प्रदीप जी वर्तमान राजनितिक तथ्यों को परिपक्वता के साथ पिरोकर रखने के लिये आप को धन्यवाद। बाला साहब के समय मातो श्री तक कुर्सी जाती थी। अब मातो श्री कुर्सी के लिये भाग रही है। भाजपा और एकनाथ शिंदे की पार्टी वीर सावरकर पर कांग्रेस की सोच व उधव ठाकरे की औरंगजेब की मजार पर चादर चढ़ाने को जितना भुना लेगी। चुनाव में फायदा उतना ही होगा।
शरद पवार और राहुल गांधी का फैसला साफ है कि अगर महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में एमवीए(महा विकास अघाड़ी) जीतेगी तो उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र के अगले मुख्यमंत्री नहीं बनेंगे-नहीं बनेंगे-नहीं बनेंगे वैसे भी उद्धव ठाकरे की हैसियत नहीं हैं मुख्यमंत्री बनने की
अति उत्तम विमर्श की बात किया है आपने प्रदीप जी, कहते हैं जो बाप कि नहीं हो सकता है, और किसी का नहीं हो सकता है। उद्धव ठाकरे ने बाला साहेब ठाकरे कि एक भी बात नहीं रखें, तो बाप श्राप तो जरूर लगा। जिस कंरेछ पार्टी को बाप ने थुका था उद्धव ठाकरे ने वही चाटने गया था, और आज कहीं का भी नहीं रह गया।
आपका कल रात का episode एक दम sachot है। मै भी मुस्लिम समुदाय के बीच काम करने वाले लोगों के साथ काम कर रहा हूं मुस्लिम समुदाय को ये बात पता है कि वे कभी हिन्दू ही थे।
प्रणाम प्रदीपजी आप की विचारधारा आपकी वाणी आपकी भाषा शैली का कोई जोड़ नहीं है l jb आप बोलते हैं तो यही प्रतीत होता है कि सब यही घटने वाला है l🎉 पुनः प्रणाम l
100% आपकी बात अगर भाजपा चिन्तन करे जहा उध्दव ठाकरे की पार्टी लड़े वह सीट शिवसेना शिन्दे की पार्टी को दे दे अपने जहा कान्ग्रेस, एन सी पी हो वहा उम्मीदवार दे तो सफलता तय है,हिन्दुत्व वोटो का बटवारा नही होगा,
अत्यधिक सुंदर , सटीक और पारदर्शिता से भरा हुआ विश्लेषण ,जिया हो बिहार के लाला आप जैसे राजनीतिक ज्ञान और ज्ञानवर्धक विद्वान आप जैसे की देश को बहुत बहुत जरूरत है❤❤❤❤❤❤❤❤❤❤
इस सबके लिए ""मुख्यमंत्री बनने "" का बीज NCP ने संजय राऊत को टूल किट बनाकर उद्धव ठाकरे में ""मुख्यमंत्री बनने "" का बीज रोपण करके हैंडलर की इच्छा पूरी कर ली थी।
उद्धव ठाकरे के पास बचे हुए, शिव सैनिकों ने, देश की आज की स्थिति देखकर कर, एकनाथ शिंदे के हाथ मजबूत करने चाहिए__ सत्ता भी मिलेगी, लेकिन जब देश बचेगा तो__
प्रदीप सिंह जी आपका विश्लेषण सटीक है कि जो सिद्धांत से दूर हो जाता है उसे नुकसान उठाना पड़ा है अब उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र की राजनीति से अलग थलग हो गया है क्या भविष्य होगा देखना चाहिए. जय हिंद जय भारत
महाराष्ट्र राज्य की राजनीति पर आधारित बहुत ही अच्छी और महत्वपूर्ण जानकारी है यह। सारे ही स्वार्थी नेता हैं। सबकी अपनी अपनी महत्वाकांक्षा है। खिचड़ी सरकार का नुकसान तो जनता को उठाना पड़ता है। वास्तविकता से साक्षात्कार कराने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद आपको आदरणीय प्रदीप सिंह साहब। जय श्री राम।
Muslims voted enmasse to the person who claims to have demolished Babri " Masjid" 😂 only to defeat BJP. BJP should do ab sabke saath sabka hisaab. hisab
उद्धव की सत्ता लोलुपता ही इन सब बातों का मुख्य कारण है। उद्धव जैसे चल रहे थे वैसे ही चलते रहते तो शिव सेना का बालासाहेब ठाकरे जी वाला स्टेटस बना रहता और उद्धव का पतन भी नहीं होता। पिता का नाम स्वाभिमान हिंदुत्व का मुखौटा तोड़ने का फल तो यही होना था।
प्रदीप सिंह सर जी कल के लेख मे आप ने बहुत ही सटीक रूप मे कहकर समझा दिया ये सुनने बाले को समझाना होगा ओर जो न समझ पाये उसका कुछ नही कर सकते सिर्फ कह सकते है
प्रदीपजी, बहुत ही उत्तम विश्लेषण किया है आपने। आपसे निवेदन है कि संदीप चौधरी के सीधा सवाल में मत जाया करें, जो उनके फेवर में ना बोले उसे मौका ही नही देते पूरी बात बोलने का।
@@mahavirbothra1620 जी, कंगना का साथ न देना, राहुल का जाती के नाम पर देश की सेना व् रेलवे के कर्मचारियों में जहर घोलना और बांग्लादेशी व् बंगाल के हिन्दुओ के लिये कुछ न करना इत्यादि बहुत से कारण हो रहे है भी
सत्य - आज के परिदृश्य में केवल योगी आदित्य नाथ जी ही भारत के प्रधानमंत्री बनने के योग्य हैं क्योंकि केवल योगी जी ही भारत के अंदर और बाहर दृढ़ इच्छाशक्ति वाले निर्णायक प्रशासनिक कदम उठा सकते हैं 🟠🇮🇳🟠
महाराष्ट्र में अगर भाजपा को अपनी शक्ति वापस लानी है उसको शिंदे सेना के साथ हिन्दुत्व अपनाना होगा...और तुष्टीकरण करने वालों के खिलाफ मजबूत प्रचार करना होगा.
