वास्तव में सांसारिकता कठिन है डगर पनघट की मगर इसकी बडी वजह भारत में ब्राह्मण वाद है, शेष सामाजिक आर्थिक, मनोवैज्ञानिक है। विज्ञान, शिक्षा, ढोंग-पाखंड उखाड़न और लीक से हटकर चलने वाले ही कुछ सम्मान प्राप्त कर पाते हैं ।गायक बधाई के पात्र हैं।
@@ShreeCassetteIslamic बोहत कठिन है डगर पनघट की या या या या या या या या बोहट कठिन है डगर पनघट की ज़ुल्मी बड़ी औकात पे ये रात आई है मन तो है मेरा पावन मगर यौवन हरजाई है हो कैसे हो मिलन बांके पिया से जान मेरी अटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना Attitude घमंडी पर बनेगी तू मेरी बंदी बोहत कठिन है डगर पनघट की सैयाँ बाबू जी बंबइया तेरी बटरफलिया कब से बैठी तेरी राह तके हैया अपने प्यार की नैया बीच भवर में दैया पार लगा जोगन के भाग जगे हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे सबर ज़रा करियो रे हे हे सबर करते हुए कितना भरूं मैं Hand pump से मटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पं पं पं पं पं पं पं पं पं बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की या या या या या या या या बोहट कठिन है डगर पनघट की ज़ुल्मी बड़ी औकात पे ये रात आई है मन तो है मेरा पावन मगर यौवन हरजाई है हो कैसे हो मिलन बांके पिया से जान मेरी अटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना Attitude घमंडी पर बनेगी तू मेरी बंदी बोहत कठिन है डगर पनघट की सैयाँ बाबू जी बंबइया तेरी बटरफलिया कब से बैठी तेरी राह तके हैया अपने प्यार की नैया बीच भवर में दैया पार लगा जोगन के भाग जगे हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे सबर ज़रा करियो रे हे हे सबर करते हुए कितना भरूं मैं Hand pump से मटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पं पं पं पं पं पं पं पं पं बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की या या या या या या या या बोहट कठिन है डगर पनघट की ज़ुल्मी बड़ी औकात पे ये रात आई है मन तो है मेरा पावन मगर यौवन हरजाई है हो कैसे हो मिलन बांके पिया से जान मेरी अटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना Attitude घमंडी पर बनेगी तू मेरी बंदी बोहत कठिन है डगर पनघट की सैयाँ बाबू जी बंबइया तेरी बटरफलिया कब से बैठी तेरी राह तके हैया अपने प्यार की नैया बीच भवर में दैया पार लगा जोगन के भाग जगे हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे सबर ज़रा करियो रे हे हे सबर करते हुए कितना भरूं मैं Hand pump से मटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पं पं पं पं पं पं पं पं पं बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की
Subhanallah subhanallah mashaallah jazakallah Nice thanks jay hind jay Bharat jay bhim jay mim Thanks Dr I A shadani loktantra senani Kanpur dehat u p India Thanks
Om namah shivay Om namah shivay Om Jay maiya ki Jay kanhaiya Lal ki Jay gopal ki Jay jashoda maiya ki Jay Anand bihari ki Jay murali bajari ki chakradhari Krishna chakradhari ki Jay Radha Rani chaurasi ko parikrama ki Jay har har mahadev har har gange Jay Shri santoshi maiya ki Jay Tulsi maiya ki Jay
बोहत कठिन है डगर पनघट की या या या या या या या या बोहट कठिन है डगर पनघट की ज़ुल्मी बड़ी औकात पे ये रात आई है मन तो है मेरा पावन मगर यौवन हरजाई है हो कैसे हो मिलन बांके पिया से जान मेरी अटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना Attitude घमंडी पर बनेगी तू मेरी बंदी बोहत कठिन है डगर पनघट की सैयाँ बाबू जी बंबइया तेरी बटरफलिया कब से बैठी तेरी राह तके हैया अपने प्यार की नैया बीच भवर में दैया पार लगा जोगन के भाग जगे हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे सबर ज़रा करियो रे हे हे सबर करते हुए कितना भरूं मैं Hand pump से मटकी बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की पं पं पं पनघट की बोहत कठिन है डगर पनघट की पनघट पे गट गट करके पीती रहती पीती रहती पीती रहती पीती रहती सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती जीती रहती जीती रहती जीती रहती पं पं पं पं पं पं पं पं पं बोहत कठिन है डगर पनघट की पं पं पं पनघट की
Oil painting reproductions of this communication 8i8iiîttttttttttttttttttttttttttttttttttttttttt5ttttttttttttttttttttttttttttttttt5t5ttttttttttttttttttttttttttttttttt
nice
Good
5
.
