सुप्रीम कोर्ट हाईकोर्ट के जजों की नियुक्ति के लिए चर्चा हो रही है बहुत ही अच्छी चर्चा है मेरी राय के अनुसार इन नियुक्ति के लिए एक लोक सेवा संघ के बनाया जाए और परीक्षाओं के आधार पर जजों की नियुक्ति हो
सुप्रीम कोर्ट में सभी वर्गों की भागीदारी होनी ही चाहिए. हमारे सभी माननीय और सम्मानित SC, ST, OBC वर्ग से हाइकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में जजों को होना ही चाहिए. यह न्याय आवश्यक है. कालेजियम सिस्टम हटे यह जनता की मांग है. वकील साहब लोग ही इसे हटवा सकते हैं. जय हिंद.
माननीय दिलीप मंडल सर तथा माननीय नितिन मेश्राम जी द्वारा बहुत बढ़िया न चर्चा हुई जिससे आमजन को अच्छी जानकारी मिली। दोनों महानुभावों को बहुत बहुत साधुवाद व धम्मवाद।🙏
कोलेजियम सिस्टीम में एकी जात धर्म के लोग होते है जो लोगो को बहोत देय से आर्डर देने का प्रावधान करने का छिपा नियम होता है क्या? जितके वजह से करोडो केस कही सालोसे प्रलंबित है?
बहुत ही स्पष्ट विश्लेषण कोलोजियम बना कर संविधान की मूल भावना को भी ध्वस्त किया गया और न्याय मै पारदर्शिता मैं कमी आई है और न्याय का बहुत ही अवमूल्यन भी हुआ है
सुप्रीम कोर्ट के जजों की नियुक्ति संघ लोकसेवा आयोग द्वारा अखिल भारतीय स्तर पर परिक्षा आयोजित करके की जानी चाहिए वर्तमान कोलोजियम खत्म करो ये न्याय व्यवस्था के नाम पर धब्बा है जय भारत
क्या आप जानतें हैं- EC,ED, CBI, CVC, CAG, CBDT,मानवाधिकार आयोग, SC,ST आयोग आदि संवैधानिक संस्थान के हेड के पद पर नियुक्ति कौन करता है और वे सब किसके लिए काम कर रहें हैं?वे स्वतंत्र रूप से काम कर रहें हैं?चुनाव आयोग का काम हम देख रहें हैं भीमाकोरेगांव का फ़र्जी केस भी।
Baroda k kshatriya Raja Gaikvad saab ne Ambedkar ko videsh padhne k liye bheja bahut achhe dil se aur Ambedkar k Brahman guru ne unhe deeksha dee tatha Ambedkar ki upadhi pradan Kari Ambedkar koi jaati nhi balki upadhi h, Raj Ratan bhi apne naam k baad Ambedkar lagata h jo galat h but ham sab milkar Ambedkar ji ka samman karte h. Samvidhan likhne wale sir Ambedkar hi nhi the aur bhi log the.
@@user-sanatani19 किन किन माननीय सदस्यों ने संविधान बनाने मे मेहनत कि और संविधान ड्राप्टींग कमिटी मे कौन कौन सदस्य थे ? यहं सब यदी आप विस्तार से बता देते अधिक उचित होता.....!
भारतीय संविधान सर्वश्रेष्ठ देश को बहुत आगे ले जाने वाला है,पर विडंबना यह है कि देश को संविधान और कानून के अनुसार 50%भी नही चलाया जा रहा,और 90%जनता को संवैधानिक अधिकार नहीं दिए जा रहे,यही कारण है कि देश की तरक्की नहीं हो पा रही है। वास्तव में डा.अम्बेडकर जी बहुत ही योग्य,महान ज्ञानी थे।
'हम भारत के लोग ' ही शासन में प्रजातंत्र प्रणाली भारत के लिए स्थापित किये हैं। तो प्रश्न कहां उठता है कि कोई और कोई और कानून बना दे। संविधान सभा में जो विचार किया गया उससे हम दूर कैसे जा सकते हैं।
Anmbedkarji ka apman shamajte ho to phir bharatdesh ke shabhy jatiyo ke liye anmbedkarji ne shanmvidhan me jo likha haey vo shabhy bharatdesh ke shabhy jatiyo ka uttkarsh, aur age badhkar bharatdesh, vishva me shabshe age, hy rhe aesha a hy shanmvidhanme likha haey, ishiliye Shara bharatdesh ka apman haey, ishiliye shirph anmbedkarvadiyo, hy nahy Shara bharatdesh ke shabhy jatiyo ko apaman ka badla lena hy chahiye, ye bharatdesh, haey, kauravo, aur pandvo, ya vidur, hashtynapur, rajya ke thhe, aur hashtynapur, rajya ke liye kauravo, aur pandvo, ke bhychme jo udhhkela gaya vo udhhka nam Mahabharat, kaha gaya haey, ishiliye ye bharatdesh haey, aur bharatdesh, aur hashtynapur rajya, thha,, ishiliye bharatdesh ko hashtynapurrajya, na shamjo, bharatdesh me rhnevale shabhy jaty ke log Bhartiya, yany indiyan, hy haey, anmbedkarji ne jatiyo, ka nahy shocha, share bharatdesh ko najar me rkhakar, aur bharatdesh ka hy ujjval bhavishya ka hy shanmvidhanme ullekh kiya haey, ishiliye shabhy bharatdesh me rhnevale shabhy jatiyo, ko bharatdesh ko age badhhane ka hy shochana chahiye, Jay shanmvidhan.
