पश्चिम में गुर्जर मेरे पिताजी के होते कभी भी चैन की नींद नहीं सो सके
बाद में जब वर्धन वंश का पतन हुआ तब उत्तर भारत में गुर्जर शासन आया तब यही हूंण गुर्जरो में शामिल हो गए और 350 साल तक देश की रक्षा की
इनमे एक शाशक तौरमण था जिससे आगे चलकर तोमर तंवर गोत्र निकला और ये बहुत बड़े शिव भगत थे और बौद्ध विरोधी
Mtlb ye log videshi the ,bas tum khush ho kyuki tumara dharam apna liya , musalman kabhi kisi ke age nahi jhuke isliye tum logo ko prblm h
@@sohail-oneto Bahut se hindu samudaye bhi to muslim bana tha bhul kyi jate ho Hun ek gotr h Gurjaro ka koi unhe videsi bolega to kitna sahi hoga
@@SunilGurjar-xr1ys bhai ek baar comment dubara padho iss bande ka ,saaf saaf likha h ki hun or gurjar dono hi kabhi chain se nahi baithe
वाह चूमतिये
Tomar ko khud mein mat Mila bhai tum tomar mein mile to anadpal tomar baut pahele se India ka dna h tomar vansh rajput jaat gurjar Mali aur chamaro mein bhi h hum bhi tawaro mein mile h aur ha tanwar aur tomar dono ek h but tomar kabhi gurjar gotra nahi h
हूण गोत्र आज भी गुर्जर समुदाय में पाया जाता है और कुषाण भी जिन्हे कसाना कहा जाता है
महाभारत में हुन मतलब महाभारत 2 nd se 7th सेंचुरी के बीच का ग्रंथ है
2 से 7वीं सदी नहीं बल्कि, 8 वी सदी के बाद का है महाभारत
Koi ek jamana ka toh nahin tha bahut sare jamane ki kahaniyan ek ek karke uthaye gaye hain uthane wale bhi koi ek nahin tha. isse bana Mahabharat granth. Iska koi bhi pakta saboot nahin hai kaun sa charcter kisne likha hai au kab.
Vaidik kal ya shung k time me
Kahaniya judti gayi hogi purani kahaniyon de
इसका मतलब यह नहीं की है उस समय के राजाओं का जिक्र किया गया है यह बात सत्य है मतलब हैki यह 12vi से 13 वीं सदी के बाद लिखा गया l महाभारत, रामायण में मुगलों का जिक्र भी है सोचो और समझो ग्रंथ कितने बाद के लिखे गए l कह सकते हैं सब ग्रंथ काल्पनिक हैं l राम काल्पनिक ,कृष्णा काल्पनिक इनके विष्णु और ब्रह्मा काल्पनिक हैl इन्होंने हमारा इतिहास छुपाया है l नालंदा तक्षशिला इनके बारे में ब्राह्मणों ने वेदों में क्यों नहीं लिखा l वह तो शुक्र हो अलबरूनी ,व्हेन सॉन्ग ,itsing आदि दार्शनिक लोगों का जो भारत me पढ़ कर गए थे ..नालंदा यूनिवर्सिटी से l तब जाकर ब्राह्मणों की पोल खुली l इसीलिए हर मंदिर में यह लोग मूर्ति को कपड़े से और आभूषणों से छुपा कर रखते हैं l मोबाइल या कैमरा ले जाना इसलिए मना है क्योंकि यह सब मूर्तियां बुद्ध की है l जगन्नाथ , बद्रीनाथ केदारनाथ , रामेश्वरम , बुद्ध के तीर्थ स्थल हैं l ज्यादा जानकारी के लिए जर्नी साइंस चैनल देखो
आपकी तारिख के लिए 😊आपकी तारीफ करने के लिए हमारे पास, शब्द नहीं है, इसलिए बहुत बहुत धन्यवाद 🌹🙏🌹🌺🚩🙋
Good episode.👍👍
i
Hindustan ki aisi ancient history pe episodes banao Sir.
