साधारणीकरण | ‘साधारणीकरण’ से संबंधित प्रमुख व्याख्याकार एवं उनके मत |
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- เผยแพร่เมื่อ 4 ก.พ. 2025
- साधारणीकरण का अर्थ है - असाधारण का साधारण या विशेष का निर्विशेष हो जाना | कवि और पाठक की चित्तवृत्तियों का एकतान या एकलय हो जाना अथवा दोनों में ‘मैं’ ‘पर’ के द्वैध का दूर हो जाना साधारणीकरण है |
जैसे - मंच पर चल रहे यशोदा -
कृष्ण के प्रसंग में यशोदा कृष्ण के प्रति वात्सल्य भाव का अनुभव करती है और इस नाटक को देखने वाले दर्शक भी उसी वात्सल्य भाव का अनुभव करते हैं | अर्थात् कृष्ण केवल यशोदा के पुत्र न रहकर सबको अपने पुत्र प्रतीत होने लगते हैं | यही साधारणीकरण है |
‘साधारणीकरण’ से संबंधित प्रमुख व्याख्याकार एवं उनके मत
1 भट्टनायक -आचार्य भट्टनायक ने ‘भावकत्व’ को साधारणीकरण माना है | उनके अनुसार-
“भावकत्वं साधारणीकरणं | तेन ही व्यापारेण
विभावादय: स्थायी च साधारणी क्रियन्ते |”
अर्थात् भावकत्व ही साधारणीकरण है | इस व्यापार से विभावादि और स्थायी - भावों का साधारणीकरण होता है | साधारणीकरण से पहले दर्शक दुष्यंत, शकुंतला आदि को व्यक्ति विशेष के रूप में ही ग्रहण करता है, किन्तु साधारणीकरण के पश्चात् इनका विशेषत्व समाप्त हो जाता है तथा वे सामान्य प्रतीत होने लगते हैं |
2 अभिनवगुप्त - इनके अनुसार विभावादि के स्थायीभाव का साधारणीकरण होता है | साथ ही, उनके अनुसार सामाजिक की अनुभूति का भी साधारणीकरण होता है | अभिनवगुप्त के अनुसार साधारणीकरण के दो स्तर माने जाते हैं -
1 पहले स्तर पर विभाव आदि का व्यक्ति विशिष्ट संबंध टूट जाता है |
2 दूसरे स्तर पर सामाजिक (दर्शक) का व्यक्तित्व बंधन नष्ट हो जाता है |
3 आचार्य विश्वनाथ - विश्वनाथ के अनुसार -
“परस्य न पस्येति ममेति न ममेति च |
तदास्वादे विभावादे: परिच्छेदो न विद्यते ||”
अर्थात् विभावादि का अपने पराये की भावना से मुक्त हो जाना साधारणीकरण है | विभावादि के संबंध में ये मेरे हैं अथवा ये मेरे नहीं हैं, दूसरे के हैं अथवा दूसरे के नहीं हैं, इस प्रकार का विशेषीकरण नहीं होता है |
4 जगन्नाथ - पं. जगन्नाथ का यह मत है कि न साधारणीकरण कोई वस्तु है और न किसी का किसी का किसी के साथ साधारणीकरण होता है | काव्यानुभूति भ्रमजनित है |
5 आचार्य रामचंद्र शुक्ल - शुक्लजी ने आलंबन धर्म का साधारणीकरण होना कहा है | आलंबन का अर्थ है - भाव का विषय | भाव का साधारणीकरण इस प्रकार होता है कि पहले वह कवि के भाव का विषय बनता है फिर समस्त सहृदयों के भाव का विषय बनता है |
6 डॉ. नगेन्द्र - इन्होंने कवि की अनुभूति का साधारणीकरण माना है | इनके मत में निम्न बिंदु हैं -
1 साधारणीकरण कवि की अपनी अनुभूति का होता है | अर्थात् जब कोई व्यक्ति अपनी अनुभूति को इस प्रकार अभिव्यक्त कर सकता है कि वह सब के हृदय में समान अनुभूति जगा सके तो उसमें साधारणीकरण की शक्ति विद्यमान है | कवि को लोक हृदय की पहचान होती है | इसलिए वह किसी विषय को इस रूप में प्रस्तुत करता है जिससे कि सबकी अनुभूति को जगा सके |
2 विषय का रूप तो अज्ञात ही रहता है किन्तु कविगण अपनी - अपनी भावना के अनुरूप उसका वर्णन करते हैं | कवि की इसी भावना का साधारणीकरण होता है | पाठक भी कवि की साधारणीकृत भावना का आस्वादन करता है |
सारांश - उपर्युक्त सभी मतों के आधार पर साधारणीकरण में सारांशत: निम्न तीन बातों का समावेश किया जा सकता है -
1 साधारणीकरण आलंबनत्व धर्म का होता है |
2 साधारणीकरण कवि की अनुभूति का होता है |
3 साधारणीकरण सहृदय पाठक या श्रोता के चित्त का होता है |
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Tnxx mam 🎉
Mam aapki video mere bhot helpful rahi thank you so much mam....😌😌😌
Nice Explain 👍👍
Ye metar konsi books se liya gya h medam ji
मैडम में एक IGNOU स्नातकोत्तर के अंतिम वर्ष की छात्रा हुं और मेरे सिलेबस के हिसाब से कुछ विषय आपके चैनल में उपलब्ध हैं और कुछ नहीं या में देख नहीं पा रही जैसे कि हिन्दी काव्य , उपन्यास का स्वरूप और विकास, भाषा विज्ञान इत्यादि कृपया इन विषयों पर भी विडियो बनाइए mam क्योंकि आपके विडियो से नोट बनाने में बहुत आसानी होती है धन्यवाद
Hindi Kavya per video uplabdh hain .
Poonam ji mai bhi IGNOU finel year ka student hu pls aap apne notes mujhe send kar dogi pls help ho jaygi
Pdhane ke trike ke sath sath aapki awaj bhi bhut sundr hai mem & thanks SO much
thanku kusum mam tommorow is my exam this very helpful ❤
Thank you so much mam❤🎉
रस सिद्धांत पर vedos दीजिए
Please regular rakho mam
समय के आभाव के करण नियमित विडियो पोस्ट करना संभव नहीं हो पा रहा है | परन्तु कोशिश जारी रहेगी |
Mam, gathay our bhi video banaye app ki video bahut hi la j wab hoti hai
Nic vedos mam
Thank you
Thanku ma'am 🙏
Bahut bahut shukriya
Thank you mam maine PG first semester ke liye dekha hai aap ke 3,4 vedio bahut hi aache hai
Mam honours ka Sara topic uploaded kijiye plz
Mam please aap alangkar ke siddhant aur alangkar aur alangkarya ke video daliye na mam
Mam बहुत अच्छी अभिव्यक्ति l aap ke samjhane ka tarika bahut achchha h
Thank you mam
हेलो मैडम क्या आपके ये उत्तर हम इग्नू वर्णनात्मक लिखा सकता हूं क्या
🙏👍
Nice video thanku so much 💜
Bohut sundar or simple Tarike se samjhaya apne Mam. Bohut bohut Dhanyavad
Thank u ma'am