23:07 महाराज जी आपके ज्ञान और तप को प्रणाम आपके श्री चरणों में प्रणाम ,,और में कुछ भी नहीं जानता पर श्री राम जी ने नर लीला की थी वो अवतार है ऐसा मेरा मत है,,फिर जो पूज्य श्री बाबा तुलसीदास जी को जो प्रभु श्री राम जी का साक्षात्कार हुवा वो क्या था,,बाकी श्री सीताराम जी जाने ,,बाकी मेरे शब्दो से आपको ठेस पहुंची हो तो क्षमा प्रार्थी हु
23:04 तो फिर पूज्य श्री बाबा तुलसीदास जी महाराज ने ये क्यों कहा सियाराम मय सब जग जानी ,, करहू प्रणाम जोरी जुग पानी,, यहां पर बाबा ने सियाराम मय सब जग जानी कहा मानी नही कहा।।
हैरानी इस बात की आत्मा प्राण आधार साथ नहीं तो परम आत्मा को जानेगा कैसे। आत्मा के द्वारा अपनी विवेचना प्राणी करे तो समझ में आएगा मै भूत शरीर घूम रहा हूँ।
नाम रूप दुइ ईस उपाधि। ना मय रूप नाम रूप दो है। आत्मा रूप नही लेकिन कभी कभी किसी रूप को ईस की उपाधि मिल जाती है। जैसे आदमी तो सभी हैँ संत कैसे बना कोई इसके बारे में चिंतन करके तो देखे।
संत परमार्थी होता है।प्रश्न अटपटा पूछते हैँ लोग स्वार्थ होता तो विलासिता का जीवन होता। इतिहास उठाये लोग। शिवि दधीची हरिचंद सूर कबीर रहीम नानक तुलसी बाल्मीकि दास रहे की स्वामी। परीक्षा देना पड़ेगा सबको तब प्रमाण पत्र मिलता है। प्रमाण पत्र दिखाना पड़ेगा इसी संसार में । जिसके साथ भगवान् नहीं वह भक्त कैसा। जिसके पास साधुता नहीं वह साधू संत कैसा।
नही पर श्री राम जी ने 14 वर्ष तक वनवास भी तो किया ,,निषादराज केवट से मित्रता ,,शबरी जी के झूठे बेर और भगवान श्री कृष्ण जी ने दुर्योधन के 56 भोग ठुकरा कर ,,विदुर जी के यहां भोजन किया
Guruji aapki baato me gyan to hai par ahankaar ki boo aati hai..aap bolte hai log aadhytam se paisa kamate hai fir aap bhi to youtube channel chalate hai logo ko subscribe karne kehte ho..
❤❤❤❤
Sat sat naman gurudev
N A M A N 🌺👏👏🌺
🙏🌺 मात श्री नर्मदे हर 🌺🙏
🙏🙏♥️Maat Narmday har Guruji koti koti parnaam dhanyawaad karti hu❤️🙏🙏💯✔️👌👌
प्रभु दर्शन फल परम अनूपा।
जीव पाव निज सहज सरूपा।
जीते जी आधार आत्मा आधार को देखो।
आधार आत्मा गई तो हम कैसे होगे।
23:07 महाराज जी आपके ज्ञान और तप को प्रणाम आपके श्री चरणों में प्रणाम ,,और में कुछ भी नहीं जानता पर श्री राम जी ने नर लीला की थी वो अवतार है ऐसा मेरा मत है,,फिर जो पूज्य श्री बाबा तुलसीदास जी को जो प्रभु श्री राम जी का साक्षात्कार हुवा वो क्या था,,बाकी श्री सीताराम जी जाने ,,बाकी मेरे शब्दो से आपको ठेस पहुंची हो तो क्षमा प्रार्थी हु
Naya naya osho bannne chala hai
23:04 तो फिर पूज्य श्री बाबा तुलसीदास जी महाराज ने ये क्यों कहा सियाराम मय सब जग जानी ,, करहू प्रणाम जोरी जुग पानी,, यहां पर बाबा ने सियाराम मय सब जग जानी कहा मानी नही कहा।।
हैरानी इस बात की आत्मा प्राण आधार साथ नहीं तो परम आत्मा को जानेगा कैसे।
आत्मा के द्वारा अपनी विवेचना प्राणी करे तो समझ में आएगा मै भूत शरीर घूम रहा हूँ।
स्वामी जी प्रणाम! आप कुम्भ मेला में आएगे । हम नेपाल से है! अगर आप आयेंगे तो मिलने का तीव्र इच्छा है । प्रणाम
नर्मदे हर गुरुजी
मेरा सवाल हे कि धर्म की परिभाषा क्या हे
क्या इंसानियत ही धर्म हे
नाम रूप दुइ ईस उपाधि।
ना मय रूप
नाम रूप दो है।
आत्मा रूप नही लेकिन कभी कभी किसी रूप को ईस की उपाधि मिल जाती है।
जैसे आदमी तो सभी हैँ संत कैसे बना कोई इसके बारे में चिंतन करके तो देखे।
संत परमार्थी होता है।प्रश्न अटपटा पूछते हैँ लोग स्वार्थ होता तो विलासिता का जीवन होता।
इतिहास उठाये लोग।
शिवि दधीची हरिचंद सूर कबीर रहीम नानक तुलसी बाल्मीकि दास रहे की स्वामी।
परीक्षा देना पड़ेगा सबको तब प्रमाण पत्र मिलता है।
प्रमाण पत्र दिखाना पड़ेगा इसी संसार में ।
जिसके साथ भगवान् नहीं वह भक्त कैसा।
जिसके पास साधुता नहीं वह साधू संत कैसा।
नही पर श्री राम जी ने 14 वर्ष तक वनवास भी तो किया ,,निषादराज केवट से मित्रता ,,शबरी जी के झूठे बेर और भगवान श्री कृष्ण जी ने दुर्योधन के 56 भोग ठुकरा कर ,,विदुर जी के यहां भोजन किया
7 वर्ष की उम्र में किसी ने गोवर्धन उठाया क्या प्रभु
Guruji aapki baato me gyan to hai par ahankaar ki boo aati hai..aap bolte hai log aadhytam se paisa kamate hai fir aap bhi to youtube channel chalate hai logo ko subscribe karne kehte ho..
चांडाल आँख दिखाते हैं और डांटते भी हैँ।
संतो के यहां भगवान् को जाना पडता है।
Ye logo ko bhatka raha hai
❤❤❤