@@SumitKumar-vc8gi pppppppp0ppppppp
@@hasanmohamad7948 pppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppppp
Bahut gazab prastuti.😊👌🙏🏻👏👏
बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति की जी
Bahut,, sundar❤❤❤😂😂😂🎉🎉😢😢.dil,,,khush,,ho,,gaya❤❤😂😢😮😮😅😊
Ap phir se Lalitpur aaiyega 🙏🙏
Bahut khub
बेहतरीन लाजवाब गजल
वास्तव में सांसारिकता कठिन है डगर पनघट की मगर इसकी बडी वजह भारत में ब्राह्मण वाद है, शेष सामाजिक आर्थिक, मनोवैज्ञानिक है। विज्ञान, शिक्षा, ढोंग-पाखंड उखाड़न और लीक से हटकर चलने वाले ही कुछ सम्मान प्राप्त कर पाते हैं ।गायक बधाई के पात्र हैं।
Tumahre jaise chutiya hain n es liye
कम्युनिस्ट हो क्या
मौलविवाद के बारे में भी कुछ बोलो बमदुल,,
या हिंदू समाज पर कीचड़ उछालने के लिए ही पैदा हुए हो
गायक ने दोनों का जिक्र किया था अफसोस तुम आधे अंधे हो,
Very, good,,,❤❤❤🎉😢😢subanallah❤❤❤😂🎉🎉😢😢😢😮
Nice gulam bhai
श्री कैसेट इस्लामिक में आपका इस्तकबाल है कृपया चैनल को सब्सक्राइब जरूर करे !
@@ShreeCassetteIslamic बोहत कठिन है डगर पनघट की
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बोहट कठिन है डगर पनघट की
ज़ुल्मी बड़ी औकात पे
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मन तो है मेरा पावन
मगर यौवन हरजाई है
हो कैसे हो मिलन बांके पिया से
जान मेरी अटकी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
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पनघट पे गट गट करके पीती रहती
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संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
जीती रहती जीती रहती जीती रहती
पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना
Attitude घमंडी
पर बनेगी तू मेरी बंदी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
सैयाँ बाबू जी बंबइया
तेरी बटरफलिया
कब से बैठी तेरी राह तके
हैया अपने प्यार की नैया
बीच भवर में दैया
पार लगा जोगन के भाग जगे
हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे
सबर ज़रा करियो रे हे हे
सबर करते हुए कितना भरूं मैं
Hand pump से मटकी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
पं पं पं पनघट की
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सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
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संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
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पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना
Attitude घमंडी
पर बनेगी तू मेरी बंदी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
सैयाँ बाबू जी बंबइया
तेरी बटरफलिया
कब से बैठी तेरी राह तके
हैया अपने प्यार की नैया
बीच भवर में दैया
पार लगा जोगन के भाग जगे
हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे
सबर ज़रा करियो रे हे हे
सबर करते हुए कितना भरूं मैं
Hand pump से मटकी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
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सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
