Uksssc/ukpsc exam- उत्तराखण्ड का इतिहास- उत्तराखंड में पत्रकारिता का इतिहास !Uttrakhand History

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  • เผยแพร่เมื่อ 6 ม.ค. 2025

ความคิดเห็น • 199

  • @Studywithyogesh
    @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +45

    गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +5

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

    • @amitnautiyal3928
      @amitnautiyal3928 4 ปีที่แล้ว

      1912 से इसका सम्पादन विश्वम्भर दत्त चंदोला ने किया।

    • @vineetapandey2668
      @vineetapandey2668 3 ปีที่แล้ว

      Sir uttrakhand ka 1st hindi paper kaun hoga ,samay Vinod ya garwal samachar (date wise to samay h but books m garwal samachar patra btaya h)

    • @manishanegi66
      @manishanegi66 3 ปีที่แล้ว

      @@vineetapandey2668 samay vinod

    • @poonamgujjar1
      @poonamgujjar1 2 ปีที่แล้ว

      Glt kya padhaya jo yaha likhaya wahi to video m btaya h.girja prasad hi to sahi krna tha onli🤔

  • @Studywithyogesh
    @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +18

    आज की वीडियो देखते टाइम नोट्स बनाने के लिए 4 पेज सलेक्ट करना, सबसे पहले पेज में अल्मोड़ा जिले से संबंधित, दूसरे पेज में गढ़वाल से सम्बंधित, तीसरे पेज में अन्य से सम्बंधित और अंतिम पेज में विविध तथ्य लिखना... ये आज की वीडियो के साथ साथ इसके दूसरे भाग के लिए जो कि कल आएगा से सम्बंधित होगा.....उसका इंतज़ार कीजिये, और जितने भी फैक्ट है वो उसमे कवर हो जाएगा... बाकी आप लोग लाइक, कमेंट और शेयर कर दीजियेगा, यही आप लोगों की फीस हैं...😊😊

    • @amitnautiyal3928
      @amitnautiyal3928 4 ปีที่แล้ว

      Thnq sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @geetkatyura5434
    @geetkatyura5434 3 ปีที่แล้ว

    Sir ap itne ache se smjhate hai ki pura concept clear ho jata h, mjhe to lgta h ki kahi Sare coaching center band na ho jaye

  • @Guru1997-q9j
    @Guru1997-q9j 4 ปีที่แล้ว

    Sir mai one year se uk padh raha huun bt kabhi samanjh nahi aya...lekin apki video se sare concept clear ho gye.......thank you so mach sir......

  • @akashanil4849
    @akashanil4849 3 ปีที่แล้ว +2

    धन्यवाद गुरू जी आपकी हर एक विडियो बहुत अच्छी है । बहुत अच्छा समझाया है आपने

  • @शिक्षाक्रांति-ट5छ
    @शिक्षाक्रांति-ट5छ 4 ปีที่แล้ว +1

    बेहतरीन👌👌👌👌

  • @DevendraKumar-iw2sj
    @DevendraKumar-iw2sj 2 ปีที่แล้ว

    Good study guru ji parnam

  • @hillaura1311
    @hillaura1311 4 ปีที่แล้ว

    बेहतरीन पांडेय जी

  • @anjalikanwal8509
    @anjalikanwal8509 4 ปีที่แล้ว +7

    Thankuu sir your language is to easy by which i can easily understand the topic 😀

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @revajoshi5371
    @revajoshi5371 4 ปีที่แล้ว +1

    Important topic pda Diya sir thanku sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @ushakanyal6698
    @ushakanyal6698 4 ปีที่แล้ว +2

    Thank you so much .sir ....bhut acche se smjh aa jata hai 🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @Rajanijoshi97
    @Rajanijoshi97 2 ปีที่แล้ว +1