हूनो के प्रथम राजा का नाम ही केदार था जो भगवान शिव का ही एक ज्योतिर्लिंग भी है तथा नाम भी । वो शैव परंपरा के हिंदू ही थे । प्राचीन काल में भारत कहां तक फैला था इसकी खोज कीजिए
हम भी हूंण है, आज भी मेरे नाम के आगे हूंण लिखते है.. हिन्दू रबारी (गुजरात)
Huns ancestor of gurjjar community now gujjar not only lived in India he lived many large number in Afghanistan and Pakistan 👍
But my history book mentioned them as one of the clan of Rajputs
@@ravishchandel5215 यही तो चुतियापा है एनसीआरटी की पुस्तको का एनसीआरटी की पुस्तक एक प्रमाण ही दे दे शिलालेख अभिलेख की वो राजपुत थे राजपुत जाति ही ११वी सदी के बाद बनी है
@@ravishchandel5215 no when he migrated from center asia so how can say he is rajput 😂
@@ambujupadhyay1865 all the Aryans also migrated from central Asia btw . Your answer doesn't make any sense.
@@ravishchandel5215 oh bai timing ko samaj 2100 year pehle sabse pehla attack scythian ka hua 1800 year pehle hi sabse pehla attack huns ka hua gupta dynasty period me jo maurya dynasty 400 year baad bani thi aryan ko 3800 year pehle ka aaya bataya hai lekin vedo me Saraswati river ke bare likha hua jo 5000 year pehle tak hi India me exist karti thi to bai 3800 year pehle aryan theory wrong hai or NAHI ko 3800 year pehle country exist karti thi kewal civilization hi thi example ke liye Mesopotamia ' egyipt civilization ' sindu civilization or kai rajput ke ancestor purane kshatriya nahi hai wo scythiyan or huns se bhi converted yani jaat or gujjar Uttar Pradesh ke thakur jaat 'rajput ' Brahman' gujjar community se converted hai jo jameendar hota tha wo thakur kehlata tha thakur koi caste nahi hai bihar or Bengal ke Brahman jameendar ko thakur ' bhumihar bhi kehte hai wo meat bhi khalete hai ravindra nath tagor ke father ko thakur bola jata tha wo Brahman hi the kyoki wo jameendar the isliye unko thakur kehte the sisodiya rajput me log jyadatar scythian se converted hai jo scythian converte nahi hue wo jaat keh laye
महाभारत में हूणो का जिक्र। मतलब महाभारत 300 ईसवी के बाद लिखी गई
Actually, aapke comment mein Mahabharat ka jikra hai, matlab mahabharat 2024 ki hai.
महाभारत एक ऐसा ग्रंथ है जिसमें बहुत कुछ बाद में जोड़ा गया है। इसका ये मतलब नहीं कि पूरी महाभारत हूणों के समय में लिखी गई।
Are Murkh mand manushya, hun Bharat me 4th century me aaye, usase pehle o afganistan ke upar Wale bhag me rehte the jise aaj Uzbekistan, Kyrgyzstan aur middle asia ke nam se Jana jata he
@@emperor4770 आज भी मेरी caste में hun गोत्र मौजूद है 👍🚩
@@emperor4770भारत की दो caste में आज भी hun गोत्र मौजूद है उनमें से एक मेरी caste है 👍🚩
गुजरात के सौराष्ट्र में आके बस गये थे, जिनको रबारी समाज से जाने जाता है, जिनमे सबसे बड़ा गोत्र हूण है, हमारे महान पूर्वज है, कृषिक पशुपालन जीवन शैली में जी रहे है, जय दादा हूण
@@annakhatana8071 रैबारी नाम भेड बकरियाँ ऊंट गाय आदि जानवरों के रेबड साथ लेकर जंगल जंगल भ्रमण करने के कारण पडा है**@@
जबकि रैबारी, देवासी, मालधारी, धनगर, भरवाड, आदि समुदाय मूलतः प्राचीन वीर गुर्जर कबीले ही है** जो लम्बा वक्त बीत जाने और अंग्रेजो के द्वारा जाति गत जनगणना में गुर्जरों को सैकडो टुकडों में बाटने के षडयंत्र की वजह से अलग अलग हो गये है**@@
अन्यथा इन सभी समुदाय के गोत्र और संस्कृति वीर क्षत्रिय गुर्जर वंशो के समान है**😎
Only true intellectuals can grasp the depth of research in this video.
bhai ne indirectly khud ko intellectual bol diya😅
L@@abhisheksaxena6778 lagta hai isko sab kuch samjh aa gaya
I request team Tarikh to make an episode to enlighten the Indian history between 712AD and 1000AD.