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या या या या
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बोहट कठिन है डगर पनघट की
ज़ुल्मी बड़ी औकात पे
ये रात आई है
मन तो है मेरा पावन
मगर यौवन हरजाई है
हो कैसे हो मिलन बांके पिया से
जान मेरी अटकी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
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बोहत कठिन है डगर पनघट की
पनघट पे गट गट करके पीती रहती
पीती रहती पीती रहती पीती रहती
संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
जीती रहती जीती रहती जीती रहती
पनघट पे गट गट करके पीती रहती
पीती रहती पीती रहती पीती रहती
संवारिया या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
जीती रहती जीती रहती जीती रहती
पटती पटन पतन्ति क्यों तू इतना बनती है ना
Attitude घमंडी
पर बनेगी तू मेरी बंदी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
सैयाँ बाबू जी बंबइया
तेरी बटरफलिया
कब से बैठी तेरी राह तके
हैया अपने प्यार की नैया
बीच भवर में दैया
पार लगा जोगन के भाग जगे
हो मेरी फुलझड़िया रे हे हे
सबर ज़रा करियो रे हे हे
सबर करते हुए कितना भरूं मैं
Hand pump से मटकी
बोहत कठिन है डगर पनघट की
पं पं पं पनघट की
पं पं पं पनघट की
पं पं पं पनघट की
बोहत कठिन है डगर पनघट की
पं पं पं पनघट की
पं पं पं पनघट की
पं पं पं पनघट की
बोहत कठिन है डगर पनघट की
पनघट पे गट गट करके पीती रहती
पीती रहती पीती रहती पीती रहती
सावन या बिन सजना क्यूँ जीती रहती
जीती रहती जीती रहती जीती रहती
पं पं पं पं पं पं पं पं पं
बोहत कठिन है डगर पनघट की
पं पं पं पनघट की
हबीब सर आपकी आवाज और आपके अंदाज ने मदहोश कर दिया
Bahut achhe
Bhagawan ne diya hai hunar apke
Shubhkamnae apki team ko
I come here after Roohi trailer.. Great👏👏👏
Bahot hi shandar ustaad habeeb Pinter sahab ki yad aagai
Dada habib painter ki yaad taza kardiya apne👆👆👌👌👍
Mashallah
स्वर के साथ पूरी टीम के साथ पूरी टीम का संगम बहुत अच्छा है। सुन्दर प्रस्तुति।
Dada Habib painter ki yad taaja kar ❤️
Aap bhi sunte ho kiya qawali
Waah ❤
Very coll
🎉
आपके टीम व्दारा गायी गई ग़ज़ल लाजवाब है ग़ज़ल में यर्थाथ व दार्शनिक से परिपूर्ण है।
Very Nice
वैरी गुड पेंटर साहब ।।अनीस वजीर गंजवी ।।
SubhanAllah mashaAllah bahut khub Awesome excellent 🙏🙏🙏👍👍👍👏👏👏💥💥💥🔥🔥🔥⭐️⭐️⭐️⭐️⭐️⭐️⭐️
Super duper hit
Bahut acha
Bahut bahut badhai
Beautiful❤✨😍❤✨😍
Samajhne waale samajh gaye hain na samjhe woh anadi hai 😌😌💚💜❤️💚💜❤️
बहुत बहुत सुंदर बधाई
❤😂😢
Superb
Super
Nice bro😍😍😍
Besak sahi kaha h umdah performance
best qawalli for Hindus and Muslims both !
Habib painter ji ki aawaj lgg rhi😊😊❤❤❤
Supar
Nice bhai👍👌👌
लैला मजनू की जगह राधा कृष्ण था,,,,,,,,असली गाते तो मानते,,,,,,मतलब यही हुआ कि तुम्हारी बहुत कठिन है डगर पनघट की,,,,,,,
Google search kr k dekho likha.... kisne hai........lakeer k fakeer mat bano bhai
@@MohdShakir-z9b iska asli vala suno....sunkar hi khaa
इनके आदर्श लैला मजनू ही है। ।
वहुत ही अच्छा।
सीतल फुहारे सा
Beautiful kavali with harsh realities of life
अतिसुंदर
t .. Yo ...