    Really very knowledgeable video 🙂❤️❤️❤️

  • @anildangi0213
    @anildangi0213 3 ปีที่แล้ว

    शानदार🙏👌🙏👌🙏

  • @tribhuwansingh5986
    @tribhuwansingh5986 4 ปีที่แล้ว +1

    आभार सर❤️❤️❤️❤️❤️❤️🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

    • @tribhuwansingh5986
      @tribhuwansingh5986 4 ปีที่แล้ว

      @@Studywithyogesh ok sir🙏

  • @kavitachand7239
    @kavitachand7239 4 ปีที่แล้ว +1

    thanku sir aaj ka topic bahut vehtrin tha

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @AjayKumar-jt3gq
    @AjayKumar-jt3gq 4 ปีที่แล้ว +2

    Dhnywadd guru ji☺️☺️🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @luckydalakoti7724
    @luckydalakoti7724 4 ปีที่แล้ว +2

    Thank You sir 🙏🙏 bhut achi rhi class 🙏🏻😊😊

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @pra48348
    @pra48348 9 หลายเดือนก่อน

    Thank you sir❤❤
    1st revision done ✅- 9th April 2024

  • @aniraj6702
    @aniraj6702 2 ปีที่แล้ว

    Sar aap bahut Achcha padhaate Ho

  • @minakshidhangwal7937
    @minakshidhangwal7937 2 ปีที่แล้ว +1

    Tq sir

  • @kavitaadhikari1123
    @kavitaadhikari1123 4 ปีที่แล้ว +1

    Dhanyawad 🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @varsharani5033
    @varsharani5033 4 ปีที่แล้ว +1

    Thank you sir 👌👌🙏🙏

  • @Himanshu-wy9hv
    @Himanshu-wy9hv 3 ปีที่แล้ว

    Impt information sir tqq sir 🙏🙏

  • @KISHORKUMAR-tg6nw
    @KISHORKUMAR-tg6nw 4 ปีที่แล้ว +1

    Nice Guruji 🙏🙏🙏

  • @coolpahadi8411
    @coolpahadi8411 4 ปีที่แล้ว +1

    thnku sir😊

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @MukeshSingh-op9dx
    @MukeshSingh-op9dx 4 ปีที่แล้ว +1

    Thanks Sir ji

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @karishmasingh2936
    @karishmasingh2936 4 ปีที่แล้ว +1

    Thnku sir ji 🙏

  • @vipinthapa7413
    @vipinthapa7413 4 ปีที่แล้ว +2

    Thank you sir...

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @vipinthapa7413
      @vipinthapa7413 4 ปีที่แล้ว

      Ok sir ji..

  • @pradeepsgyaanyog6918
    @pradeepsgyaanyog6918 4 ปีที่แล้ว +1

    Good job sir ji

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @pradeepthapliyal5235
    @pradeepthapliyal5235 2 ปีที่แล้ว

    NYC sir

  • @lalitatomar2445
    @lalitatomar2445 2 ปีที่แล้ว

    Thankyou sooo much sir 🙏🙏❤️❤️🤗

  • @gola1997
    @gola1997 ปีที่แล้ว

    Literally I was scared at 18:04...😢😂😂😂
    But anyways good lecture

  • @sachinrawat5804
    @sachinrawat5804 4 ปีที่แล้ว

    Dhanyabad sir ji..👏👏👏👌🙏

    • @sachinrawat5804
      @sachinrawat5804 4 ปีที่แล้ว

      Ok sir thnx

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @meghaarya5353
    @meghaarya5353 4 ปีที่แล้ว +1

    Thnq sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @pushpabisht1804
    @pushpabisht1804 4 ปีที่แล้ว +1

    Thanku sir🙏🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @kamalsuyal7987
    @kamalsuyal7987 4 ปีที่แล้ว

    Great appreciation, Nicely explained👌💐

  • @NaliniTiwari123
    @NaliniTiwari123 3 ปีที่แล้ว

    thanku do much sir ✌️✌️

  • @rashmisharma4058
    @rashmisharma4058 4 ปีที่แล้ว +1

    Thank you sir Ji 🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @harishchandranautiyal197
    @harishchandranautiyal197 4 ปีที่แล้ว +1

    Thank u so much sir 🙏🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @devbhoomi6646
    @devbhoomi6646 3 ปีที่แล้ว