सरकार की कमजोरी को सुप्रीम कोर्ट ने फायदा उठा लिया है. 1993 में जो भी सांसद थे सबका पेंशन बंद कर देना चाहिए. उन लोगों ने सुप्रीम कोर्ट की दादागिरी का विरोध नहीं किया.
कोलोजियम सिस्टम को बारे में देश की जनता को जानकारी देना चाहिए क्योंकि जनता ही इसको बदलने की हकदार हैं अब सिस्टम बदलने की जरूरत लगती है सरकार तो जनता की ही मर्जी से बनेगी भाई धन्यवाद
@@KRN000 तुमको क्या लगता है की ये गवर्मेंट को दबा रखते है 😂 ये गवर्मेंट के साथ मिल के जनता को बेवकूफ बनाते है क्योंकि सरकार की जवाबदेही कोर्ट के बारे में हैं ही नही
Very nice Super डिबेट..! देश की सरकार को ,न्यायिक व्यवस्था से कॉलेजियम सिस्टम को ख़त्म कर, संसद मे केंद्रित कर, न्यायिक व्यवस्था की मनमानी को रोकना चाहिए...! और, देश के मूल निवासियों,OBC, sc, st को भी, न्यायिक व्यवस्था में,आनुपातिक प्रतिनिधित्व/हिस्सेदारी/भागीदारी किसी भी हालत में मिलनी चाहिए..?
सभी वर्गों का प्रतिनिधित्व जजों की नियुक्ति में होना चाहिए। अनु . 312 में आयोग गठित कर जजों की नियुक्ति की जाय और HC SC में भी इन्हीं जजों में से प्रोमोशन हो
संविधान निर्माता डॉ बाबासाहेब अंबेडकर जी ने यूं ही कोलेजियम सिस्टम को संविधान से बाहर नहीं रखा था। सुप्रीम कोर्ट से भाई भतीजावाद तुरन्त खत्म होना चाहिए। करोड़ों केस आज न्याय पालिका में पेंडिंग हैं पहले उन्हें निपटाना चाहिए न कि इधर उधर की बातों में समय बर्बाद करने मे।
कोर्ट महाराजाधिराज बनना चाहती है कोर्ट के जज चाहते हैं कि हमारे ऊपर कोई दूसरा ना रहे लेकिन ऐसा इंडिया में नहीं होगा बाबा साहब के सपनों का खिलवाड़ नहीं होने जो बाबा साहब ने लिख दिया वही कानून लागू होगा
The collegium system should be abolished and the judges should be appointed by the provision of the constitution of India. Jay Bhim, Jay Sambidhan and Jay Bharat.
दलीप मंडल जी आपको ओर आपकी पत्रकारिता को जय भीम,सलाम,नमस्कार,सत श्री अकाल के साथ साथ आपको सत सत नमन। कोलीजियम् सिस्टम से जजेस की नियुक्ति बंद की जाए।यह तो बिना आरक्षण के आरक्षण है। जजेस की नियुक्ति भी IAS की तरह की जाए।
जजों की नियुक्ति आईएएस व आईपीएस की तरह संघ लोक सेवा आयोग के द्वारा entrance टेस्ट के द्वारा होनी चाहिए, इसके लिए भारतीय न्याय सेवा ( IJS) परीक्षा होनी चाहिए जिसमें समाज के सभी वर्गों का representation संविधान के अनुसार होना चाहिए ताकि समाज के सभी वर्गों को समान अवसर के साथ समान न्याय मिल सके.