अति महत्वकांछा कभी कभी मुसीबत का कारण बनती है।अब उद्धव जी जब अपने।पिता के नही हुए तो बीजेपी के केसे हो सकते है।अपनी हिंदुत्व की विचार धारा छोड़ने के बाद उनका पतन होना निश्चित है। अब उद्धव जी की विस्वमीयता समाप्त हो चुकी है। दाद में खाज वाली कहावत संजय रावत ने पूरी कर दी। जितना उग्रता उद्धव जी ने दिखाई उससे कई उग्रता संजय रावत ने दिखाई।बीजेपी और मोदीजी पर सब से अधिक हमला किया अब इनका परिणाम है की बीजेपी में उद्धव जी का महत्व समाप्त हो चुका।दोनो को नुकसान महाराष्ट्र में हुआ।
सर प्रणाम। गणेश चतुर्दशी की आपको सपरिवार शुभ कामनाऐं। जै बद्रीविशाल जी। उद्दव ठाकरे का राजनैतिक पतन हो चुका सर। अब वो कभी महाराष्ट्र की राजनीति में पंवार व राहुल के तलवे चाटने पर मजबूर होंगें।
Bangladesh ke Bengalis ko bhi achi taraha pata hai waha hi du hi thei lakin hindu ko chain se rahne nahi denge.inka dharmik educational attitude inko barbaad kar raha hai otherwise kahi koi dikkat nahi koi bhi rahe kahi bhi rahe.parantu ye soch ki ham duniya mai kahi bhi rah sakte hai lakin dusro ko na jeene ka adhikar denge na dharmik pahachan.to phir sareef log jab tak shant hai theek hai lakin Puri duniya mai jo mahol badal raha hai.achi civil life ke liye chinta janak hai. Khichar ko saf karne ke liye khichar mai hi Jana padega.
आदरणीय आपका विश्लेषण सदा ही यथार्थपरक होता है लेकिन मुझे लगता है कि गुजरात बनाम महाराष्ट्र का मुद्दा हावी रहा जिससे भाजपा को भारी नुकसान हुआ सादर प्रणाम व शुभकामनाएं
प्रदीप सिंह जी जैसे मुसलमानो ने उद्धव ठाकरे के घर को घेरा कि आपने वक्फ बोर्ड के मामले में साथ नहीं दिया तो हिन्दू भी सभी सटेट में अपने-अपने नेता को घेरे कि तुम हमारे पक्ष में बोलो , हमारा साथ दो
सरजी,ए जमीन नहीं गमले में थे। जमीन उसकी कहानी है जो सुरू से/जो लगातार एक जमीन/एक ही स्थान पर जहां अंकुर फूटी वहीं पर स्थित,/स्थिर रहे। धन्यवाद जयहिंद नमस्कार
प्रदिपसिंहजी नमस्कार सार्वजनीक जीवन मे रहते वकृत्व और कर्तृत्व की बहूत जरुरत है .जब भी राजनीती के बारे मे महाराष्ट्र का जब भी नाम आता है तो बालासाहब ठाकरे को याद किया जाता है .एक ऐसी व्यक्ती ना कभी सत्ता मे शामिल हुई और ना कोई चुना लढा पर उनके भाषण सुनने पुरा उत्सुक रहता था उनके भाष्य की चर्चा होती थी वो ऐसे व्यक्ती थे जो अपने हिंदू के अजेंडे से कभी समझौता नही करते थे . जब भी किसी राजनेता को उनसे मिलना होता या कोई मिटींग करनी होतो वो कभी किसी होटल या अन्य जगह नही जाते थे बल्की उनके घर मातोश्री जाना पडता था चाहे कितना बडा भी नेता क्यो ना हो वह पहले उनसे मुलाखात का वक्त मांगते थे बालासाहब की शैली विषेश थी वो कट्टरता वाले हिंदू बोल बोलते थे किसी का मुलाहेजा नही रखते .जब भी उनका भाषण होता तो हिंदू मे एक तरह की उर्जा भर जाती थी उनकी इसी शैली से महाराष्ट्र की जनता उनसे जूडती गयी .उन्होने नीचे नीचे लोगो को नेता बनाया .हिंदू जागृती का पहला काम करने वाले वह पहले थे . अपने घर पर रहकर उन्होने अपनी संघटना खडी की थी .काग्रेस के खिलाफ उनका तीखे शब्दो वाला भाष्य रहता था . महाराष्ट्र के राजकारण मे शरद पवार बडा नाम था पर वो भी उनका मुकाबला कर पाये . सत्ता के बाहर रहकर भी सहकारी भाजप को भी उनसे पूछे बगर कोई निर्णय नही होता था . जैसे कोई व्यापारी अपने व्यवसाय मे अपना एक ब्रॅन्ड या नाम करती है और उसका फायदा उसकी अगली पीढी लेती और उसे ओर बढाने मे कुछ नया करके आगे बढाती है और उस पथ हात न लगाकर उसी शैली मे रखती उस तरह बालासाहब के बेटो को नही करते आया इसको वकृत्व और कर्तृत्व कहते है . आज उनका व्यवहार देखकर उनकी शैली उनकी टायमिंग उनके निर्णय किसी बालक के भाती लगते है . उमर से बढे तो है पर हरकते बच्चो जैसी है . बालासाहब का वैशिष्ट यह था की वह कभी किसी पार्टी दप्तर या किसी नेता के घर नही गये .जीन को मिलना है वह उनके द्वार जाना पडता था . किसी भी आंदोलन मे वो आगे नही रहते थे बल्की उनके एक आदेश पर उनके कार्यकर्ता उस आंदोलन को छेडते थे .पर उनके बेटे ने उनके इस अंदाज को बदलकर खुद ही किसी पार्टी के दप्तर किसी नेता के घर या द्वार द्वार घुमते दिख रहे है उनके इस व्यवहार से उन्होने उस शैली को उस राजकिय धाक को खो दिया और अपनी पत अपनी पार्टी के पकड को दुसरे को हाथो की कठपूतली बना दिया .बालासाहब कि उस मेहनत पर पाणि फेर दिया और महाराष्ट्र मे काग्रेस को मजबूत बनाने मे हातभार लगा दिया जीसका अस्तीव महाराष्ट्र मे खत्म हो रहा था जीस के कोई बडा नेता वहा नही था . अपने हातो उनके बेटेने अपनी पार्टी को दरबदर भटकने को मजबूर किया ..
