1000 जमा करने पर मिलेंगे 6 लाख

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  • เผยแพร่เมื่อ 25 ม.ค. 2017
  • जनवरी 2016 में प्रधानमंत्री मोदी ने बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ कैंपेन के तहत सुकन्या समृद्धि योजना की शुरुआत की थी। सरकार ने सुकन्या समृद्धि योजना के नियमों में कुछ बदलाव किया है। नियमों में बदलाव से वास्तविकता में जिनको इस योजना से फायदा मिलना चाहिए उनपर किसी प्रकार का असर नहीं पड़ेगा। बदले गए नियमों के मुताबिक, नॉन-रेजिडेंट इंडियन (एनआरआई) अब सुकन्या समृद्धि योजना (एसएसवाई) में खाता नहीं खोल सकते हैं। अगर आपका या आपकी बच्ची का रेजिडेंसियल स्टेटस बदलकर नॉन-रेजिडेंट हो जाता है या बिटिया इस स्कीम के दौरान किसी दूसरे देश की नागरिकता ले लेती है तो नागरिकता या रेजिडेंशियल स्टेटस में बदलाव की तारीख से कोई ब्याज नहीं दिया जाएगा और खाते को उस तारीख से बंद मान लिया जाएगा।
    इस योजना पर मिलने वाला ब्याज टैक्स फ्री होगा। बेटी की हायर एजुकेशन और शादी के लिए पैसा जमा करने के लिए हालांकि पीपीएफ और आरडी जैसे तरीके भी हैं, लेकिन यह योजना उन पर भारी पड़ती है। आज हम आपको इस सुकन्या समृद्धि योजना के बारे में बता रहे हैं जिससे कि आप आसानी से इस योजना का फायदा उठा सकें और अपनी बिटिया का सुनहरा भविष्य सुनिश्चित कर सकें।
    पीएम नरेंद्र मोदी ने सुकन्या समृद्धि योजना की शुरूआत 4 दिसंबर, 2014 को थी। यह एक लॉन्ग-टर्म डेट स्कीम है, जिसमें कोई भी शख्स बेटी के जन्म से लेकर उसके 10 साल की हो जाने तक कभी भी अकाउंट खुलवा सकता है। यह अकाउंट बैंक या पोस्ट ऑफिस में खुलवाया जा सकता है। यह अकाउंट बच्ची के 21 साल की होने तक जारी रहेगा।
    खाता खुलवाने के समय 1000 रुपए की जरूरत होगी। जो कैश, चैक, और ड्राफ्ट में जमा हो सकते हैं। यह योजना बालिका के जन्म से लेकर शादी करने तक परिजनों को आर्थिक मजबूती प्रदान करती है। यह योजना घटते लिंगानुपात के बीच कन्या जन्म दर को प्रोत्साहन देने में मदद करेगी। मां-पिता की बेटी की पढ़ाई व शादी के लिए पैसे की टेंशन दूर करने में मदद करेगी।
    खाते के लिए लड़की का जन्म प्रमाणपत्र, अभिभावक का पहचान प्रमाण पत्र और निवास प्रमाण-पत्र की आवश्यकता होगी। यह खाता पोस्ट ऑफिस और केंंद्र सरकार द्वारा अधिकृत किसी भी बैंक (भारतीय स्टेट बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा, पंजाब नेशनल बैंक, बैंक ऑफ इंडिया, केनरा बैंक, आंध्रा बैंक, यूसीओ बैंक और इलाहाबाद बैंक) में खोला जा सकेगा।
    मोदी सरकार का तोहफा: हर महीने 1000 जमा करने पर मिलेंगे 6 लाख
    देनी होगी इतनी रकम
    माता-पिता दोनों या फिर दोनों में से एक अथवा दोनों के न होने की स्थिति में कानूनी अभिभावक पैसा जमा कर सकते हैं। कम से कम 1 हजार रुपए से अकाउंट खुलवाया जा सकता है। साल में 1 हजार रुपए और अधिकतम डेढ़ लाख रुपए जमा कराए जा सकते हैं। किसी साल मिनिमम जमा नहीं करा पाते हैं तो अगले साल पिछले साल की ड्यू रकम के अलावा 50 रुपए पेनल्टी देनी होगी। खाता खोलने से 14 साल तक इस स्कीम में पैसा जमा कराना होगा। 14 साल पूरे होने से पहले ही बच्ची 21 साल की हो जाती है तो भी खाता बच्ची के 21 साल की होने पर ही बंद हो जाएगा। अकाउंट में 1 हजार से डेढ़ लाख के बीच कितनी भी रकम साल में जमा करा सकते हैं।
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