किम जोंग सिस्टम ने मा. डॉ भीमराव अम्बेडकर जी की आत्मा को दुःख पहुंचाया गया है। सुप्रीम कोर्ट के ऊपर मा. बाबा साहब के इच्छा के विरुद्ध कोलेजियम सिस्टम लागू करने मुकदमा चलाया जाना चाहिए।
जी हां, consultation को advice या direction / order नहीं माना जा सकता है, यदि ऐसा मानना होता तो शब्द in consultation of / with CJI की बजाय on the advice of CJI का प्रयोग हुआ होता, अतः जजों की नियुक्ति की वास्तविक विधि collegium की बजाय NJAC होना अधिक उपयुक्त हो सकता है।
अति उत्तम समीक्षा, व विशेषज्ञ द्वारा चिंतन🙏🏽 विशेषकर, भारत के लोकतंत्र के हित में, सम् विधानसभा के गहन चिंतन को याद करते, डॉ बाबा साहिब अंबेडकर जी की गूढ़ अध्यक्षता के अंतर्गत, सर्वमान्य निर्णय, "collegium system, निजी व्यक्तिगत प्रभाव कारणवश, अति घातक सिद्ध होगा", 1993 में लागू होते ही जो हुआ भी! भारत के लोकतंत्र के लिए बाधक व घातक ! = क्योंकि न्याय पाने के लिए, cases के वर्षों की pendency, करोड़ों में पड़ी हुई है, इन 30 वर्षों में! बिना बेल के जेल में पड़े हैं, लाखों² सामान्य जन! साधारण जन का विश्वास उठ गया है, न्यायालयों से, भारत में । अब स्वयं, भारत के राष्ट्रपति के आग्रह पर, इस न्यायिक व्यवस्था की दीर्घकालिक व्याधि, पर गहन संविधानिक-विचार, व बदलाव की नितान्त आवश्यकता है। @ राष्ट्र सर्वोपरि ही 🙏🏽 🙏🏽🚩🇮🇳 वन्दे मातरम् PS: राष्ट्र हित में, ऐसे अति आवश्यक विषय पर expert चिंतन का, transcription अवश्य ही देने की कृपा करें।
शुक्रिया नितिन सर और दिलीप सर बहोत ही अच्छे तरीक़े से चर्चा हुयी एसे ही मुद्दे पे प्रकाश डालते रहिए जिससे जनता भी जागृत हो सके। इसे ही बुद्धीजीवीयो की debat कहा जाता हे वरना कहा आज का tv media😅
डा बाबासाहेब आम्बेडकर जीं दुणीया के एक नंबर के बुध्दीमान ऐसे ही नहीं बणे हैं । कांग्रेस भारत की एक नंबर की पार्टी है , जो भारत के बर्बादी के रीमेक जीम्मेदार है। ऐसा मेरा मानना है। काश , कांग्रेस ने वीरों ना करते हूवे दुणीया के एक नंबर के बुध्दीमान डा.बाबासाहाब आंबेडकरजी को देश के पहले प्रधानमंत्री बताते तो आज हम वीश्व के राजा रहैं होते ।
कोलेजियम सिस्टम के कारणों से अभी तक भाई भतीजा वाद चलता रहा है ? लेकिन अब नही चलेगा। क्योकि सुप्रीम कोर्ट अब कोर्ट फिक्सरों के लफड़े में पड़ा है। यह मैं नही भूतपूर्व CJI द्वारा कहा गया है।।
बहुत ही सुंदर चर्चा, सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट में जजों की नियुक्ति में बदलाव हो.
बहुत ही सुंदर चर्चा आप लोगों ने की कोलोजियम सिस्टम खत्म होना चाहिए
Arakshan bhi
सुप्रीम कोर्ट हाईकोर्ट के जजों की नियुक्ति के लिए चर्चा हो रही है बहुत ही अच्छी चर्चा है मेरी राय के अनुसार इन नियुक्ति के लिए एक लोक सेवा संघ के बनाया जाए और परीक्षाओं के आधार पर जजों की नियुक्ति हो
Shabhy jagahpar, karkun, ky naukary karnevalo ko kitny parikshakey deny padty haey, aur unka pagar, kitna haey, shuprim kort, haeykort, ke jaj ko pahle bhy koey pariksha nahy, aur jaj, honeke bad bhy koey pariksha nahy, phir bhy jaj, ka pagar,ya selry, kitna haey, ishika mul karan ye shabhy manuvady haey ishiliye, karkun ky thody bhy galty ho, to ushko jyadashe jyada shaja, aur jaj, nirdosh, ko phanshy deta haey, phirbhy unko koey kushh bhy kehneky himmat nahy karta,aur gunahgaro ko nirdosh shodkar mala pehnate, mithhaey khilate haey, aur bharatdesh ke shabhy log ye dekhate haey, phirbhy kushh hy nahy kar shakte, qyo,
हाईकोर्ट में न्यायिक संघ लोक सेवा आयोग बनाकर जज बनाए जाय और इनको ही सुप्रीम कोर्ट seniority के आधार पर भेजा जाय, सारा तंटा खत्म होना चाहिए।
2015 में जब मोदी NJAC ले आया तब तो कांग्रेस और अखिलेश की माला जप रहे थे . अब ज्ञान बाँट रहे हो
सुप्रीम कोर्ट में सभी वर्गों की भागीदारी होनी ही चाहिए. हमारे सभी माननीय और सम्मानित SC, ST, OBC वर्ग से हाइकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में जजों को होना ही चाहिए. यह न्याय आवश्यक है. कालेजियम सिस्टम हटे यह जनता की मांग है. वकील साहब लोग ही इसे हटवा सकते हैं. जय हिंद.