Chinta mat tu gurjar us time rajput the😂😂😂😂
@@AbhishekSingh-x8h5sjake history padh, us time gurjar prtihar ka raj bharat ke bhut bde hisse pe tha
@@ABHINAV-ti3tj Abe vo pratihar rajput hai 🤣🤣🤣🤣🤣
Na ki vo gurjar caste ke the agar tughe open challange karta hu
@@AbhishekSingh-x8h5s अभिषेक भाई पृथ्वीराज रासो में अग्निकुंड से चार राजपूत कुलों- परमार, प्रतिहार, चौहान और चालुक्य की उत्पत्ति की कहानी मिलती है. इतिहासकार भंडारकर इन चारों राजपूत वंशों को गुर्जर कुल से उत्पन्न मानते हैं. और एक बार कर्नल टॉड ने जो राजपूतों के बारे में बताया वो भी पढ़ लेना अधूरा ज्ञान हमेशा नुकसान देता है।
Jat Samrath Yashodhaman Virk 🔥
Ye was Aulakh/Aulikara
@@surajdhaka5393hun गोत्र आज भी मेरी caste Rabari Raika Dewasi samaj me आज भी मौजूद है 👍🚩🇮🇳⚔️
हूण भारत में आज भी रहते हैं हूण गुर्जर जाति का एक गोत्र है।
Ryt
Gurjar ek trf khud ko pratihar vans se jodte h Jo bhagvan lakshman k vans se the or dusri trf videsi huno or kushano se b
@@A2Zunlimitedhistory bahut complicated hoti h ,pratihar vash ka sida samband gurjaro se h ,huno ka clear nhi h ki unka kisi prakar ka sambandh gurjar community se h ye bs ek anuman h
@@veer8371😅😅😅 चल बे कुछ भी
@@Yeahcheeteh🤫🤫
Never known much about Huns,thanks to lallantop🙏🏻
@@HarshvardhanGaur-ty2qu means the ancestors of them settled here or mixed with India's culture...!!
@@Keshavmishra79मिश्रित हुए है भारतीय संस्कृति से
@@Sanatani_kattar नहीं तो लाठी से मार कर जैकारा लगवाएंगे |
जय श्री राम |🕉️
Nice knowledge of Huns in very orderly form.
भाई साहब अब आप ही बताएं कि महाभारत और रामायण की घटना किस काल की है जब हुन ही 2 री शताब्दी के बाद पहली बार आए?
हुनों का इतिहास भी महाभारत के समानांतर हजारों वर्ष पुरानी हो सकता है।
@@SKumarAtoZ purely unscientific
ये फर्जी है लालंटोप गैंग
hoon bahut phele se bharat ke nivasi hai battle of ten kings ke baad kai jatiya bahar rehen gyi jisme yeh bhi the kalantar ke sath kuch inme se vapis aagye
Baad m joda gya hai
लाल बहादुर शास्त्री एक मात्र ऐसे प्रधान मंत्री जिसकी कोई आलोचना ही नहीं है
जय जवान जय किसान😊❤😊❤😊😊❤❤😊😊❤😊❤❤😊❤😊😊❤😊❤😊❤😊❤❤😊❤
Right
Sure
HearHear
,
@@oldmoviesincolored wo morariji desai tha, thoda padh liya karo
@@oldmoviesincolored tum yaha kya kar rahe ho pm tumhe Aisa research ke liye medal Dene ke liye khoj raha hai
Mahabharat and Ramayan's mention is crazy how is that possible. This was very informative as I had only heard of huns in context of the Roman Empire
एक और गजब बात।।तो सच में विदेशी और विधर्मी थे।।उन्हें महान बताया गया और जो सनातनी और भारतीय थे ।।उन्हें बार बार विदेशी बोला जा रहा है।।
दुखद।।
और ऐसा कहने वाले भी अधिकतर भारतीय ही है 😢