    Great effort

  • @aadityasinghchaudhary7533
    @aadityasinghchaudhary7533 4 ปีที่แล้ว +1

    धन्यवाद सर 💝💝

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +2

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @shraddhasaini6531
    @shraddhasaini6531 3 ปีที่แล้ว

    Thank u sir 🙏😊

  • @HarishKumar-hd8db
    @HarishKumar-hd8db 3 ปีที่แล้ว

    Thank u sir 🙏🏻😊

  • @amitnegi8531
    @amitnegi8531 4 ปีที่แล้ว

    धन्यवाद सर जी.... 🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @poonamrathaur8383
    @poonamrathaur8383 3 ปีที่แล้ว

    Tq so much sir... ❤️❤️

  • @kirankalakoti6720
    @kirankalakoti6720 3 ปีที่แล้ว

    🤗 thank you sir 🙏🙏

  • @vandanabhardwaj974
    @vandanabhardwaj974 4 ปีที่แล้ว +4

    sir ye topic ab aaya sahi se smjh...🙏

  • @pankajdhapola2949
    @pankajdhapola2949 3 ปีที่แล้ว

    👌👌👌👌

  • @swetarawat4773
    @swetarawat4773 4 ปีที่แล้ว +1

    Utho garhwaliyo shrishak kavita ke lekhak
    Kahin prr chandra mohan ratudi pdha, aurr satya saran aapne bataya aurr kahin satyanarayan raturi h confusion ho gyaa h pls reply

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @technicalraj4713
    @technicalraj4713 3 ปีที่แล้ว

    thnks for the class sir. u r a hero

  • @pawanchand3043
    @pawanchand3043 2 ปีที่แล้ว +1

    सर उत्तराखंड का पहला प्रिंटिंग प्रेस कौन सा था ?

  • @nareshcpaneru06
    @nareshcpaneru06 4 ปีที่แล้ว

    धन्यवाद गुरु जी 🙏

  • @mamtakanwal
    @mamtakanwal 4 ปีที่แล้ว +1

    Tq sir.🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @ankitsingh-li1zr
    @ankitsingh-li1zr 4 ปีที่แล้ว

    Thanks for the videos

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @bhawanapandey5679
    @bhawanapandey5679 4 ปีที่แล้ว

    Nice sir
    👌👌👌👌🥰🥰🥰🥰🥰

  • @mohittiwari6093
    @mohittiwari6093 3 ปีที่แล้ว

    Koi bata skta h kya ki Ye topic parikshawani mai bhi hai? Index mai to ni dikhra

  • @harshitrana4407
    @harshitrana4407 4 ปีที่แล้ว

    Tq guri ji❤️🙏🙏🙏

  • @nitinnegi4986
    @nitinnegi4986 2 ปีที่แล้ว

    6k ka harzana swadheen parza pe laga tha.....shakti pe 2k ka laga tha

  • @shubhamchandra1039
    @shubhamchandra1039 4 ปีที่แล้ว +1

    Nice sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +2

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @minit8814
    @minit8814 4 ปีที่แล้ว +1

    Sir Almora akhbar ki language kumauni thi ya Hindi .
    Btane ka kast kre plzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzzz

  • @aalok661
    @aalok661 4 ปีที่แล้ว +2

    गढ़वाली 1905 देहरादून से ,,,,,
    सम्पादक गिरिजा दत्त नैथानी 🤔🤔
    (दीनबंधु प्रेस बरेली से ).....
    गढ़वाल समाचार पत्र 1902...... 1913 में दुबारा प्रकाशन किया गया 🙏🙏🙏
    (स्ट्रोवेल प्रेस दुगड्डा से).....
    विशाल कीर्ति 1913 सदानंद कुकरेती
    (बदरिकेरेश्वर प्रेस

    • @aalok661
      @aalok661 4 ปีที่แล้ว +1

      1916 से थे सम्पादक विशम्भर दत्त चन्दोला...
      क्योंकि 1910 में मतभेद होने के कारण नैथानी जी ने सम्पादन का कार्य छोड़ दिया था उसके बाद 1910 तारा दत्त गैरोला जी द्वारा सम्पादन का कार्य और 1915 में वापस से नैथानी जी बने क्योंकि पत्र मासिक से साप्ताहिक बन गया था और फिर 1916 में विशम्भर दत्त चन्दोला सम्पादक बने 🙏🙏🙏