vakil kon she dhu le hue hai
मा. डाँ. आंबेडकर के विचार और भविष्यवाणी आजके कोलेजियम सिस्टम के विषय में बहुत ही सटीक थी उनके विचार बहुत अच्छे और प्रामाणिक थे
दोनों महानुभावों को सलाम ।
माननीय दिलीप मंडल सर तथा माननीय नितिन मेश्राम जी द्वारा बहुत बढ़िया न चर्चा हुई जिससे आमजन को अच्छी जानकारी मिली। दोनों महानुभावों को बहुत बहुत साधुवाद व धम्मवाद।🙏
बहुत ही शानदार चर्चा की गयी धन्यवाद नितिन मेश्राम साहब और दलीप मण्डल साहब ।।
कॉलेजियम सिस्टम समाप्त होने पर ही देश की बहुसंख्यक आबादी को न्याय मिलना संभव है।
।। जय भीम जय भारत जय संविधान ।।
100%
इसमें sc st obc को आरक्षण के तहत होना चाहिए 🙏 जय भीम 🙏
कोलेजियम सिस्टीम में एकी जात धर्म के लोग होते है जो लोगो को बहोत देय से आर्डर देने का प्रावधान करने का छिपा नियम होता है क्या? जितके वजह से करोडो केस कही सालोसे प्रलंबित है?
😊@@AvinashMeshram-t1l
बहुत ही स्पष्ट विश्लेषण कोलोजियम बना कर संविधान की मूल भावना को भी ध्वस्त किया गया और न्याय मै पारदर्शिता मैं कमी आई है और न्याय का बहुत ही अवमूल्यन भी हुआ है
नितिन मेश्राम जी आपका बहुत बहुत आभार । जयभीम जय संविधान ।
बहुत ही सुस्पष्ट तरीके से कॉलेजियम सिस्टीम उसकी की पृष्ठभूमी और उसके परिणाम (दुष्परिणाम) की चर्चा आपने की है ... आप दोनो का बहुत बहुत धन्यवाद |
सुप्रीम कोर्ट के जजों की नियुक्ति संघ लोकसेवा आयोग द्वारा अखिल भारतीय स्तर पर परिक्षा आयोजित करके की जानी चाहिए
वर्तमान कोलोजियम खत्म करो ये न्याय व्यवस्था के नाम पर धब्बा है
जय भारत
उनके नियुक्ती की शुरूवात डीस्ट्रीक जज और फीर प्रमाेशन हाय काेर्ट,सुप्रिम काेर्ट तक हाे....
Singh Lok Seva Ayog to ek defunct organisation se kam nahin.
क्या आप जानतें हैं- EC,ED, CBI, CVC, CAG, CBDT,मानवाधिकार आयोग, SC,ST आयोग आदि संवैधानिक संस्थान के हेड के पद पर नियुक्ति कौन करता है और वे सब किसके लिए काम कर रहें हैं?वे स्वतंत्र रूप से काम कर रहें हैं?चुनाव आयोग का काम हम देख रहें हैं भीमाकोरेगांव का फ़र्जी केस भी।
मेरी भी पूर्ण सहमति है।
@@vasarambhaichauhan2642 इस मूर्खो से कुछ मत बोलो ,ये लोग दिमागी रूप से गुलाम है
जागो इंडिया जागो बोल पचासी जय मुलनिवाशी जय संविधान जय विज्ञान कॉलेजियम सिस्टम खत्म हो
koi alternative?
Reservation khatam ho fokat ka khana band ho ...General category ke logo ka haq marna band karo...
बहुत ऐतिहासिक महत्व की और बहुत सुन्दर विचार विमर्श किया गया है। आप सभी विद्वानों को कोटि कोटि नमन, जयभीम जय संविधान जय भारत जय मूलनिवासी।👍👍👍🙏🙏🙏🌹🌹
बहुत ही अच्छे ढंग से प्रकरण पर प्रकाश डाला गया । हमारे संविधान सभा में बहुत महान लोग थे बाबा साहब ने बहुत ही अच्छे ढंग से संविधान का निर्माण किया
इस प्रकरण को अति सुन्दर तरीके से समझाया है !
एजेंडा है! न्यूज चैनल पर आयी हर चीज सही नहीं होती!
अरे भाई बाबा साहेब ड्राफ्टिंग कमेटी के अध्यक्ष थे। सिर्फ बाबा साहेब ने संविधान नही बनाया।सबकी मेहनत है इसमें
Baroda k kshatriya Raja Gaikvad saab ne Ambedkar ko videsh padhne k liye bheja bahut achhe dil se aur Ambedkar k Brahman guru ne unhe deeksha dee tatha Ambedkar ki upadhi pradan Kari Ambedkar koi jaati nhi balki upadhi h, Raj Ratan bhi apne naam k baad Ambedkar lagata h jo galat h but ham sab milkar Ambedkar ji ka samman karte h. Samvidhan likhne wale sir Ambedkar hi nhi the aur bhi log the.