भाई ये इतिहास है, आरएसएस ने झूठ का प्रोपेगंडा फैला रखा है। इतिहास की किताब पढ़ो, ये तनातनियो से इतिहास जानोगे तो यही होगा। नया पंडित जोर जोर से मंतर फूंकता है। मिहिरकुल ने बौद्धों का दामन किया क्योंकि उसे ब्राह्मणों से प्रोत्साहन और ईश्वरीय आदेश के साथ समाज में स्थापत्व चाहिए था। ब्राह्मणों ने हूणों से बौद्धों को मरवाया और बदले में ब्राह्मणों ने हूणों का संस्कृतकरण किया और क्षत्रिय बना कर राजा बना दिया। राजपूतों के साथ भी यही बात हुई है। वरना मध्यकाल से पहले कोई राजपूत अस्तित्व में नही थे।
सत्य यहीं है उत्तर भारत में रहने वाली लड़ाकू जातीय शक यवन हूण कुषाण आदि ही है जो आज पठान गुर्जर जाट तोमर यादव और बहुत सारी ब्राह्मण कास्ट जो ज़मीदार भी रहे जैसे हंदेत पुरोहित चौबे आदि ही है। ये मेरी निजी राय है।
Or ye sab videshi he, yavan,hun, shak, kushan...Jo ki ajj ke gujjar, jat, rajput,he
पठान 😂😂😂
इन को भारत से बाहर निकाल दो भाई 😂😂😂😂😂
Very informative session
मिहिरकुल तोरमान के काल में बौद्ध धर्मांतरण गैंग के यात्री भारत को और देखने में भी भय खाते थे
जय सनातन संस्कृति जय भारत
Very informative video thanks lallantop🤗
Thank you kamal & Nikhil G It's a wonderful episode
हम इतने महान विश्वगुरु थे जो भी आता था हमे पेल कर चला जाता था।
kuch tumhare purwajo jaise garddaro ke wajh se jo apna dharam aur imaan badal dete the tax na dene ke liye....... tum logo ke khoon me hi gaddari hai...
@@Myloveindia-kt3hr Hum hi log ne ye desh bacha ke rakha hai warna tum log to ek chawal ke bag ke badale me bik jaate ho😂😂😂
Tumhare khoon me hi neechta aur gaddari hai 😂😂
Aaj bharat me kitne hun bache he
Yeh batata he ki logo ne unko jawab bhi diya
@@sagar6991 Bharat me kitne angrez bache hai aaj?
Kya iska matlab yeh ki angrezi ne hame nahi pela?
Thoda or cow mutra piyo abhi kasar hai
@@sagar6991 हिंदू राष्ट्र बनने वाला है, वही स्वर्णिम काल आने वाला है जहा
1 सबका इलाज आयुर्वेद से होगा, आपका सिर अगर किसी accident मे कट गया है तो हाथी का सिर जोड़ दिया जाएगा।
2 हर जगह पुष्पक विमान उड़ रहे होंगे।
3 factories industries officies बंद कर दिए जाएंगे उनकी जगह मंदिर खोले जाएंगे क्योंकि उस से ही तो अर्थ व्यवस्था मजबूत होगी।
3 स्कूलों में सिर्फ वेदों का पाठ करवाया जाएगा क्योंकि सारा विज्ञान, जीवन जीने की सीख सब कुछ तो है उसमे। और बाकी सबको अपने बच्चो को पढ़ाने की टेंशन भी खतम हो जाएगी क्योंकि सिर्फ ब्राह्मण के बच्चो को ही वेद पढ़ने की अनुमति है।
4 नौकरी की भी टेंशन नहीं होगी, जाति व्यवस्था के आधार पर सबको काम दे दिया जाएगा।
और कोई काम छोटा बड़ा नही होता।
नाली साफ करके भी तो आप लोग समाज में अपना योगदान ही तो दे रहे होंगे।
तो भाइयों और बहनों , बताओ तुम राम भक्त हो की नही?
हिंदू राष्ट्र बनना चाहिए की नही?
तो आओ फिर पुराने स्वर्णिम युग मे लौट चले।
राम मंदिर बनते ही पहला कदम उस दिशा में लिया जा चुका है।
दूसरा कदम मोदी जी को 2024 के चुनावों में जीता कर लेना है।
बस फिर सब चंगा होगा सी!
आपका साथी
अंधभक्त ( MA in सारा political science)
(1) साधुवाद श्री जी, इतिहास की घटनाक्रमों के स्मरण हेतु, धन्यवाद इतिहास वाचक जी ।
●●●निवेदन, विषय वार्ता निरंतर रखॆं, जागृत.....