आदरणीय प्रदीप सिंह जी सादर प्रणाम। आज ठिकरा की हालत "धोबी के कुत्ते के समान है ना घर का ना घाट का" जैसे राहुल विंची थुक कर कई बार चाटा वैसे ही ठिकरा कई बार थुक कर चाटेगा।
महाराष्ट्रकी राजनितीका आपणे बहुत सटीक विश्लेशन किया .....!! इतनी गहरी राजकीय मालुमात तो किसी महाराष्ट्रके पत्रकारोने भी कभी इतनी स्पष्टता नही दिखायी ..... आपका धन्यवाद .......
NCP और कांग्रेस जानती है जो व्यक्ति 25 साल पुराने साथी के साथ दगाबाजी कर सकता है वह उनके साथ तो कभी भी दगाबाजी कर सकता है, इसलिए दोनो ही दलों ने इनको कोई भाव नहीं दिया।
शरद पवार जिसको बरबाद करना होता हैं उसके दुश्मनी के बजाय उसके कंधे पर हाथ रखकर दोस्ती करते हैं और उस को भरोसा दिलाते हैं "मैं हूं ना"और कब कंधे से हाथ हटाते हैं पता नहीं चलता मतलब उस व्यक्ती की हालत "धोबी के कुत्ते जैसी हो जाती है"! मैं इधर जाऊ या उधर जाऊ!
@@ajitsinha1011 महाराष्ट्र की जनता सोच रही कब छुटकारा मिलेगा! राजनिती में जितने भी गंदे काम हैं इस ने शुरू किये यह सत्ता और पैसे का दोस्त हैं! उसके लिये कुछ भी!
महाराष्ट्र में शिवसेना (ठाकरे गुट) के श्री उद्धव ठाकरे जी का मुद्दा प्रमुख रूप से पारिवारिक हैं और अपने पुत्र को प्रत्येक परेशानी से बचाए रखना चाहते हैं। इसके लिए श्री उद्धव ठाकरे जी ने हर हाल में CM बनना।
प्रदीप जी वर्तमान राजनितिक तथ्यों को परिपक्वता के साथ पिरोकर रखने के लिये आप को धन्यवाद। बाला साहब के समय मातो श्री तक कुर्सी जाती थी। अब मातो श्री कुर्सी के लिये भाग रही है। भाजपा और एकनाथ शिंदे की पार्टी वीर सावरकर पर कांग्रेस की सोच व उधव ठाकरे की औरंगजेब की मजार पर चादर चढ़ाने को जितना भुना लेगी। चुनाव में फायदा उतना ही होगा।
जय श्री राम 🌹🌹🙏
मजारों पर चादरपोशी भी चुनाव में वोट भुनाने के लिए हीं की गई, औरंगजेब भला किस भारतीय का आदर्श हो सकता है शिवाय कुछ मुसलमानों के?
Uddhav ठाकरे को यदि लोकसभा में मुस्लिम वोट ना milta तो एक भी seat नहीं milti
अति महत्वाकांक्षी व्यक्ति का यही हश्र होता है। उद्धव ठाकरे इसका एकमात्र उदाहरण नहीं है। राजनीति में ऐसे अनेक उदाहरण मिल जाएँगे।
जय श्री राम 🌹🌹🙏
@@rameshwaramtiwari6748 अति घाई संकटात नेती.