@@user-sanatani19 किन किन माननीय सदस्यों ने संविधान बनाने मे मेहनत कि और संविधान ड्राप्टींग कमिटी मे कौन कौन सदस्य थे ? यहं सब यदी आप विस्तार से बता देते अधिक उचित होता.....!
बहुत अच्छा टॉपिक है। नियम और कार्यविधि का विश्लेषण बहुत अच्छे तरीके से किया गया है।
आप दोनों महानुभावों को कोर्ट कोर्ट प्रणाम जय भीम जय संविधान
भारतीय संविधान सर्वश्रेष्ठ देश को बहुत आगे ले जाने वाला है,पर विडंबना यह है कि देश को संविधान और कानून के अनुसार 50%भी नही चलाया जा रहा,और 90%जनता को संवैधानिक अधिकार नहीं दिए जा रहे,यही कारण है कि देश की तरक्की नहीं हो पा रही है। वास्तव में डा.अम्बेडकर जी बहुत ही योग्य,महान ज्ञानी थे।
जी बिलकुल सही कहा आपने ऐसा ही है
जय भीम जय मूलनिवासी जय संविधान जय भारत
बहुत शानदार discussion!
क्ल़ोजियम सिस्टम अपने संबंधियों की लिस्ट भेजते हैं। परीक्षा द्वारा नियुक्त किए जाएं।
कोलोजियम सिस्टम संविधान तथा देश के गरीब दुःखी लाचार जनता के लिए खतरनाक है।
थोड़ी और रोशनी डालिए अपने इस कथन पर कि क्यों कोलेजियम देश के ग़रीबों, दुःखी और लाचार जनता के लिए ख़तरनाक है।
बहुत ही सुन्दर कॉलोजियाम सिस्टम के बारे जानकारी 👌
जागो मनवा जागो 🙏🙏🙏
100%bhai garib kamjore lachar dukhhi janta ke liye khatarnak hai
To nyay nahi mil sakta .marji nahi chal sakti. Desh sanvidhan se chalega
'हम भारत के लोग ' ही शासन में प्रजातंत्र प्रणाली भारत के लिए स्थापित किये हैं। तो प्रश्न कहां उठता है कि कोई और कोई और कानून बना दे। संविधान सभा में जो विचार किया गया उससे हम दूर कैसे जा सकते हैं।
कॉलेजियम सिस्टम खत्म होना चाहिए क्योंकि इससे परिवारवाद पनप रहा है
Sir ye to sab log k liye galat hai
100%
PARIVARVAD NAHI MANUVAD
अंबेडकर वादियों को अंबेडकर जी के इस अपमान का बदला लेना चाहिए।
Anmbedkarji ka apman shamajte ho to phir bharatdesh ke shabhy jatiyo ke liye anmbedkarji ne shanmvidhan me jo likha haey vo shabhy bharatdesh ke shabhy jatiyo ka uttkarsh, aur age badhkar bharatdesh, vishva me shabshe age, hy rhe aesha a hy shanmvidhanme likha haey, ishiliye Shara bharatdesh ka apman haey, ishiliye shirph anmbedkarvadiyo, hy nahy Shara bharatdesh ke shabhy jatiyo ko apaman ka badla lena hy chahiye, ye bharatdesh, haey, kauravo, aur pandvo, ya vidur, hashtynapur, rajya ke thhe, aur hashtynapur, rajya ke liye kauravo, aur pandvo, ke bhychme jo udhhkela gaya vo udhhka nam Mahabharat, kaha gaya haey, ishiliye ye bharatdesh haey, aur bharatdesh, aur hashtynapur rajya, thha,, ishiliye bharatdesh ko hashtynapurrajya, na shamjo, bharatdesh me rhnevale shabhy jaty ke log Bhartiya, yany indiyan, hy haey, anmbedkarji ne jatiyo, ka nahy shocha, share bharatdesh ko najar me rkhakar, aur bharatdesh ka hy ujjval bhavishya ka hy shanmvidhanme ullekh kiya haey, ishiliye shabhy bharatdesh me rhnevale shabhy jatiyo, ko bharatdesh ko age badhhane ka hy shochana chahiye, Jay shanmvidhan.
@@varshabenanand7037 This is not applicable to open category ... Unke to band baja de
सरकार की कमजोरी को सुप्रीम कोर्ट ने फायदा उठा लिया है. 1993 में जो भी सांसद थे सबका पेंशन बंद कर देना चाहिए. उन लोगों ने सुप्रीम कोर्ट की दादागिरी का विरोध नहीं किया.