(2 / ?) भारतीय इतिहास वाचक/लेखक निज निस्वार्थ/स्वार्थ भाव से ग्रस्त थे/हैं/रहेंगे, शेष मुल्यांकन कर्ता पर निर्भर है, (ॐ) परन्तु सत्य आत्मनिर्भर है/ शाश्वत है/ ॐ सत्यम्, ॐ शिवम् ॐ सुंदरम् |||
Skandagupt, first Slayer of Hunas ☝
Mihirikola 🙃
@@AbdulAziz-xd8zlMihirkul🤡vs Jat Yashodharman Aulikara 🗿
Battle of sondani
Indian empire victory 🗿
@@AbdulAziz-xd8zlIsrael
@@jsmusic8145 nazi Germany 😊
हूण रबारी समाज की गौत्र है और रबारी समाज का शासन अरब के देशो मे था इसका भी इतिहास है और कठियावाड़ मे इनकी बसावट थी जो रबारी बाहुल्य क्षेत्र है... 🚩🚩
Shameless स्कन्दगुप्त को दो शब्दों में बता दिया गया 😢
गुप्तवंश ने भिन्नभिन्नकाल और स्थान मेँ शासन किया था। लगभग २४००वर्षपूर्व पाटलिपुत्र और लगभग १७००वर्षपूर्व मध्यप्रदेश मेँ ।।
सौंधनी स्तंभ मन्दसौर 08:08
Today's most of the ancient chapter revised
Very good job, Kamal!👏👏
Yesterday we missed you Nikhil
Es show ka Mai addicted ho chuka hu ❤
धन्यवाद लल्लनटाॅप. >>>>>
एपि 656 हूण___ बहोत सुंदर विवेचन!!!.
卐ॐ卐
Hamesha ki tarah ek aur lajawab episode, jise apna itihaas nahin pata wo asal main ek jaanwar hi hai. Janta ko insaan banane ke liye shukriya, Nikhil is an amazing orator
निखिल को नई काली घड़ी की बधाई
Nikhil Sir you are Amazing
गुज्जर हि हुण या मेढ थे, शक जिन्हें आज जाट, मराठा कहा जाता है वो थे, शकों व हूणों मेसे हि राजपुत बने हैं जो हूणों व शकों के सरदार थे उन्होंने पहले राजा, राजपुत्र व बाद में राजपुत कहलवाने लगे, लेकिन 717 ईस्वी मे यग करके राजपुत जाति का नाम दे दिया गया, जिसमे 2 च व 2 प ( चौहान, चालुक्य/सोलंकी, परमार/पंवार, प्रतिहार) गोत्र दिया गया। जो गुज्जर व जाट राजपुत जाति शामिल नहीं हुए उन्हें उस सूची मे सिधा गुज्जर व जाट लिख दिया गया, जो सूची आज भी जोधपुर राजघराने के पास है, जो उत्तराखंड व शिमला मे राजपुत्र है वो अपने वंशावली मे आज भी राजपुत्र- जाट या राजपुत्र- गुज्जर लिखते हैं। जो गोत्र में नेगी, बिष्ट, ठाकुर लगाते हैं, उनको चीढाने के लिए दुसरी जातियां खासिया बोलती हैं, जो शक को खस व खस से खासिया बोलने लगे व नेपाल में भी वही जातियां है।
Maratha kaale aurr height me chote hote hain wo huns bilkul ni ho skte
Marathas are indigenous Farmers (Warriors)....
हिमालय क्षेत्र में khasas(खस) जाति का अस्तित्व हजारों साल पहले से से जब हुन और अन्य जाति का भी यहां नहीं आई थी और khashiya यहां चीड़ाने के लिए नहीं बोला जाता हम शान से अपने को खस या कशिया बोलते हैं। खस मतलब ठक्कुर् और ठक्कुर् शब्द का सबसे पहला यूज खस कत्यूरी राजवंश के inscription में देखने को मिलता है। जम्मू हिमाचल उत्तराखंड नेपाल के 90 precent क्षत्रिय ब्राह्मण खस clan me हैं और कश्मीर के 70 to 90 percent मुसलमान खस clan ke हैं। जो कश्मीरी पंडित वहा से भगाए गए थे वह भी खस clan ke the
और यहां का कोई भी राजपूत अपने को जाट गुर्जर नहीं लिखता भाई क्यों मैदानी वाली बकैती हमारे लिए पेल रहा है
My favorite lallntop show... Taarikh😊
आर्य का आक्रमण पर एक व्हिडिओ बनाव सर
आर्य यही के थे.... यहाँ से फिर अनेक दिशाओं में गए थे 😊
Nikhil, as always great research and presentation. LT is the best.
