रोहित त्याग की मूर्ति बन कर अपनी मित्र सविता के पास चला गया क्योंकि रोहित एक दिव्य आत्मा था। सविता का बचपन का वास्तविक मित्र रोहित यथार्थ में दैवत्व का एक उत्तम उदाहरण था। उसके माता - पिता न होने के कारण वह वियोग की व्यथा जानता था। उत्तम जीवनसाथी, उत्तम पिता का अद्वितीय दृष्टांत था रोहित।
Bahut achche kahani hai ❤😂❤❤
Thanks ji 🙏🙏
Nice story❤❤
pasand। h। ❤❤
बहुत सुंदर कहानी है
Thanks ji 🙏🙏
Nice story di❤❤❤❤❤
Thanks ji 🙏🙏
Nice story lmaoslan hai ❤ko chu gai yerr ,
Thank you ji 🙏🙏
बहुत बढ़िया लगी
Thank you ji 🙏🙏
❤😂❤ very good and nice story ❤😂❤
Nice story ❤ teaching ❤🎉
Many many thanks 🙏🙏
Prachi to nalayak thee hi devansh bhi nalayak nikla. Baad me rone se kya hota hai
Nice
Thanks 🙏🙏
Bahut ajeeb
काबिलेतारिफ काहानी
Thanks ji 🙏🙏
रोहित त्याग की मूर्ति बन कर अपनी मित्र सविता के पास चला गया क्योंकि रोहित एक दिव्य आत्मा था।
सविता का बचपन का वास्तविक मित्र रोहित यथार्थ में दैवत्व का एक उत्तम उदाहरण था। उसके माता - पिता न होने के कारण वह वियोग की व्यथा जानता था। उत्तम जीवनसाथी, उत्तम पिता का अद्वितीय दृष्टांत था रोहित।
धन्यवाद जी अपने विचार व्यक्त करने के लिए 🙏🙏🙏
Aise beta bahu dushman ko naa mila
Kahani Acchi hai Lakin Ghar Nhi Dena Chahiye tha
🙏🙏
Nice story hai
Very sad story 😊😊😊
Thank you ji 🙏🙏
Ma baap aulaad pat kyu bharosa karte hai
Or prachi ka kya hua
Prachi ko kya punishment mili...???
Kiddish
Achi nahi lagi