बहूत हि सुंदर सरल सटिक विश्लेषण दिया सर आपणे 🙏🙏जय भिम जय सविधान
बिल्कुल सही कह रहे हैं नितिन मेश्राम साहेब
कालेजियम बहुत ख़तरनाक प्रावधान खड़ा कर दिया गया है किसीको राष्ट्रपति से भी अधिक शक्तिशाली बना देना।
कोलोजियम सिस्टम को बारे में देश की जनता को जानकारी देना चाहिए क्योंकि जनता ही इसको बदलने की हकदार हैं अब सिस्टम बदलने की जरूरत लगती है सरकार तो जनता की ही मर्जी से बनेगी भाई धन्यवाद
Collegium ko ambedkar ne banaya tha
tum kya chahte ho ki judiciary goverment ke control me aa jaye? aisa hua to sab barbad ho jayega.
@@KRN000 तुमको क्या लगता है की ये गवर्मेंट को दबा रखते है 😂 ये गवर्मेंट के साथ मिल के जनता को बेवकूफ बनाते है क्योंकि सरकार की जवाबदेही कोर्ट के बारे में हैं ही नही
Very nice
Super डिबेट..!
देश की सरकार को ,न्यायिक व्यवस्था से कॉलेजियम सिस्टम को ख़त्म कर, संसद मे केंद्रित कर, न्यायिक व्यवस्था की मनमानी को रोकना चाहिए...!
और, देश के मूल निवासियों,OBC, sc, st को भी, न्यायिक व्यवस्था में,आनुपातिक प्रतिनिधित्व/हिस्सेदारी/भागीदारी किसी भी हालत में मिलनी चाहिए..?
भारत को ये अंग्रेज़ी मानसिकता वाली सुप्रीम न्यायपालिका की विचित्र कार्य शैली जिसमे जज ही जज को चुनता है जिसे बदलना देश हित मे होगा
Even In Britain judges don’t choose Supreme Court judges themselves.
बहोत बहोत धन्यवाद आप दोनो साहब का. जय संविधान . जय भारत . 🙏🙏
सभी वर्गों का प्रतिनिधित्व जजों की नियुक्ति में होना चाहिए। अनु . 312 में आयोग गठित कर जजों की नियुक्ति की जाय और HC SC में भी इन्हीं जजों में से प्रोमोशन हो
कालोजियम सिस्टम समाप्त होनी चाहिए ताकि एससी एसटी ओबीसी को न्याय मिल सके
Very excellent bahujan samaj jagruk karne ke liy apko bahut bahut sadhuwad jai bhim jai samvidhan jai mulniwasi jai bhart jai johar
Dr. Baba. Saheb. Ambedakar. Amar. Rho jay. Bhim. Jay. Savidhan. Ji da. Bad. 👌☝️✍️👌☝️✍️👌☝️✍️👌☝️✍️
संविधान निर्माता डॉ बाबासाहेब अंबेडकर जी ने यूं ही कोलेजियम सिस्टम को संविधान से बाहर नहीं रखा था। सुप्रीम कोर्ट से भाई भतीजावाद तुरन्त खत्म होना चाहिए। करोड़ों केस आज न्याय पालिका में पेंडिंग हैं पहले उन्हें निपटाना चाहिए न कि इधर उधर की बातों में समय बर्बाद करने मे।
Right
बहुत ही ज्ञानवर्धक जानकारी दी दोनों विद्वानों ने। धन्यवाद।
Well defined the collegium system and its impact...thanks Adv. Nitin sir and Prof. Dilip sir
कोर्ट महाराजाधिराज बनना चाहती है कोर्ट के जज चाहते हैं कि हमारे ऊपर कोई दूसरा ना रहे लेकिन ऐसा इंडिया में नहीं होगा बाबा साहब के सपनों का खिलवाड़ नहीं होने जो बाबा साहब ने लिख दिया वही कानून लागू होगा
Fir to chacha 368 kyu dala gya
देश में जनसंख्या के हिसाब से सभी को सारे इंस्टीट्यूट्स में हिस्सा मिलना चाहिए... तभी पारदर्शिता और न्याय की अवधारणा साबित होगी।
प्रिय! कोलेजियम सिस्टम, हो शतप्रतिशत बन्द।
यह सार्वजिनक हित में कत्तई-प्रियवर नापसन्द।
कोलेजियम सिस्टम बन्द होना चाहिएं मोदी जी योगी जी जय श्री राम जय हिन्द भारत माता कि जय हर हर महादेव
The collegium system should be abolished and the judges should be appointed by the provision of the constitution of India.
Jay Bhim, Jay Sambidhan and Jay Bharat.