I would like to suggest following for your channel.
Have a question and answer session through comment section.
I have several questions about this episode
1) if Mahabharata talks about Hoons, how then Mahabharata is 10 to 12 thousand years old as claimed by some scholars?
2) why Hoons adopted Hindu/ Indian sounding names?
3) if they were coming from Central Asia, how the story of elephants falling near Peer Panjal makes sense.
I know this will be additional effort for your channel but definitely will be worth.
Please share your thoughts.
Cheers.
1) Original mahabharat was narrated by Ved Vyas and written by Ganesh ji. And that record is nowhere. So all many times Ramayan & Mahabharat went certain changes when translated or re-written.
2) Huns, Sakas, Yeuchis or Bactrians all were tribals from Central Asian region so they converted to Hinduism to assimilate themselves into India. Even Islamic invaders like Turks and Mongols(Genghis khan, Timur and Babur) were from these regions.
3) India being very rich in past was the dream country for many people all over world so they tried to migrate and assimilate into India either by simple migration or by hard way.
हूण गुर्जर थे आज भी हूण गोत्र गुर्जरो मे ही है
सही कहा
गजब गुरू ❤❤❤❤❤
वो सब तो ठीक है लेकिन महाभारत में हूण कहा से आ गये???
Jaise Adam bharat aaya tha
Google kar lee SBB pata chal jayega
Very important information with impressive presentation
Skand Gupta Bharat ki raksha karta❤❤
Rajputs are Huns and Jaats are Sithians
Gujjar hai hun
No huns aur kushan gurjar aur sythians me 2 rahput vans chouhan aur pratihar
Huns are gurjar
राजपुत जाति का उस समय तक कोई अस्तित्व ही नही था
@@IndianFirst0001gurjar are different and they arent mongoloid race and rajput arent hun too.but some hun join rajput tribe.rajput tibw has 14-15% mongoloid haploroup.
हूणों का जीकर उत्तराखण्ड में भी होता जो तिब्बत की तरफ़ से भोटदेश से आते थे मेरे गाँव में एक आज भी टूटा हुवा मंदिर है और कहते ही की उसे हूणों ने थोड़ा था। उत्तराखण्ड के कल्चलर में कुछ गीत भी ही बचपन से में हम ये कुमाऊनी गीत गाते थे।
“हुनियै की छोटी छोकरी हिटन मै थिरका मचाछ”
शायद हूण हमारे साथ घुल मिल गये और उस समय हिमालय के पार से आने वाले को आक्रमणक्रीयों को ‘हूण’ कहा जाता हो
Nikhil bhaiya story ka pdf bhi dalva dete to aur achha ho jata
Ha ye to h ...notes bn jaye history k
They came to rule. But they stayed after absorbing local culture. Maybe the local culture also absorbed from them. This is the story of India.
निकट भविष्य में लाशें मिलेंगी यह सोच कर फौज के आगे आगे गिद्ध नहीं उड़ते.
Vo writing expression hote hai writers k ....
Calcutta= sr.citizen= It is learnt from book of one India famous writer( bengali) that Mongolian people, some 1000 yrs. Ago , came to India & settled in Rajasthan area.They are the Rajputs converted in Hinduism.Would you please look into this & pl. Make your comments thanks.
रिपोर्टर साहब।।सभी अखंड भारत कहते थकते नहीं।।परंतु।।अखंड भारत क्या था कितना क्षेत्रफल था कोन कोन से देश इसका हिस्सा थे।।पहले ये समझना जरूरी है।
मिहिर नाम शुद्ध भारतीय नाम है।
तो ये विदेशी कैसे हुए।।
मिहिर जा अर्थ शायद आपको पता होगा।।सूर्य ।।
कुषाण शक और हम महान गुर्जर जाति के लोग थे।
आज भी हम गुर्जरों में कुषाण कसाना के नाम से तथा हूण नाम की गोत्र मिलती है।।
Ha to ye baat sab jante h bhai
Jai Gujratra 🙏🙏🙏🙏🙏
नाम धारण कर लिया गया
Nahi aap hun hi ho Mao Mao
@@Ravikantlokhande123 chal Bawle..