शरद पवार और राहुल गांधी का फैसला साफ है कि अगर महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में एमवीए(महा विकास अघाड़ी) जीतेगी तो उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र के अगले मुख्यमंत्री नहीं बनेंगे-नहीं बनेंगे-नहीं बनेंगे
वैसे भी उद्धव ठाकरे की हैसियत नहीं हैं मुख्यमंत्री बनने की
अति उत्तम विमर्श की बात किया है आपने प्रदीप जी, कहते हैं जो बाप कि नहीं हो सकता है, और किसी का नहीं हो सकता है।
उद्धव ठाकरे ने बाला साहेब ठाकरे कि एक भी बात नहीं रखें, तो बाप श्राप तो जरूर लगा। जिस कंरेछ पार्टी को बाप ने थुका था उद्धव ठाकरे ने वही चाटने गया था, और आज कहीं का भी नहीं रह गया।
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
सुंदर, सटीक विश्लेषण । हिन्दुत्व को छोड़ने का नतीजा है कि उद्धव ठाकरे आज कहीं के नहीं रहे । अभी उनका और दुर्दशा होना बाकी है ।
जय श्री राम 🌹🌹🙏
आपका कल रात का episode एक दम sachot है।
मै भी मुस्लिम समुदाय के बीच काम करने वाले लोगों के साथ काम कर रहा हूं
मुस्लिम समुदाय को ये बात पता है कि वे कभी हिन्दू ही थे।
करा लो घर वापसी देखे मानते है 😄
@@lalchandlohana3479ye koi fake id se comment kar raha hai jisko aap ne reply Kia hai.
एक बार सुलेमानी जादू से जब उनके चक्र बांध दिए जाते है फिर वो केवल और केवल खलीफात के लिए जीने लग जाते हैं
जय श्री राम 🌹🌹🙏
कभी भी पीर बाबा दरगाह मजार का भारत में कोई लेना देना नहीं है कोई संबंध नहीं है।।
हम तो सिर्फ मस्जिद मदरसा मजार मुक्त चाहते हैं।।।
अब राजनीति नीति और सिद्धांत की नहीं सुख ,सुविधा और अवसरवादिता की हो गई है ,ईश्वर जनता की रक्षा करें ,Jai hind
आप शरद पवार की चिंता ना करे प्रदीप जी
अभी तो बहुत देखना है अपने-आप म्रत्यु पूर्व।
यथा कर्म तथा फलम् बाकी है।
जय श्री राम 🌹🌹🙏
सुन्दर सारगर्भित विश्लेषण।
प्रणाम प्रदीपजी आप की विचारधारा आपकी वाणी आपकी भाषा शैली का कोई जोड़ नहीं है l jb आप बोलते हैं तो यही प्रतीत होता है कि सब यही घटने वाला है l🎉
पुनः प्रणाम l
सर जी नमस्कार मैं आपका हर प्रोग्राम देखता हूं इतना अच्छा विश्लेषण उद्धव ठाकरे के बारे में आज तक कोई नहीं किया था जो आपने कर दिया
जय श्री राम 💐💐🙏
हमारे मोहहल्ले की बात है.आप वाहा से 100 % सही बता रहे हैं.ग्रेट....... सर.
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
100% आपकी बात अगर भाजपा चिन्तन करे जहा उध्दव ठाकरे की पार्टी लड़े वह सीट शिवसेना शिन्दे की पार्टी को दे दे अपने जहा कान्ग्रेस, एन सी पी हो वहा उम्मीदवार दे तो सफलता तय है,हिन्दुत्व वोटो का बटवारा नही होगा,
उद्धव कुर्सी के लिए यदि परिवार सहित इस्लाम में दीक्षित हो जाएं तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए।
शिवसेना का bedagark संजय राउत ने किया है Udav ठाकरे संजय राउत के कहने पर चल रहा है ❤
Khud theekre ban gaya hai
True😂😂😂
Nahi. Dono sath chal rahe hain
सही कहा 👍 लेकिन शिवसैना भी तो हाथ से निकल गई। भाई बुरी तरह ठगाया।
अत्यधिक सुंदर , सटीक और पारदर्शिता से भरा हुआ विश्लेषण ,जिया हो बिहार के लाला आप जैसे राजनीतिक ज्ञान और ज्ञानवर्धक विद्वान आप जैसे की देश को बहुत बहुत जरूरत है❤❤❤❤❤❤❤❤❤❤
इस सबके लिए ""मुख्यमंत्री बनने "" का बीज NCP ने संजय राऊत को टूल किट बनाकर उद्धव ठाकरे में ""मुख्यमंत्री बनने "" का बीज रोपण करके हैंडलर की इच्छा पूरी कर ली थी।
उद्धव ठाकरे के पास बचे हुए, शिव सैनिकों ने, देश की आज की स्थिति देखकर कर, एकनाथ शिंदे के हाथ मजबूत करने चाहिए__ सत्ता भी मिलेगी, लेकिन जब देश बचेगा तो__
एकदम सही कहा आपने
प्रदीप सिंह जी आपका विश्लेषण सटीक है कि जो सिद्धांत से दूर हो जाता है उसे नुकसान उठाना पड़ा है अब उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र की राजनीति से अलग थलग हो गया है क्या भविष्य होगा देखना चाहिए. जय हिंद जय भारत
महाराष्ट्र राज्य की राजनीति पर आधारित बहुत ही अच्छी और महत्वपूर्ण जानकारी है यह। सारे ही स्वार्थी नेता हैं। सबकी अपनी अपनी महत्वाकांक्षा है। खिचड़ी सरकार का नुकसान तो जनता को उठाना पड़ता है। वास्तविकता से साक्षात्कार कराने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद आपको आदरणीय प्रदीप सिंह साहब।
जय श्री राम।
जय श्री कृष्ण 🌹🌹🌹🙏
ये हाल तब है जब ncp व congress का हिन्दु व खासकर मुस्लिम वोट भी उद्धव को मिला वर्ना उद्धव जी इतना भी सीट ना ला पाते ..
