ओह😊😊 क्या खूब लिखा है, परम् सम्माननीय सकील साहब ने निहायत ऐसा लगा जैसे वो इस तरह की ज़िंदगी खुद जिये हो,,ऐसा वाकया उन के साथ गुज़रा हो,रामायण उनके ज़हन में समा गई हो ।जै हिन्द।
* अहिल्या गीत * अहो राम! आओ अब मुझ को पुनः शिला में रूपित कर दो। यह चिर यौवन पुनः मिला तो हुआ मुझे अभिशाप सरीखा। देखा फिर जब रूप मनुज का निशिदिन कलुष भाव ही दीखा। मुझे नहीं सहना है अब के इस जग के वीभत्स रूप को! मना रही अपनी नश्वरता मना रही तुम विश्व-भूप को। इसीलिए तुम आकर, छूकर देह मेरी अपकर्षित कर दो। जिसने अपना रूप बदलकर छीना मुझसे वैभव सारा। उसको देव बनाकर सब ने उल्टा मुझ पर ताना मारा। और जिसे सर्वस्व समझकर वार दिया था अपना तन-मन, उसी ऋषि ने मुझे त्यागकर शापित कर के भेज दिया वन। नहीं चाहिए हर्ष मुझे अब दुख मेरे आवर्धित कर दो। सुभाष जाटव, भोपाल
आजमी भाई अति सुन्दरजी राधे राधे जी बहुत ही उमदा शुकरिया रामायण एक त्याग वैराग्य की कहानी हर एककिरदार ने त्यागकियाहै एक दूसरे पर प्रेम कर माया का त्याग है त्या बैराग्या पर एक शयर बनाना जी जैसै कबीरजी ने दोहो मे कितना ज्ञान पिराया है
यही हिंदुस्तान है साहब, रामायण से अलग नजरिया !! 👏👏 आसमानी किताब में तो . (नुखता) नहीं अलग रख सकते। सत्य सनातन धर्म की जय,जो सही मायने में सबको बराबर आजादी देता है।
बहुत ही मार्मिक चित्रण सच में कितनी वेदना है आपकी वाणी में कितना चिंतन मनन किया होगा आपने जब ऐसे शब्द निकले होंगे आपकी वाणी से। शकील सहाब आपको हार्दिक शुभकामनाएं बहुत बहुत धन्यवाद मेरे राम मेरे प्रभु श्री राम जी सदैव आपको स्वस्थ और सुखी रखें
बहुत शानदार प्रस्तुति दी है माता उर्मिला वा माता अहिल्या के बारे में आपने,बस थोड़े से शब्दों में एक छोटी-सी कमी रही है अगर माता शब्द और राम शब्द में श्री राम शब्द का इस्तेमाल करते, फिर भी मैं आपको नमन करता हूं, जिस तरह आपने सुंदर चित्रण किया है 🙏🙏
What an excellent feeling..... A Mushalman expressing his heart felt ♥ feeling on Remayan ....... This is the real India.. Large Round of Applaud 👏...... To this poet/shayyaar.
हिंदी साहित्य मे मैथिलिशरण ऐसे कवि हुए है जिन्होंने साहित्य मे भूले हुए पात्रों जैसे यशोधरा तथा उर्मिला को महत्वपूर्ण स्थान अपने साहित्य मे दिया है l उन्होंने यशोधरा तथा उर्मिला की मनः स्थिति का चित्रण अपने साहित्य मे बहुत अच्छे ढंग से किया है l
भाई शकील साहब को ओर उनकी गजल को प्रणाम,बारम्बार प्रणाम।।
बहुत बहुत खूब भाई, हर चाहत आपकी पूर्ण हो,मंगलमय शुभकामनाऐ ❤❤
यही है गंगा युमना की तहजीब जो भारत को एक अनोखी पहचान दिलाता है।। जय हिंद
उर्मिला राम के बनवास का हिस्सा भी नहीं........
अति महत्व पूर्ण विश्लेषण के लिये बहुत-बहुत धन्यवाद.