Bahut badhiya shandaar dhanyawad 🙏 ab pushymitra sunga par bhi ek episode 😅
हुण गुर्जर गौत्र है जो विदेशी नहीं। उनकी उत्पत्ति कैलाश पर्वत पर हुई । और वो उत्तर दिशा में चलें गये। और हुण केवल भगवान शिव को पूजते थे। इसलिए वो हिन्दू विरोधी भी नहीं थे। और उनकी उत्पत्ति भारतवर्ष नाम से पहले ही हों गयी थी। हुण और कुषाण नागर ये गौत्र जिनका पृथ्वी के मध्य भाग पर राज था लेकिन वर्तमान के भारत से बाहर थे।
Mera sasural wale h hun
@@praveengurjar2982 why you people don't look like chinese, while ancient hun look like chinese
Baht achha presentation. Thanks Lallantop
हुणो ने भारतीय संस्कृति को अपनाया लेकिन मुस्लिमों ने अभी तक भारतीय संस्कृति को नहीं अपनाया😢
Aaj hun log Bhartiya banakar rah rahe hai
@@IndianFirst0001 पर अरब के धर्म को फॉलो कर रहे हैं
अरे भाई हूणों ने भारतीय संस्कृति को नहीं अपनाया वे थे ही सनातनी ऐसे ही नहीं उनका प्रमाण महाभारत और रामायण में नहीं मिलता। नहीं तो मेरे भाई भारत में ईसाई आए उन्होंने ने ईसाइयत को फैलाने का प्रयास किया मुस्लिम आए उन्होंने यहीं किया चाहे जो भी आया उन्होंने अपनी संस्कृति को भारत पर थोपने का प्रयास किया। फिर इनके कहे अनुसार हूण इतने क्रूर होने के बाद भी इतने उदार कैसे हो सकते थे कि वे यहां की संस्कृति को अपना लेते। भाई ये भारत का दुर्भाग्य रहा कि भारत के इतिहास को जिसने चाहा उसने अपने अनुसार तोड़ मरोड़ दिया जिसका कारण है प्रमाणों के खोजने की कमी क्योंकि ऐसा नहीं है कि भारत में भारत के प्राचीन इतिहास के प्रमाणों की कमी है बल्कि प्रमाणों को खोजने की कमी रही है। वो तो अंग्रेजो ने थोड़ा प्रयास कर लिया जिस से हड़प्पा और सिंधु सभ्यता की भी खोज हो गई नहीं तो पता नहीं आज तक हो भी पाती या नहीं। हूण भारत में मध्य एशिया से आए उन्होंने भारत पर आक्रमण किया ये सत्य तो है पर अर्धसत्य है क्योंकि ये लोग केवल यही बताते है कि हूण या आर्य मध्य एशिया से आए परन्तु यह नहीं बताते कि ये पहले ही भारत से मध्य एशिया , यूरोप तक गए। जिसका प्रमाण है “विजययात्रा”। आर्य राजा या उनके सम्बन्धी अपने राज्य को बढ़ाने के लिए विजययात्रा किया करते थे तो उसी विजययात्रा में दूर दूर तक जाया करते थे जिनमे से कुछ वही बस जाते तो कुछ वापिस आ जाते। परंतु जब तक भारत में इतिहास सुना या सुनाया तो जाता था परन्तु इतना लिखा नहीं जाता था। उस समय के इतिहास के तौर पर रामायण और महाभारत ही प्रमुखग्रंथ है। भारत में तो इतिहास लिखना ही शुरू बौद्ध और जैन काल के दौरान अधिक हुआ है। इसलिए भी प्राचीन इतिहास के प्रमाणों की कमी है। मध्य एशिया या यूरोप में रुके ये आर्य जब वापिस भारत लौटे तो यहां बौद्ध या जैन अनुयायी राजा अधिक थे इसलिए भी उन्होंने इन्हे क्रूर और बाहरी लिखा। जबकि सत्य यह है हर योद्धा अपने दुश्मन के लिए क्रूर ही होता है और आर्य या हूण या शक या कुषाण आदि पूर्णतः भारतीय थे और है तथा पूर्णतः सनातनी थे और है। आज भी ये गोत्र क्षत्रियों में मिलते है। तुच्छ सोच और तुच्छ राजनीति के चलते इतिहास को सही पता होने के बाद भी कुछ लोग ना सही इतिहास लिखते ना सही इतिहास बताते तथा कुछ सही इतिहास बताकर किसी विवाद में नहीं पड़ना चाहते। अब क्या करे इतिहास के मामले में भारत का दुर्भाग्य है यह।
@@navyanshsinghbundela hindu sindu word se nikal word hai 😂
Aur Sanskrit kon se
Bhraman foreigner videshi hai
Sanskrit Persian language ka vergin hai 😂