जय श्री राम 🌹🌹🙏
उद्धव ठाकरे लोक सभा के चुनाव में कुछ शिवसेनिको और थोक में मुस्लिम वोटों के कारण जीते हैं।
ईसी वजहसे वो खुलला मुसलमानों का समर्थन में बयानबाजी करने लगा हैं वक्त कानून बदलने का विरोध कर रहा है
Muslims voted enmasse to the person who claims to have demolished Babri " Masjid" 😂 only to defeat BJP. BJP should do ab sabke saath sabka hisaab. hisab
करेक्ट
उद्धव की सत्ता लोलुपता ही इन सब बातों का मुख्य कारण है।
उद्धव जैसे चल रहे थे वैसे ही चलते रहते तो शिव सेना का बालासाहेब ठाकरे जी वाला स्टेटस बना रहता और उद्धव का पतन भी नहीं होता।
पिता का नाम स्वाभिमान हिंदुत्व का मुखौटा तोड़ने का फल तो यही होना था।
उद्धव कडे दूरदृष्टीचा अभावच आहे.
@@sanjaygautame9465 जी हां। उन्हें कुर्सी ले डूबी।😃
जय श्री गणेश 🌹🌹🙏
@sanjaygautame9465 जय श्री गणेश 🌹🌹🙏
Absolutely correct
आदरणीय प्रदीपजी ,एकदम सटीक निरिक्षण ओर विश्लेषण.धनयवाद.
जब सत्ता ही एकमात्र लक्ष्य हो, तो विचारधारा का कोई महत्व नहीं रह जाता।
Aajkal toh yehi ho raha hai
गुरु जी प्रणाम और उद्धव ठाकरे का वही हाल है माया मिली न राम हो गया जय श्री राम
उद्धव ठाकरे को नीतीश कुमार से टयूशन लेना चाहिए कि कोई भी गठबंधन हो लेकिन मुख्यमंत्री पद खुद कैसे पाएं।😊
😂😂😂
Udhav broke alliance with bjp and became CM but bjp hijack his government.
😂😂😂
😅😅😅
😂😂😂😂😂😂😂😂😂😂
उद्धव ठाकरे को भारतीय जनता पार्टी का समर्थन करके प्रायश्चित करना चाहिए।
बीजेपी को कभी भी उद्धव से हाथ नही मिलाना चाहिए
@@omprakashagrahari7994 उद्धव की मदत ले ना लेकिन उद्धव और उईके चमचे को द्वार पर खडा नाही करो हाकल दो.
बुंद से गई वो हौद से नही आती
Bjp ko udhav thakre ko kabhi apna samajhne ki bhool nahi karne chahiye
हौजसे गई वो बूंदसे नही आती।@@kantilalbafana4682
प्रदीप सिंह सर जी कल के लेख मे आप ने बहुत ही सटीक रूप मे कहकर समझा दिया ये सुनने बाले को समझाना होगा ओर जो न समझ पाये उसका कुछ नही कर सकते सिर्फ कह सकते है
जय श्री राम 🌹🌹💐🙏
प्रदीपजी, बहुत ही उत्तम विश्लेषण किया है आपने। आपसे निवेदन है कि संदीप चौधरी के सीधा सवाल में मत जाया करें, जो उनके फेवर में ना बोले उसे मौका ही नही देते पूरी बात बोलने का।
सर जी नमस्कार! अवसरवादी राजनीति का यही हश्र होता है। जय हिन्दू जय हिन्द!
गुरु जी , ह्रदय से दुःखी हूँ और आम नागरिक हूँ राष्ट्र भक्त हूँ rss का स्वयम् सेवक हूँ पर अभी बीजेपी मोदी सरकार के रवैये से बहुत दुःखी हूँ...
क्यों
@@mahavirbothra1620 जी, कंगना का साथ न देना, राहुल का जाती के नाम पर देश की सेना व् रेलवे के कर्मचारियों में जहर घोलना और बांग्लादेशी व् बंगाल के हिन्दुओ के लिये कुछ न करना इत्यादि बहुत से कारण हो रहे है भी
सत्य - आज के परिदृश्य में केवल योगी आदित्य नाथ जी ही भारत के प्रधानमंत्री बनने के योग्य हैं क्योंकि केवल योगी जी ही भारत के अंदर और बाहर दृढ़ इच्छाशक्ति वाले निर्णायक प्रशासनिक कदम उठा सकते हैं 🟠🇮🇳🟠
यह तो वही बात हो गई गया था रसगुल्ले गटकने चास्नी मे डुबकर मरगया
जय श्री राम 💐💐💐🙏😅
आदरणीय प्रदीप सिंह जी जय श्रीराम । महाराष्ट्र की राजनिती पर आपका विश्लेशण बहुत सही है । उबाठा का पतन तय हो गया ।
ठाकुर साहब, जुग जुग जियो।
सुप्रभातम् प्रदीप जी 🙏🏻
जय श्री राम 🏹 🚩
महाराष्ट्र में अगर भाजपा को अपनी शक्ति वापस लानी है उसको शिंदे सेना के साथ हिन्दुत्व अपनाना होगा...और तुष्टीकरण करने वालों के खिलाफ मजबूत प्रचार करना होगा.