ओह😊😊 क्या खूब लिखा है, परम् सम्माननीय सकील साहब ने निहायत ऐसा लगा जैसे वो इस तरह की ज़िंदगी खुद जिये हो,,ऐसा वाकया उन के साथ गुज़रा हो,रामायण उनके ज़हन में समा गई हो ।जै हिन्द।
उर्मिला पर इससे बेहतरीन रचना पहिले कभी नही सुनी।शकील भाई आपने कमाल कर दिया।आपने विरह के दर्द को जीवंत कर दिया।
आदरणीय श्री शकील साब को हृदय से अभिनंदन । बहुत सुंदर कल्पना अहिल्या और उर्मिला की । आपके पास माँ सरस्वती का भरपूर आशीर्वाद है ।
शानदार प्रस्तुति बहुत बहुत बधाई।
जय सियाराम जी की बहुत ही सुंदर भाई जी
* अहिल्या गीत *
अहो राम! आओ अब मुझ को
पुनः शिला में रूपित कर दो।
यह चिर यौवन पुनः मिला तो
हुआ मुझे अभिशाप सरीखा।
देखा फिर जब रूप मनुज का
निशिदिन कलुष भाव ही दीखा।
मुझे नहीं सहना है अब के
इस जग के वीभत्स रूप को!
मना रही अपनी नश्वरता
मना रही तुम विश्व-भूप को।
इसीलिए तुम आकर, छूकर
देह मेरी अपकर्षित कर दो।
जिसने अपना रूप बदलकर
छीना मुझसे वैभव सारा।
उसको देव बनाकर सब ने
उल्टा मुझ पर ताना मारा।
और जिसे सर्वस्व समझकर
वार दिया था अपना तन-मन,
उसी ऋषि ने मुझे त्यागकर
शापित कर के भेज दिया वन।
नहीं चाहिए हर्ष मुझे अब
दुख मेरे आवर्धित कर दो।
सुभाष जाटव, भोपाल
वाह शकील भाई आपके नज़्म दिल की गहराइयों को छू गई सादर नमन आदाब
शकील भाई इन दोनों देविओं का चरित्र चित्रण करके हृदय भेद दिया.
बहुत सुन्दर...
आजमी भाई अति सुन्दरजी राधे राधे जी बहुत ही उमदा शुकरिया रामायण एक त्याग वैराग्य की कहानी हर एककिरदार ने त्यागकियाहै एक दूसरे पर प्रेम कर माया का त्याग है त्या बैराग्या पर एक शयर बनाना जी जैसै कबीरजी ने दोहो मे कितना ज्ञान पिराया है
लाजबाव बहुत बहुत बधाई आभार धन्यवाद जय हिन्द।
Bhai shakil tumne to hamara dimag hi, hila diya. Ye mere jism Tu aisey hi jiye. Dukh tujhse door rahe.
त्याग तपस्या और बलिदान ये है भारत कि पहचान ।
बहुत खूबसूरत अंदाज़. ए बयां😊
रोम रोम जाग गया... क्या उर्मिला चिरित्र चित्रण किया है...नमन हो
❤भाई जी शकील साहव आप और आपकी कवि पांक्तियों को कोटि २ नमन।
Shakeel Azmi sahab to pahle se hi bahut ache Shayari hein
Shakil bhai apne urmila ka chitran bahut achha thank you
आज़मी साहब ज़िंदाबाद ज़िंदाबाद ज़िंदाबाद
❤ सादर नमन वंदन ❤
शकील आज़मी जी सच्चे इंसान है, धर्म को समान मानते है, अलग धर्म के होने के बावज़ूद भी राम के प्रति स्नेह ❤❤❤
अहिल्या एवं उर्मिला की गजलों को सुनकर आँखे नम हो उठीं ।
संवेदना क्षितिज असीम ।
बहुत बहुत बधाई🎉
शकील साहब भारत प्रेमी है तभी तो भारतीय संस्कृति पर नज्म लिखकर और इस तरह सुनाकर इतने भाव से प्रस्तुति दी है।
सकील साहब आदाब!आपजैसे कम ही शायर या कवियों के श्रोता हम बन पाए हैं जिन्होंने उर्मिला कोइस अंदाज में संजोया है।
Bahoot Khoob! Explained the essence of Ramayan...