कोलिजियम सिस्टम का कोई प्रावधान सम्बिधान मे नही है । यह सिस्टम भाई - भतीजा वाज के अलावा और कुछ नही ।।
दलीप मंडल जी आपको ओर आपकी पत्रकारिता को जय भीम,सलाम,नमस्कार,सत श्री अकाल के साथ साथ आपको सत सत नमन।
कोलीजियम् सिस्टम से जजेस की नियुक्ति बंद की जाए।यह तो बिना आरक्षण के आरक्षण है।
जजेस की नियुक्ति भी IAS की तरह की जाए।
कालेजियम सिस्टम से सिर्फ ब्राह्मण को न्यायाधीश बनाया जा रहा है और न्यायपालिका में ब्राह्मण के एकाधिकार हो गया है। न्यायपालिका नहीं ब्राह्मण पालिका हैं
Shahi kaha, dhanyavad.
@@varshabenanand7037 अंग्रेज ने सही बोले थे कि ब्राह्मण मे न्यायिक चरित्र नहीं होता है और 1916 के न्यायाधीश बनने पर प्रतिबंध लगा दी थी
Thinks. Sr. Jay. Bhim. Jay. Sambidhan
लोकतांत्रिक व्यव्स्था में संविधान द्वारा संसद को ही सर्वोच्च ठहराया गया है. सलाह औऱ सहमति में अन्तर होता है.वर्तमान collegium. व्यवस्था दोषपूर्ण है,
धन्यवाद डा दिलीप जी ...आपने लगातार आवाज़ उठा रहे है ओबीसी एससी एसटी मैनरिटी के संवैधानिक अधिकारों की हिफाजत के संबंध में।
जयभिम जय भारत जय संविधान
Dilip Mandal Sir wa Nitin Meshram Sir khubsurat jaanakari ke liye Aap dono ka behad Sukriya.
Jai bhim, jai sambidhan, Namo Buddhaye.
जजों की नियुक्ति आईएएस व आईपीएस की तरह संघ लोक सेवा आयोग के द्वारा entrance टेस्ट के द्वारा होनी चाहिए, इसके लिए भारतीय न्याय सेवा ( IJS) परीक्षा होनी चाहिए जिसमें समाज के सभी वर्गों का representation संविधान के अनुसार होना चाहिए ताकि समाज के सभी वर्गों को समान अवसर के साथ समान न्याय मिल सके.
S P Singh is right
Right
Tumko constitution nahi pta hai bhai 50 anuchhed read kro
Ye bat sach he
मेश्राम जी का विशेष आभार 🙏
जय भीम जय सविधान 🇪🇺🇪🇺
काॉलिजियम सिस्टीम बंद होना चाहिए.एक चपराशी तक परीक्षा देकर चपराशी बनता है तो जज की परीक्षा क्यों नही.यह अनुवांशिक पद भरती बंद होना चाहिए.
Excellent reporting and very very crystal clear - 1000 salutes
Thankyou very much sir. Bahut hi sunder. Aapko naman.
मण्डल मूवमेंट आने के बाद से सवर्ण समाज और पार्टियां न्यायपालिका के माध्यम सत्ता पर काबिज हो गई हैं। कॉलेजियम और कमंडल बेहतर और सुरक्षित टूल बन गया।
Bas rotey raho,
Dhanyvad Mr Dilip nandal sir
इस से जहीर होता है कि एक जाती के जज रहेगें तो कीसीको इंसाफ नहीं मिल पायगा इसी बात को लेकर राष्टपति जी जिक्र किया था जय भीम
बहुत-बहुत धन्यवाद जय भीम नमो बुद्ध
Very good analysis. Colegium has to be replaced.
कोलीजिम के नाम सुप्रीम कोर्ट, हाई कोर्ट मे जज थोपना बंद हो, Ad., V. P. Jangde
bharat ka sabse bane patrakar dilip sir aap ko jai bhim jai mulniwasi
Thanks respected Mandalji & nitinji
For important jankari
किम जोंग सिस्टम ने मा. डॉ भीमराव अम्बेडकर जी की आत्मा को दुःख पहुंचाया गया है। सुप्रीम कोर्ट के ऊपर मा. बाबा साहब के इच्छा के विरुद्ध कोलेजियम सिस्टम लागू करने मुकदमा चलाया जाना चाहिए।
Sarji बहुत अच्छा तरहसेआपने समजया.CJ इस मामालेले सुप्रीम हो गये.
Thanks to give clear opinion about this unconstitutional coterie of judges and judiciary
इस चर्चा से राष्ट्र में सहयोग मिलेगा।।।
Very useful information to public. Such discussions to be held in TV media everyday. So that public know the truth.
एक अच्छी बातचीत
जी हां, consultation को advice या direction / order नहीं माना जा सकता है, यदि ऐसा मानना होता तो शब्द in consultation of / with CJI की बजाय on the advice of CJI का प्रयोग हुआ होता, अतः जजों की नियुक्ति की वास्तविक विधि collegium की बजाय NJAC होना अधिक उपयुक्त हो सकता है।
उनके नियुक्ती की शुरूवात युपीएससी द्वारा डीस्ट्रीक जज और फीर प्रमाेशन हाय काेर्ट,सुप्रिम काेर्ट तक ऱाष्ट्रीय आयाेग की सलाह मशवरा से हाे....