BJP ka ab bhi MUSALMANON sai MOHBHANGG nahin hua
JAI SHRI RAM
बहुत लोग ऐसे होते हैं जो पैसों की लालच में सगे रिश्ते भी खत्म कर देते हैं, फिर पैसा भी नहीं मिलता और रिस्ता तो टूट ही चुका होता है
जय श्री राम 💐💐🙏
प्रदीप सिंह जी को साधुवाद 🙏
यो ध्रृवाणी परीत्यज्यऽध्रृवम् परीशेवते।
ध्रृवाणी तस्य नष्यंति अध्रृवम् नष्टमेव च।।
अति महत्वकांछा कभी कभी मुसीबत का कारण बनती है।अब उद्धव जी जब अपने।पिता के नही हुए तो बीजेपी के केसे हो सकते है।अपनी हिंदुत्व की विचार धारा छोड़ने के बाद उनका पतन होना निश्चित है।
अब उद्धव जी की विस्वमीयता समाप्त हो चुकी है। दाद में खाज वाली कहावत संजय रावत ने पूरी कर दी। जितना उग्रता उद्धव जी ने दिखाई उससे कई उग्रता संजय रावत ने दिखाई।बीजेपी और मोदीजी पर सब से अधिक हमला किया अब इनका परिणाम है की बीजेपी में उद्धव जी का महत्व समाप्त हो चुका।दोनो को नुकसान महाराष्ट्र में हुआ।
Rajniti me Modi ne Congress Mukt bharat ke sapne dikhaake BJP ko "Congress Yukt" karliya!! Ati Mahatwo kanchya Modi BJP ko le doobegi!!
Right you are @@sjnmhn
जय श्री राम 🌹🌹🙏
सफलता मोदी को ही मिली है,क्योंकी मोदी तिसरी बार pm हो गये है,और क्या चाहीए.. मोदी की लोकप्रियता 60%से जादा है, मोदी के आसपास भी कोई नहीं 100%
एकदम सटीक विश्लेषण सर.
अती लालच का रास्ता धीरे धीरे अंत की ओर ले जाता यही अंतिम सत्य हैं???
Ekdam sahi pakde hai
कर्मों का फल भूगतना पड़ेगा उद्धव ठाकरे को और इनके पार्टी को
कायर उद्धव के पतन का कितना सुन्दर विवरण है।
आप ने सही विश्लेषण किया है। धन्यवाद🙏
भाजपासे बहुत लाड-दुलार पाया था , काँग्रेस और श.प . ने असली जगह दिखा दी..... अब तो ना घरके रहेंगे ना घाटके ...
यह कांग्रेस का बहुत पुराना इतिहास है.
Ladli. Bahen. Sucsses. In. Maharastra
उद्धव अब दर दर ठोकरें खायेगा
1993 से आतंक खत्म करने की कसम खाई थी
JAI HIND JAI BHARAT
एक बालासाहेब थे उनके द्वार पर आना पडता था। उद्धव ठाकरे ने बीजेपी को भी ऐसे ही किया। और अब ऐसी स्थिति हो गयी द्वारे द्वारे घुम रहे हैं।
True analysis, it is rightly shown that Sharad Pawar has used Udhav Thakre against BJP
सर प्रणाम। गणेश चतुर्दशी की आपको सपरिवार शुभ कामनाऐं। जै बद्रीविशाल जी। उद्दव ठाकरे का राजनैतिक पतन हो चुका सर। अब वो कभी महाराष्ट्र की राजनीति में पंवार व राहुल के तलवे चाटने पर मजबूर होंगें।
सही और शाश्वत कहा आपने ❤❤❤❤❤❤❤❤❤
प्रणाम
आपकी बातें बहुत ही सटीक और सच्चाई के निकट होती है
जय श्री राम
❤❤❤❤❤
जय श्री राम 💐💐🙏
Jai guru dev
🙏🇮🇳🚩🕉️बिल्कुल सही बात कही है आपने, जय श्री राम, जय हिन्द, वन्दे मातरम्, भारत माता की जय 🇮🇳🚩🕉️🙏
उद्धव ठाकरे ओर उनके सुपुत्र ने जो शिवसेना का ओर अपना हाल किया है वह बहुत ही घातक सिद्ध होगा उन दोनो के भविष्य के लिये.
सर्वनाश होगा।
अपनी गलतियाँ छुपाकर हरबार कोई हिरो नही बन सकता।
Bilkul sahi Sir sahi analysis
हिंदू शिरोमणि बालासाहेब ठाकरे की अमानत शिवसेना को उद्धव ने पलीता लगा दिया है स्वर्ग में बैठे बालासाहेब उद्धव को देखकर इस पर थूक रहे होंगे
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
Bangladesh ke Bengalis ko bhi achi taraha pata hai waha hi du hi thei lakin hindu ko chain se rahne nahi denge.inka dharmik educational attitude inko barbaad kar raha hai otherwise kahi koi dikkat nahi koi bhi rahe kahi bhi rahe.parantu ye soch ki ham duniya mai kahi bhi rah sakte hai lakin dusro ko na jeene ka adhikar denge na dharmik pahachan.to phir sareef log jab tak shant hai theek hai lakin Puri duniya mai jo mahol badal raha hai.achi civil life ke liye chinta janak hai. Khichar ko saf karne ke liye khichar mai hi Jana padega.
बहुत ही सटीक विश्लेषण.
बहुत बहुत धन्यवाद. 👌👌👌
सुप्रभात सिंह साहब, आपका अखबार परिवार के समस्त बन्धु -भगिनी को राम राम जी 🌹🙏🌹
जय श्री राम 💐💐💐🙏
एकदम सही विवेचना की हैँ आपने.