😂
Nice
Super bhai
Masha Allah Bhai jaan
Jabaab naheen
Dilbar Meraj
Very fantastic.Highly appreciated.
Aap ki aawaz bahut acche hai mash allah
Hi,0k😊
Beautiful kavali with real lessons for life beautifully presented
बहुत सुन्दर शब्द। आत्मा तृप्त हो गई।
Bahut khoob
अति सुन्दर
🌷🌷बेहतरीन प्रस्तुति। 🙏🙏
बहुत ही शानदार
Mashaallha
Hi
Habib saheb aap ki jai
MIND BLOWING
Masa allah Gulam Bhai jaan
🙏🙏🙏👍👍👌👌
Subhanallah subhanallah mashaallah jazakallah Nice thanks jay hind jay Bharat jay bhim jay mim Thanks Dr I A shadani loktantra senani Kanpur dehat u p India Thanks
bahut hi acha laga👌
Rightly so?
Ya,
Bhagat singh G.
Boliye?
very nice
Very nice
Om namah shivay Om namah shivay Om Jay maiya ki Jay kanhaiya Lal ki Jay gopal ki Jay jashoda maiya ki Jay Anand bihari ki Jay murali bajari ki chakradhari Krishna chakradhari ki Jay Radha Rani chaurasi ko parikrama ki Jay har har mahadev har har gange Jay Shri santoshi maiya ki Jay Tulsi maiya ki Jay
Dawai ka pata hamen bhi hai
Bakai shandar h kabbali
श्री कैसेट चैनल में आपका इस्तक़बाल है ! वीडियो को देखने के लिए शुक्रिया मेहरबानी करके चैनल को सब्सक्राइब करे और वीडियो को ज्यादा से ज्यादा शेयर करे
𝒃𝒉𝒖𝒕 𝒂𝒄𝒉𝒉𝒊 𝒉𝒂𝒊 𝒒𝒘𝒂𝒍𝒊 𝒃𝒆𝒔𝒕
Super Duper singing superb.
Bahut sundar Linen Hain
Ati sunder ❤❤❤
Shubham Allah bhaijan
माशा अल्लाह बहुत प्यारा वाक़्या है
th-cam.com/video/dKIw1yGpI7o/w-d-xo.html
Very nice. Thank you Qawal ji.
कब्बाल हबीब पेंटर की तर्ज पर गाते हैं बहुत अच्छा है।यही लगता है कि आप उनके बेटे हैं क्योंकि यह कब्बाली उनकी गाई हुई है और तर्ज भी वही है।
Unke Pote hi hai
Ye unke pote hee
I'am here before it's remake gonna be realesed in Roohi movie.
So nice performance. Congratulations.
प्रनामजी साथजी ॥
और घाट बिना गलें क्यों जीव टल आतम रें?
बोहत कठिन है डगर पनघट की
या या या या
या या या या
बोहट कठिन है डगर पनघट की
ज़ुल्मी बड़ी औकात पे
ये रात आई है
मन तो है मेरा पावन
मगर यौवन हरजाई है
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बोहत कठिन है डगर पनघट की
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InsaAllah
Exquisite
Very good nice
Nice good
Sundar prastuti
राह बहुत कठिन पनघट की
Beautiful
टोपी लगाने या नही लगाने से कुछ फर्क नही पडता
Masha allah subhan allah
ऐसा लग रहा है कोई कैसेट सुन रहा है
ये आवाज और की है
ये तो एक्टिंग कर रहा है
All dagars appear difficult to us in this world.......
❤❤❤
Nicer
Not bad
❤🎉😮
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Good
कसै भर लाओ जमाना से मठकी
हबीब सर आप लोग टोपी कयू नही लगाते ह है
Original is best
Nice Qawwali
good very good thanks
Very 🎉