    • @ankurrawat5102
      @ankurrawat5102 4 ปีที่แล้ว +1

      Yrr ghrwala smchar patr ki date aapna thk likhi h kya

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      Wait for next part

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      Wait for next part

    • @aalok661
      @aalok661 4 ปีที่แล้ว +2

      दुबारा प्रकाशन 1913 में गढ़वाल समाचार पत्र😅😅🙈🙈🙏🙏🙏

  • @SaurabhKumar-ib4go
    @SaurabhKumar-ib4go 4 ปีที่แล้ว

    Thank u so much sir

  • @neerajsingh1590
    @neerajsingh1590 4 ปีที่แล้ว +1

    nice guru ji

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @poojabhatt662
    @poojabhatt662 4 ปีที่แล้ว

    thank u sir ji

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @e-gurukulncertstuff
    @e-gurukulncertstuff 2 ปีที่แล้ว

    thankyou sir

  • @princebisht871
    @princebisht871 4 ปีที่แล้ว

    Thanks you

  • @tapasrana5990
    @tapasrana5990 3 ปีที่แล้ว

    संपूर्ण उतराखंड का इतिहास देना

  • @deepstudy837
    @deepstudy837 4 ปีที่แล้ว

    Thank you

  • @hemantkumar9951
    @hemantkumar9951 4 ปีที่แล้ว

    Nice

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @himanidwivedi4283
    @himanidwivedi4283 4 ปีที่แล้ว +1

    Tq síŕ 👏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @poojaupreti1199
    @poojaupreti1199 4 ปีที่แล้ว +1

    😊😊😊🙏🏻🙏🏻

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @kamnasharma246
    @kamnasharma246 4 ปีที่แล้ว

    Sir गाड़ी सड़क आंदोलन 1940 पढ़ा है मैंने

  • @vikaskumar-mu2ik
    @vikaskumar-mu2ik 4 ปีที่แล้ว +1

    😊😊

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @uttrakhandkibetihimachalkibahu
    @uttrakhandkibetihimachalkibahu 4 ปีที่แล้ว

    Shakti news paper 1918 me nikla sir date bta do

  • @stenographywithbhawnapitho1294
    @stenographywithbhawnapitho1294 4 ปีที่แล้ว

    🙏🙏thnx sir ji

  • @deepakbisht5658
    @deepakbisht5658 4 ปีที่แล้ว

    गढ़वाली समाचार पत्र का प्रकाशन 1912 में विशंभर दत्त चंदोला ।

  • @srishtyupadhyay27
    @srishtyupadhyay27 4 ปีที่แล้ว

    Thnq sir 🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @srishtyupadhyay27
      @srishtyupadhyay27 4 ปีที่แล้ว

      .🙏

  • @swetarawat4773
    @swetarawat4773 4 ปีที่แล้ว +1

    🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @foody4059
    @foody4059 4 ปีที่แล้ว +1

    👌👌👌🙏🙏🙏

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @foody4059
      @foody4059 4 ปีที่แล้ว

      @@Studywithyogesh ok

  • @ashtamirawat439
    @ashtamirawat439 ปีที่แล้ว

    😊👏👏👏💗

  • @rituuniyal6859
    @rituuniyal6859 3 ปีที่แล้ว

    Sir kb se padana shuru kiya aapne

  • @Learntoeasy29
    @Learntoeasy29 4 ปีที่แล้ว +2

    Sir Garhwali 1905 ......Girja Datt Nathani ne start kiya tha or 1912 se Vishambar Datt Chandola ne chlya tha....pls next vedio m btna iske bare m

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      Next video aa jayegi kl....wo bn chuki h..ye sab btaya gya h usme...wait kijiye

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @Learntoeasy29
      @Learntoeasy29 4 ปีที่แล้ว

