बहीन स्नेहा आ समस्त मिथिला मिरर टीम के बहुत-बहुत धन्यवाद। अहाँ सब एहिना मिथिला के सेवा करैत रहूं। हमरो सासुर बगले में राढ़ी ग्राम में अछि आ घर बेनीपट्टी में। मुदा दिल्ली में आईएएस आ बीपीएससी के विद्यार्थी सब के पढ़ा रहल छी। हम मिथिला मिरर के माध्यम स अपन क्षेत्र सं जुड़ल महसूस करै छी। चकौती ग्रामक काकी आ बहीन सब के प्रणाम। जय मिथिला, जय मैथिली 🙏🚩
सामा चकेवा का त्योहार: भाई-बहन के प्यार का प्रतीक सामा चकेवा मिथिलांचल और कोसी क्षेत्र का एक लोकप्रिय त्योहार है जो भाई-बहन के अटूट प्रेम का प्रतीक है। यह त्योहार कार्तिक पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है और आठ दिनों तक चलता है। त्योहार की कहानी इस त्योहार की उत्पत्ति भगवान श्रीकृष्ण के पुत्री साम्बवती (सामा) और पुत्र साम्ब के पवित्र प्रेम पर आधारित है। पद्म पुराण में इस कहानी का उल्लेख मिलता है। त्योहार कैसे मनाया जाता है? * मिट्टी की मूर्तियाँ: इस त्योहार में सामा, चकेवा, चुगला, सतभैंया आदि की मिट्टी की मूर्तियाँ बनाई जाती हैं। * लोकगीत: महिलाएं इन मूर्तियों को सजाकर पारंपरिक लोकगीत गाती हैं। * भाई के लिए मंगलकामना: बहनें अपने भाई के दीर्घायु और सुख-समृद्धि की कामना करती हैं। * चुगला दहन: अंत में चुगला को जलाया जाता है जो बुराई का प्रतीक है। त्योहार का महत्व * भाई-बहन का प्रेम: यह त्योहार भाई-बहन के पवित्र बंधन को मजबूत करता है। * सांस्कृतिक महत्व: यह मिथिलांचल की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का एक हिस्सा है। * पर्यावरण संरक्षण: इस त्योहार के गीत पर्यावरण संरक्षण का संदेश देते हैं। क्यों मनाया जाता है? यह त्योहार भाई-बहन के प्यार और एकता को बढ़ावा देने के लिए मनाया जाता है। साथ ही, यह हमारे समाज में बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक भी है।
Hamhu Silvassa sau aha ke channel ke madhayam sau aai pahil ber TH-cam ke madhayam sau dekh rahal chii aai tak gaon me ham sama dekhnahe nai chii kiyaki hamra babuji ke chutiye nai di chaii chhath me te duare Radhe Radhe ❤
बहीन स्नेहा आ समस्त मिथिला मिरर टीम के बहुत-बहुत धन्यवाद। अहाँ सब एहिना मिथिला के सेवा करैत रहूं। हमरो सासुर बगले में राढ़ी ग्राम में अछि आ घर बेनीपट्टी में। मुदा दिल्ली में आईएएस आ बीपीएससी के विद्यार्थी सब के पढ़ा रहल छी। हम मिथिला मिरर के माध्यम स अपन क्षेत्र सं जुड़ल महसूस करै छी। चकौती ग्रामक काकी आ बहीन सब के प्रणाम। जय मिथिला, जय मैथिली 🙏🚩
अद्भुत दृश्य मैथिल और मैथिला के ❤🙏🚩
❤जय मिथिला🙏 🇳🇵
Jai mithala jai maithil🙏🙏
Jai mithila
जय मिथिला धाम ❤
Incredible culture of mithila.
❤ sundar sneha jee
Jay mithila jay maithili
बहुत सुंदर
सामा चकेवा का त्योहार: भाई-बहन के प्यार का प्रतीक
सामा चकेवा मिथिलांचल और कोसी क्षेत्र का एक लोकप्रिय त्योहार है जो भाई-बहन के अटूट प्रेम का प्रतीक है। यह त्योहार कार्तिक पूर्णिमा के दिन मनाया जाता है और आठ दिनों तक चलता है।
त्योहार की कहानी
इस त्योहार की उत्पत्ति भगवान श्रीकृष्ण के पुत्री साम्बवती (सामा) और पुत्र साम्ब के पवित्र प्रेम पर आधारित है। पद्म पुराण में इस कहानी का उल्लेख मिलता है।
त्योहार कैसे मनाया जाता है?
* मिट्टी की मूर्तियाँ: इस त्योहार में सामा, चकेवा, चुगला, सतभैंया आदि की मिट्टी की मूर्तियाँ बनाई जाती हैं।
* लोकगीत: महिलाएं इन मूर्तियों को सजाकर पारंपरिक लोकगीत गाती हैं।
* भाई के लिए मंगलकामना: बहनें अपने भाई के दीर्घायु और सुख-समृद्धि की कामना करती हैं।
* चुगला दहन: अंत में चुगला को जलाया जाता है जो बुराई का प्रतीक है।
त्योहार का महत्व
* भाई-बहन का प्रेम: यह त्योहार भाई-बहन के पवित्र बंधन को मजबूत करता है।
* सांस्कृतिक महत्व: यह मिथिलांचल की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का एक हिस्सा है।
* पर्यावरण संरक्षण: इस त्योहार के गीत पर्यावरण संरक्षण का संदेश देते हैं।
क्यों मनाया जाता है?
यह त्योहार भाई-बहन के प्यार और एकता को बढ़ावा देने के लिए मनाया जाता है। साथ ही, यह हमारे समाज में बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक भी है।
बहुत सुंदर लागल से हम्मर गाम आबि क शामा चकेबा के विडियो बनेलऊ..... ललित भईया के बहुत बहुत धन्यवाद...
Maithili ✨
Bahut Sundar!
Bahut sundar
Jaiho
Bahut nik 💐💐
Hum Canada sa Dekh rehel chhi❤
जय मिथिला जय मैथिल
Bahut nik Prastuti Sneha ji dwara. ekar jatek prasnsa kari kam hetai.
हम्मरा विशवास नै भै रोहल अईछ जे सीतामढी मे सेहो मैथिली बोलल जाई छै ।
Sitamarhi me te nik9maithily bajal aiet achhi
@nandkishorjha9316 अहा सीतामढी मे कौन जगह सँ छी ई बता दिय कनिक भाई जी
Bahut sunder sneha ji
❤❤
Jay ho mithala ki maharani
Apratim.
Waah ! dekhi ka appan bachpan yaad aabi gel.
Jai maithili
हमर संस्कार हमर संस्कृती जय मिथिला जय मैथिली
हमु छोट म सामा खेले त रही... खुब याद आवे छे....
Bahut sundar sneha jii bachpan se hum hu dekhai chhalo lekin exact kahani nai bujhal chhal😊
Hamhu Silvassa sau aha ke channel ke madhayam sau aai pahil ber TH-cam ke madhayam sau dekh rahal chii aai tak gaon me ham sama dekhnahe nai chii kiyaki hamra babuji ke chutiye nai di chaii chhath me te duare
Radhe Radhe ❤
हमर ग्राम,हमर मां आ दीदी
2:30
Kon 2924 ke saama chakeba mein dekh raha hai
Hii
Maithilani kegaurav thiksama pawain
Jay mithila Jay maithil❤