आपने बहुत ही सटीक एवं सार्गर्भित विश्लेषण किया हैं जय श्रीराम जय भारत माता की वंदेमातरम्
जो अपने पूर्वजों पर गर्व करना बंद कर दें,,,समझ लीजिए वह अपने पराभाव के निम्न स्तर पर पहुंच गया है। यही हाल है उद्धव ठाकरे का। धन्यवाद प्रदीप बाबू
पवार को अपने बेटी को बनाना है मुख्यमंत्री या है खेला उद्धव को अब पता चलेगा किसे पाला पडा है राजनीती में कौन मित्र और कौन दुश्मन हमेशा रेता नहीं 😄😡😡😄
जय श्री कृष्ण 🌹🌹🙏
आदरणीय आपका विश्लेषण सदा ही यथार्थपरक होता है
लेकिन मुझे लगता है कि गुजरात बनाम महाराष्ट्र का मुद्दा हावी रहा जिससे भाजपा को भारी नुकसान हुआ
सादर प्रणाम व शुभकामनाएं
भाजपा का प्रचारतन्त्र फेल है। विपक्ष की कमी का जमकर प्रचार करना चाहिए ।
उद्धव ठाकरे का कार्यकाल और ममता बैनर्जी की शासन में कितने मिल/समानता है?
सही बात है।
बहुत सुंदर प्रस्तुति, आपको धन्यवाद।बि जे पी को आप का प्रस्ताव स्वीकार करना चाहिए।
आदरणीय प्रदीप सर जी शुभ प्रभात , सादर प्रणाम 🙏🙏 एकदम सही, सटीक विश्लेषण, धन्यवाद सर
जय श्री राम 💐💐🙏
प्रदीप सिंह जी जैसे मुसलमानो ने उद्धव ठाकरे के घर को घेरा कि आपने वक्फ बोर्ड के मामले में साथ नहीं दिया तो हिन्दू भी सभी सटेट में अपने-अपने नेता को घेरे कि तुम हमारे पक्ष में बोलो , हमारा साथ दो
सरजी,ए जमीन नहीं गमले में थे।
जमीन उसकी कहानी है जो सुरू से/जो लगातार एक जमीन/एक ही स्थान पर
जहां अंकुर फूटी वहीं पर स्थित,/स्थिर रहे। धन्यवाद जयहिंद नमस्कार
जो राजनैतिक दल हिन्दू हित की बात करेगा वही देश पर राज करेगा। आपका राजनैतिक विश्लेषण बहुत ही सटीक होता है।
जय श्री राम 🚩🙏🏻
वाह सिंह साहब बहुत बढिया बताया आपने उधव टाकरे का आने वाली चुनाव बिरे में।
उध्व ठाकरे ने जब सत्ता के लिये कांग्रेस और शरद पवार से समझौता किया और हिंदूत्व को छोडा उसी समय से उध्व ठाकरे और शिव सेना का पतन होना शूरू हो गया था
हर हर महादेव 💐💐🙏
Absolutely correct
सटीक
सत्ता की भुख ऊद्धव ठाकरे को कहीं का नहीं रखेगी ।
Jai ho
प्रदिपसिंहजी नमस्कार
सार्वजनीक जीवन मे रहते वकृत्व और कर्तृत्व की बहूत जरुरत है .जब भी राजनीती के बारे मे
महाराष्ट्र का जब भी नाम आता है तो बालासाहब ठाकरे को याद किया जाता है .एक ऐसी व्यक्ती ना कभी सत्ता मे शामिल हुई और ना कोई चुना लढा पर उनके भाषण सुनने पुरा उत्सुक रहता था
उनके भाष्य की चर्चा होती थी वो ऐसे व्यक्ती थे जो अपने हिंदू के अजेंडे से कभी समझौता नही करते थे . जब भी किसी राजनेता को उनसे मिलना होता या कोई मिटींग करनी होतो वो कभी किसी होटल या अन्य जगह नही जाते थे
बल्की उनके घर मातोश्री जाना पडता था
चाहे कितना बडा भी नेता क्यो ना हो वह पहले उनसे मुलाखात का वक्त मांगते थे
बालासाहब की शैली विषेश थी वो कट्टरता वाले हिंदू बोल बोलते थे किसी का मुलाहेजा नही रखते .जब भी उनका भाषण होता तो हिंदू मे एक तरह की उर्जा भर जाती थी उनकी इसी शैली से महाराष्ट्र की जनता उनसे जूडती गयी .उन्होने नीचे नीचे लोगो को नेता बनाया .हिंदू जागृती का पहला काम करने वाले वह पहले थे . अपने घर पर रहकर उन्होने अपनी संघटना खडी की थी .काग्रेस के खिलाफ उनका तीखे शब्दो वाला भाष्य रहता था . महाराष्ट्र के राजकारण मे शरद पवार बडा नाम था पर वो भी उनका मुकाबला कर पाये .
सत्ता के बाहर रहकर भी सहकारी भाजप को भी उनसे पूछे बगर कोई निर्णय नही होता था .