      Ha sir baad m apne correct kr diya tha vedio m

  • @shilpikhatri462
    @shilpikhatri462 4 ปีที่แล้ว +1

    Okk sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

    • @shilpikhatri462
      @shilpikhatri462 4 ปีที่แล้ว

      Thank you so much sir 🙏

  • @minakshikm4930
    @minakshikm4930 4 ปีที่แล้ว +1

    Sir 741post ka exam kB tk hoga

  • @kavitamehra22
    @kavitamehra22 4 ปีที่แล้ว

    👍👍

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      शायद 11.40 पर आज की वीडियो में बोलने में युगांतर हुआ है, उसे युगवाणी कर देना...बाकी उसके तथ्य सही है..😊

  • @sidhepahadse2164
    @sidhepahadse2164 3 ปีที่แล้ว

    Almora akhbar saptahik 1913 m kia gya jab badri dat panday ne iska smpadan kia

  • @rohitjoshi5099
    @rohitjoshi5099 4 ปีที่แล้ว +1

    Sir book kon se lu group c k liye gram Vikas Adhikari ki post ke liye kaun si best book rahegi

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @renukasharma338
    @renukasharma338 4 ปีที่แล้ว +1

    Sir ek din Mai kitne topic padhate hain aap

  • @nileshsammal5198
    @nileshsammal5198 4 ปีที่แล้ว

    Sir ji गढवाली पत्रिका के जनक और भीष्म पिता एक ही है किया

  • @Monusah146
    @Monusah146 3 ปีที่แล้ว

    सर गढ़वाल समाचार का प्रथम चरण किसी किताब में 1901 दिया है।

  • @g.s.upadhyay1949
    @g.s.upadhyay1949 4 ปีที่แล้ว

    Jo sir phle pde the wo alag tha kya topic???

  • @neerajkohli9006
    @neerajkohli9006 4 ปีที่แล้ว

    Thanks a lot sir ❤️😊

  • @mradalinirathour4663
    @mradalinirathour4663 4 ปีที่แล้ว +1

    Sir ek confusion hai.... Girja datt nethani Or Girja prasad nethani... Do alag log hai ya... Different book me different likha hua hai

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +2

      Ek he h

    • @mradalinirathour4663
      @mradalinirathour4663 4 ปีที่แล้ว +1

      Ok tnk u sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว +1

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)

  • @ULTIMATEVLOGGERB
    @ULTIMATEVLOGGERB 4 ปีที่แล้ว

    ❤️❤️❤️❤️

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)...वैसे आने वाली वीडियो में बताया गया है

  • @nehasaini2774
    @nehasaini2774 4 ปีที่แล้ว +1

    ji sir

  • @9759486052
    @9759486052 3 ปีที่แล้ว

    Sir samay vinod 1867 btaya h previous video me or isme 1868 thoda confusion hai sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  3 ปีที่แล้ว +1

      1868

    • @9759486052
      @9759486052 3 ปีที่แล้ว

      @@Studywithyogesh thank you sir ❤️

    • @deepakkhatri4515
      @deepakkhatri4515 3 ปีที่แล้ว

      @@Studywithyogesh band kab hua tha sir ye

  • @P.S.P-69
    @P.S.P-69 2 ปีที่แล้ว

    Halo

  • @rohitjoshi4364
    @rohitjoshi4364 4 ปีที่แล้ว +1

    सर गिरीश तिवारी गिर्दा हैं और गौर्दा लोकरत्न गौरी दत्त पांडे को कहा जाता है

  • @प्रकृतिकीसौंदर्यकेकुछखंड

    🙏🙏🙏🙏👌👌👌👌👌💯💯💯🆗🆗

  • @Saurabhmonugoswami17922
    @Saurabhmonugoswami17922 4 ปีที่แล้ว +1

    Hllo sir

    • @Studywithyogesh
      @Studywithyogesh  4 ปีที่แล้ว

      गढ़वाली- 1905 में.... इसके मुख्य रूप से 3 संपादक हुए, जिनमें गिरजा प्रसाद नैथाणी , तारा दत्त गैरोला, विश्वंभर दत्त चंदोला थे... इसे शुरू गिरजा प्रसाद जी ने किया था जबकि इसका सबसे लंबे समय तक संपादन चंदोला जी ने किया.....(आप लोग इस पॉइंट को सही कर लेना)