मेरा सौभाग्य,,,अच्छी नज़्म के लिए आजमी साहब को मुबारक,,,
सबसे अधिक प्यार आशीर्वाद देने वाली माँ थीं कैकेयी,
Shandar aur real touch🙏
काबिल ए तारीफ, शुक्रिया शकील भाई को।
बिलकुल सही, उर्मिला के व्यथित तन-मन का दिल छूने वाली शायरी,वाह!, बहुत खूब, बहुत बढ़िया, महोदय।
Wah. Wah. Wah kya baat h ❤🙏🙏🙏 shakeel sahab ❤🙏🙏🙏
इन भाई के पेम का दिल से नमन अगर हर भाई ऐसे हो जाये तो एक बार फिरसे कलियुग में राम राज आ जाये।जयश्री राम
आदरणीय कवि-हृदय शक़ील साहब को अशेष नमन 🙏
Shakeel bhai apko bahut bahut pranam 🙏🏻🙏🏻🙏🏻
वाह आपकी कविता बहुत sundar 🙏 कौन कहता है दूसरा मजहब दूसरे धर्म के बारे मे नहीं जानते रामायण के अंदर कुछ पल छन का इतना sundar वरण 🙏🙏🥰🙏🙏🙏
यही हिंदुस्तान है साहब,
रामायण से अलग नजरिया !! 👏👏
आसमानी किताब में तो . (नुखता) नहीं अलग रख सकते।
सत्य सनातन धर्म की जय,जो सही मायने में सबको बराबर आजादी देता है।
Shakeel Bhaiyya, I express my appreciation about your marvellous poetry.
Jai Sri Ram:
कविवर शकील जी को सादर अभिवादन
वाह बहुत खुब, रामायण का दार्शनिक और मार्मिक चित्रण कविवर ने बहुत ही खूबसूरती से पेश किया। उनको साधुवाद 🌹🌹
Sakeel bhaiya aap ko pranam , bahut achha aapne kaha Aahilya aur Urmila ji par, Bar bar aapko naman hai Vandan hai.
वाह सकील भाई बहुत खूब राम ओर रामायण को क्या जिया है आपने बहुत खूब बहुत अच्छा
वाह शकील भाई , हृदय से अभिनन्दन , उर्मिला की मनःस्थिति का क्या खूब वर्णन किया है और माता अहिल्या का भी,आपने इसे एकदम अलग नज़रिए से पेश किया ,भई वाह।
वाह सकील भाई रोला दिया आज तो आप ने
शुक्रिया शकील जी... उर्मिला के चरित्र की सुन्दर एवं भावपूर्ण व्याख्या 🌹🙏🌹
प्रभु श्री राम जी की कृपा ही बरसीं थी आप पर आज़मी साहब मोतीयों सा पिरोया शब्दों को सुंदर कहा ,
प्रभु श्री राम जी की कृपा आप पर सदा बनी रहे
बहुत सुन्दर कहा आदरणीय
बहुत ही मार्मिक चित्रण
सच में कितनी वेदना है आपकी वाणी में
कितना चिंतन मनन किया होगा आपने जब ऐसे शब्द निकले होंगे आपकी वाणी से।
शकील सहाब आपको हार्दिक शुभकामनाएं बहुत बहुत धन्यवाद
मेरे राम मेरे प्रभु श्री राम जी सदैव आपको स्वस्थ और सुखी रखें
Shakil Sahab you are great poet many many thanks to you
वाव सर आप ने क्या सुनाया मन भाव विभोर हो गया
शकील साहब, जो दर्द आपने उड़ेला है, उर्मिला का दर्द इस तरह किसी ने शायद सोचा भी नहीं होगा।
अदभुत है आपकी काव्य प्रतिभा शकील भाई ❤🎉
वाह शकील भाई आपका जवाब नहीं, आपको दिल ❤ की गहराईयों से कोटि कोटि प्रणाम अभिनंदन वंदन जय सियाराम जी
Very nice interpretation about urmila.. Great ❤
वाह भाई शकील आजमी, आपने बेहतरीन शायरी को तराशा है। राम-कथा का सर्वथा एक नये आयाम से विश्लेषण हेतु आपको साधुवाद 🪷🙏🎉🙏🪷
बहुत शानदार प्रस्तुति दी है माता उर्मिला वा माता अहिल्या के बारे में आपने,बस थोड़े से शब्दों में एक छोटी-सी कमी रही है अगर माता शब्द और राम शब्द में श्री राम शब्द का इस्तेमाल करते, फिर भी मैं आपको नमन करता हूं, जिस तरह आपने सुंदर चित्रण किया है 🙏🙏
शकील भाई वाह-वाह क्या बात है। मेरे पास कोई शब्द नहीं है कैसे तारीफ करूँ। 💐💐🙏💐💐
अद्भुत चित्रण उर्मिला को जन जन तक पहुँचा दिया
साधुवाद🎉🎉
Urmila par jnab shkeel miyan ne bhut hseen nazam khee ha mubarakbad
Kya Khoob. Ashk to dekhe sabhi ne, aank se chalakate hue. Aapne to samandar mai, ashko ka pata dhoond liya... Wah...