जैसे कोई व्यापारी अपने व्यवसाय मे अपना एक ब्रॅन्ड या नाम करती है और उसका फायदा उसकी अगली पीढी लेती और उसे ओर बढाने मे कुछ नया करके आगे बढाती है और उस पथ हात न लगाकर उसी शैली मे रखती उस तरह
बालासाहब के बेटो को नही करते आया
इसको वकृत्व और कर्तृत्व कहते है . आज उनका व्यवहार देखकर उनकी शैली उनकी टायमिंग उनके निर्णय किसी बालक के भाती लगते है . उमर से बढे तो है पर हरकते बच्चो जैसी है . बालासाहब का वैशिष्ट यह था की वह कभी किसी पार्टी दप्तर या किसी नेता के घर नही गये .जीन को मिलना है वह उनके द्वार जाना पडता था . किसी भी आंदोलन मे वो आगे नही रहते थे बल्की उनके एक आदेश पर उनके कार्यकर्ता उस आंदोलन को छेडते थे .पर उनके बेटे ने उनके इस अंदाज को बदलकर खुद ही किसी पार्टी के दप्तर किसी नेता के घर या द्वार द्वार घुमते दिख रहे है उनके इस व्यवहार से उन्होने उस शैली को उस राजकिय धाक को खो दिया और अपनी पत अपनी पार्टी के पकड को दुसरे को हाथो की कठपूतली बना दिया .बालासाहब कि उस मेहनत पर पाणि फेर दिया और महाराष्ट्र मे काग्रेस को मजबूत बनाने मे हातभार लगा दिया जीसका अस्तीव महाराष्ट्र मे खत्म हो रहा था जीस के कोई बडा नेता वहा नही था .
अपने हातो उनके बेटेने अपनी पार्टी को दरबदर भटकने को मजबूर किया ..
बहुत ही सटीक विश्लेषण है आपका।
🙏🏽👌🏽🌹बहुत ही सटीक विश्लेषण🌹👌🏽🙏🏽
आदरणीय प्रदीप जी सादर जय भारत 🕉️🙏🇮🇳 जय-जय श्री सियाराम जी 🙏
जय श्री राम 💐💐💐🙏
बहुत ही अच्छा विश्लेषण
एकदम सटीक और सही विश्लेषण।
आपके विचार से मैं पूरी तरह सहमत हूं। उद्धव ठाकरे जी गलत जगह पर है।।
रोचक, विस्तृत सुंदर विश्लेषण । बीजेपी वाले ध्यान से सुनें
Aapka bahut bahut dhanyawad pradeep ji
जय श्री राम जी की सिंह साहब 🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
आदरणीय प्रदीप सिंह जी सादर प्रणाम। आज ठिकरा की हालत "धोबी के कुत्ते के समान है ना घर का ना घाट का" जैसे राहुल विंची थुक कर कई बार चाटा वैसे ही ठिकरा कई बार थुक कर चाटेगा।
महादेव 🇮🇳🚩शुभ प्रभात बाबू जी 🚩
हर हर महादेव 🌹🌹🌹🙏
महाराष्ट्रकी राजनितीका आपणे बहुत सटीक विश्लेशन किया .....!!
इतनी गहरी राजकीय मालुमात तो किसी महाराष्ट्रके पत्रकारोने भी कभी इतनी स्पष्टता नही दिखायी .....
आपका धन्यवाद .......
राजनीति में उद्धव राजनीतिक लभ जिहाद में फस गए।
Rajniti me Modi ne Congress Mukt bharat ke sapne dikhaake BJP ko "Congress Yukt" karliya!!
जय श्री कृष्ण 🌹🌹🙏
आपने बहुत सटीक विश्लेषण किया आपको बहुत बहुत धन्यवाद
Hariom Ji God 🙏❤️ bless US all please 🙏♥️
Duniya ka dastur yehi hai 😊
NCP और कांग्रेस जानती है जो व्यक्ति 25 साल पुराने साथी के साथ दगाबाजी कर सकता है वह उनके साथ तो कभी भी दगाबाजी कर सकता है, इसलिए दोनो ही दलों ने इनको कोई भाव नहीं दिया।
शरद पवार जिसको बरबाद करना होता हैं उसके दुश्मनी के बजाय उसके कंधे पर हाथ रखकर दोस्ती करते हैं और उस को भरोसा दिलाते हैं "मैं हूं ना"और कब कंधे से हाथ हटाते हैं पता नहीं चलता मतलब उस व्यक्ती की हालत "धोबी के कुत्ते जैसी हो जाती है"! मैं इधर जाऊ या उधर जाऊ!
पर शरद पवार एक महत्वपूर्ण बात भूल गए हैं कि उनका यह गंदा भद्दा शरीर जल्द ही इसमें कैद उनकी आत्मा छोड़ कर चली जाने वाली है। ऊपर क्या होगा पवार का।
@@ajitsinha1011 महाराष्ट्र की जनता सोच रही कब छुटकारा मिलेगा! राजनिती में जितने भी गंदे काम हैं इस ने शुरू किये यह सत्ता और पैसे का दोस्त हैं! उसके लिये कुछ भी!
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
@@ranjitlalpardeshi7835जय श्री राम 💐🙏
महाराष्ट्र में शिवसेना (ठाकरे गुट) के श्री उद्धव ठाकरे जी का मुद्दा प्रमुख रूप से पारिवारिक हैं और अपने पुत्र को प्रत्येक परेशानी से बचाए रखना चाहते हैं। इसके लिए श्री उद्धव ठाकरे जी ने हर हाल में CM बनना।
जो अपनों के साथ दगा करते है वो जायदा दिन जीवित नहीं रह सकते। यही हाल उद्धव ठाकरे का है . बीजेपी के साथ थोखा देकर खुद ही मिट गए
जय श्री राम 🌹🌹🌹🙏
आप का कहना सही है कि अगर बीजेपी एक नाथ सिन्दे का सहयोग नहीं करती तो आज नंबर एक महाराष्ट्र में होती है।
वंदन वंदेमातरम्
बहुत बहुत आभार एवं साधुवाद जी, महोदयजी आज तो आप ने खूंटा ही गाड़ दिया 👍👍👍👌👌🌷🙏🙏🙏🙏🚩🚩🚩🙏🌹🔱🌷
सही आकलन है