Bahut hi sarahniya dhang se sambhidhan ka nirman kiya baba sahib ji ne
Excellent conversation! I Most welcome both of you.
अति उत्तम समीक्षा, व विशेषज्ञ द्वारा चिंतन🙏🏽
विशेषकर, भारत के लोकतंत्र के हित में, सम् विधानसभा के गहन चिंतन को याद करते, डॉ बाबा साहिब अंबेडकर जी की गूढ़ अध्यक्षता के अंतर्गत, सर्वमान्य निर्णय, "collegium system, निजी व्यक्तिगत प्रभाव कारणवश, अति घातक सिद्ध होगा", 1993 में लागू होते ही जो हुआ भी! भारत के लोकतंत्र के लिए बाधक व घातक !
= क्योंकि न्याय पाने के लिए, cases के वर्षों की pendency, करोड़ों में पड़ी हुई है, इन 30 वर्षों में!
बिना बेल के जेल में पड़े हैं, लाखों² सामान्य जन!
साधारण जन का विश्वास उठ गया है, न्यायालयों से, भारत में ।
अब स्वयं, भारत के राष्ट्रपति के आग्रह पर, इस न्यायिक व्यवस्था की दीर्घकालिक व्याधि, पर गहन संविधानिक-विचार, व बदलाव की नितान्त आवश्यकता है।
@ राष्ट्र सर्वोपरि ही 🙏🏽
🙏🏽🚩🇮🇳 वन्दे मातरम्
PS: राष्ट्र हित में, ऐसे अति आवश्यक विषय पर expert चिंतन का, transcription अवश्य ही देने की कृपा करें।
Thanks Dilip Sir n Nitin Sir for describing Collegium in Simple words . Thanks
JAyBHIM ji very good
Democracy is by the people of the people for the people.
Collegium is by the judges, of the judges for the judges.
Very well said Bimalji
koi alternative hai apke paas?
Good discussion, Jai bhim sir.
These are the debates youth needs.
जय भीम सर
Jai bhim Jai bharat
Most valuable and nice discussion.. 🙏🙏
Collegium system ब्राह्मणवाद की उपज है। आज भी सुप्रीम कोर्ट में ब्राह्मणों का एकाधिकार है। ब्राह्मण आज भी अपना एकाधिकार बनाये हुए हैं
अत्यधिक महत्वपूर्ण जानकारी सर जी🎉सादर जय भीम जय भारत 🎉
जय भीम सर 🙏
शुक्रिया नितिन सर और दिलीप सर बहोत ही अच्छे तरीक़े से चर्चा हुयी एसे ही मुद्दे पे प्रकाश डालते रहिए जिससे जनता भी जागृत हो सके।
इसे ही बुद्धीजीवीयो की debat कहा जाता हे
वरना कहा आज का tv media😅
President of India is head of nation and he should select all judges in SC & HC. Thanks for your true analysis.
कॉलेजियम सिस्टम बंद होना चाहिए सबको मोका milna chahiye
डा बाबासाहेब आम्बेडकर जीं दुणीया के एक नंबर के बुध्दीमान ऐसे ही नहीं बणे हैं ।
कांग्रेस भारत की एक नंबर की पार्टी है , जो भारत के बर्बादी के रीमेक जीम्मेदार है। ऐसा मेरा मानना है।
काश , कांग्रेस ने वीरों ना करते हूवे दुणीया के एक नंबर के बुध्दीमान डा.बाबासाहाब आंबेडकरजी को देश के पहले प्रधानमंत्री बताते तो आज हम वीश्व के राजा रहैं होते ।
Manniya dilip mandalji, aur vakilji, app ko dhanyavad, Jay shanmvidhan.
Nicely moderated and superbly explained.
जयभिम sir💐🙏
कॉलेजियम सिस्टम बंद हो
Great sir
This dialogue is a mirror in which the Collegium should see its face.
Collegium is blind. How can they see their own black faces?
@@nlnegandhi True.
कोलेजियम सिस्टम के कारणों से अभी तक भाई भतीजा वाद चलता रहा है ? लेकिन अब नही चलेगा। क्योकि सुप्रीम कोर्ट अब कोर्ट फिक्सरों के लफड़े में पड़ा है। यह मैं नही भूतपूर्व CJI द्वारा कहा गया है।।
@@nlnegandhi So true !! The Supreme Court has trashed the sanctity of the Constitution by which the judges swear. Collegium is like a gang now .
@@nlnegandhi 😳😳
*कॉलेजियम ये नये तरीके का पुरजोर विरोध होना चाहिए! कॉलेजियम होनेसे लोगोंका सही न्याय नहीं मिलता है!*