शकील आज़मी ❤ इससे आगे कुछ कह भी नहीं सकता।
क्या बात है साहब आपके लेख को प्रणाम
गजब है कवि का दिमाग जो बात कवि जी ने बतायी वो किसी कथा वाचक ने नही कही जय हो
उम्मीदों से कई गुना बेहतर ... बेहतर से भी बेहतरीन प्रस्तुति ॥❤ ॥
वाह आदरणीय जनाब
सलाम सलाम सलाम
हम तो आपके मुरीद हो गये
शकील जी आप के बनबास रामायण लिखने के लिए आप को धन्यवाद ।
What an excellent feeling.....
A Mushalman expressing his heart felt ♥ feeling on Remayan .......
This is the real India..
Large Round of Applaud 👏......
To this poet/shayyaar.
शकील भाई आपने तो दोनों महिलाओं के चरित्र चित्रण से हृदय को भेद दिया, आपको सलाम
Wah Shakeel ji it's pleasure to listen you thanks 🙏👍
कविवर शकील आज़मी को बहुत बहुत धन्यवाद
Bhai Shakil sahab ko sat sat naman bahut sundar gazal dharmic true
Rula dia azmi sahab apne 😢😢😢 bahut sandar nazm aapka fan ho gaya sahab zindabad zindabad zindabad
बहुत सुंदर प्रस्तुति
My eyes became teary today when I listened about Urmila .Really I was never thought in this way. Thank sir.
Aap ne tau aankhon mein aansoo la diye
Rongate khare ho gaye aap ki kavita sun kar
माताओं के लिए आपके मन में इतना दर्द झलक रहा है वाकई में बहुत लाजवाब है शकील भाई 🙏🙏🙏🙏
❤❤❤❤❤ Shakil g ko bahut bahut shubhkamnaen ❤❤❤❤❤
हिंदी साहित्य मे मैथिलिशरण ऐसे कवि हुए है जिन्होंने साहित्य मे भूले हुए पात्रों जैसे यशोधरा तथा उर्मिला को महत्वपूर्ण स्थान अपने साहित्य मे दिया है l उन्होंने यशोधरा तथा उर्मिला की मनः स्थिति का चित्रण अपने साहित्य मे बहुत अच्छे ढंग से किया है l
उर्मिला का चित्रण शानदार ढंग से किया गया है धन्यवाद आपका शकील भाई
Awesome performance nice thinking.❤❤❤
अहिल्या और उर्मिला के पात्र को जिस तरह से आजमी जी ने पढ़ा बहुत ही सराहनीय है🌹
Legend है आपके अन्दाज़ ए ब्या
Shakil भाई
Bhai Shakil sahab bahut sundar nazm apko sat sat pranam
❤ Jay shree Ram ❤ 🙏🙏🙏 Ram ji sab ka pujya Han❤️
बेहतरीन
Woh woh wonderful video Great poet appreciate you 👍 sir shakeel Azmi ji,
बहुत सुंदर पंक्तियाँ
बेहतरीन शायरी। उम्दा।तारिफ के लिए शब्द नहीं। आभार।
इस तरह सभी भारतीय एक हो जाओगे तो हमारा देश दुनिया में सबसे ताकतवर होगा हम सभी सम्रद्ध होगें खुशहाल
बहुत ही सुन्दर शकील आजमी साहब जी क्या बात बहुत ही खूब शकील भाई जी 👌👌
वाह वाह बहुत ही उम्दा नज्म।
आप देश की गंगा जमुनी सभ्यता की एक शानदार मिसाल हैं।आप जैसे उदात्त विचारो वालो पर हमे नाज़ है।
शकील भाई,बहुत बहुत बधाई व धन्यवाद। सादर नमन ।
शकील साहब आपकी कलम और शायरी दिल को छू गयी आपका हार्दिक स्वागत हार्दिक अभिनन्दन
कालजयी झकझोर देने वाली रचना। आभार।
Hats off to shakeel sa'ab.
Kya likha hai, kya padha hai...
Bahut khoob sa'ab...
अनेक अनेक अभिनंदन shakil साहब,,,,,,,
मालिक आपको खूब खूब तरक्की दे
शकील भाई को मुबारकबाद। चीजों को देखने का नया अंदाज।
Salute hai aap ki soch ko