Too aapka kon saa Sanskriti hai gobar phankna , 90 rape case registered per day.😂
मान्यवर, तोड़माण का अभिलेख विदिशा जिले में नहीं बल्कि सागर जिले के ऐरण में है। जो वराह प्रतिमा पर अंकित है। मैंने स्वयं वह देखा है।
Hun is also gotra in Jats, Gurjar, Kalal(only in Punjab) Rajputs
राजपूतों में नहीं केवल गुज्जर समुदाय में हूण गौत्र, या हूण वंश पाया जाता है। गुज्जरों में आज भी हूण सरनेम है।
@@Praveshkumam9q hun ki wajah se buddhism ka nuksan hua
Rajput pyor kshatriy hai, jin huno ko maharaj vikramaditya ne bhagaya tha, unke vanshaj hai ham
Huns hungry k log hain jin ki baat ap krte ho Vo Indo Aryans hain ganga jamna k log Aryans b central Asia and Iran k route Se ay thay ye Swedish nasl k sansikrat bolne wale log the jo greeks Se b pehle ay the Ashoka b patliputra ka Indo Aryan tha
Huns are not related to Rajputs, keep them to yourself.
धन्यवाद, शानदार जानकारी के लिए।
Exelent story
Show ka name "itihaas" bhi rakh sakte the per aapko Urdu me alag hi maja aata "tareekh" likh diye
Pls make a video on JAT history and origin with artefacts and verified sources.
Yashodharma ke baare mai maine 3rd class mai padha tha, Sarswati Shishu Mandir ki ek Book mai ek chapter tha Hunjeta Yashodharma
Same ...vhi mere mn m aaya ❤. Shishu mandir ne hmesa purane itihas ko importance di hai
@@HarshvardhanGaur-ty2quyashodharman virk jat
@@HarshvardhanGaur-ty2qu tab rajput shabd hi nhi tha , ye toh jat harshwardhan ke mrne ke bad aya he
@@vinaymalik3945 सही कहा वो जाट राजा थे क्युकि उन्होंने अपनी किताब हर्ष चरित्र में लिखा है कि उत्तर में हुण और पश्चिम में गुर्जर मेरे पिताजी के होते कभी चैन की नींद नहीं सो सके
यानी के इनकी गुर्जर से दुश्मनी थी और 12th ईस्वी में जाट गुर्जर यादव मीना से मिल के राजपूत बने
@@HarshvardhanGaur-ty2qu aulikar dynasty थी aulakh jat, एमपी का मालवा malhi jat clan के नाम पर pda, ये rastya kuta की जीत ke baad वापिस पंजाब , rajasthan lote.
Do make a video about Saka-Satavahana Wars
साबित होता है की संस्कृत विदेशी भाषा है।
Kaise??😂😂
Hun lekar aaye??
It's Beauty 😍😍 of nikhil Bhai
Tarikh is my favourite show ,😍🥰
गुजरात में रबारी जाती मैं भी हूण नाम का एक गोत्र है।
And they do destroy agriculture as Huns did! No police can touch them! Sure they were descendants of Huns or Aryans destroying peaceful harrapa agriculture society! India never excelled in agriculture since then!
गुर्जर समाज में हुण गोत्र है
रबारी समुदाय गुर्जर समाज का ही एक बड़ा खम्भा है। दोनों एक ही मूल के है।
रेबारी गुर्जर ही h
Rebari Caste bhi Gurjar Caste ka ek part h
हूण गोत्र गुर्जरों का एक गोत्र है जो की सिर्फ गुर्जरों में पाया जाता ज्यादा जानकारी के लिए उत्तराखंड के हरिद्वार जिले में दो गांव है उन दोनो गांव में आज भी हूण गुर्जर मिल जायेगे और हूण गोत्र मुस्लिम गुर्जर में भी है दोनो गांव हरिद्वार जिले में है झबरेरा विधानसभा का लाठरदेवा हूण गांव और लक्सर विधानसभा का गांव कुंआखेडा
all indians have central asian dna as some percentage
It’s proof for those who thinks Ramayana and Mahabharata as ‘KAHANI’